रायपुर: मुख्यमंत्री भूपेश बघेल दो दिन से बस्तर दौरे पर थे. इस दौरान वे धूर नक्सल प्रभावित इलाकों में जाकर नक्सल प्रभावितों से मुलाकात की. इस मुलाकात के बाद कई तरह के कयास लगाये जा रहे हैं. कुछ लोगों का कहना है कि मुख्यमंत्री नक्सल समस्या से निपटने के लिए कुछ नई रणनीति बना सकते हैं.
नक्सलवाद को रोकने कांग्रेस उठा रही ठोस कदम
सीएम भूपेश बघेल के बस्तर के अतिसंवेदनशील इलाकों में जाने पर प्रदेश कांग्रेस के महामंत्री और संचार विभाग के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने कहा कि, 15 सालों तक भाजपा सरकार के राज में नक्सलवाद दक्षिण बस्तर के चार सीमावर्ती इलाकों से बढ़ते-बढ़ते 14 जिलों को अपनी गिरफ्त में ले चुका है. अब कांग्रेस की सरकार प्रदेश से नक्सलवाद को खत्म करने की दिशा में ठोस शुरुआत की है.
मुख्यमंत्री का फैसला काबिले तारीफ
शैलेश नितिन ने कहा कि, कांग्रेस की सरकार बनते ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने नक्सलवाद की समस्या के समाधान के लिए पीड़ितों और प्रभावितों से मिलने की बात कही थी. अब वे अपनी बात पर अमल करते हुए नक्सल प्रभावितों से मिल रहे हैं जो काबिले कारीफ है.
नक्सलवाद रोकने की ओर बड़ी पहल
शैलेश ने बताया कि बघेल ने अतिसंवेदनशील इलाके आवापल्ली, भोपालपट्नम, भोड़, बड़े कनेरा में जाकर नक्सलवाद को रोकने के लिए बड़ी पहल की है. अतिसंवेदनशील इलाकों में जाकर बस्तरवासियों से मिलने का फैसला लेने और इसे क्रियान्वित कर दिखाने में भूपेश बघेल की पहल का पूरे प्रदेश में स्वागत हो रहा है.