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oil and Spices prices rise in Raipur: रायपुर में तेल और मसाले की कीमतें बढ़ी - रायपुर में रूस यूक्रेन युद्ध से तेल महंगा

रूस और यूक्रेन के युद्ध का असर खाद्य पदार्थों के दामों में पड़ने लगा है. रायपुर में तेल और मसाले की कीमतें तेजी से बढ़ रही है.

oil and Spices prices rise in Raipur
रायपुर में तेल और मसाले की कीमतें बढ़ी
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Published : Mar 3, 2022, 2:10 PM IST

Updated : Mar 3, 2022, 7:29 PM IST

रायपुर: यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध का असर कई घरेलू सामानों (Effect of Russia Ukraine war on food prices) पर भी पड़ने लगा है. तेलों की कीमत में पहले ही आग लगी हुई है. अब इसमें करीब 30 रुपये प्रति किलो का और इजाफा हो गया है. पहली बार 2 साल में मसालों की कीमत में भारी तेजी आई है. हालांकि इसका युद्ध से कोई लेना-देना नहीं है, लेकिन उनकी कीमत में इजाफे को लेकर माना जा रहा है कि कारोबारी अवसर का फायदा उठा रहे हैं. सबसे ज्यादा जीरा की कीमत थोक में 40 से 50 रुपये प्रति किलो बढ़ा है. सभी खाद्य पदार्थों की कीमत में और इजाफा होने की आशंका जताई जा रही है.

रायपुर में तेल और मसाले की कीमतें बढ़ी

रायपुर में मसालों की कीमत बढ़ी (price of spices increased in raipur)

कारोबारियों के मुताबिक सबसे ज्यादा जीरा की कीमत बढ़ी है. कुछ समय पहले इसकी कीमत थोक में 160 से 170 रुपये थी. यह कीमत अब बढ़कर 220 से 230 रुपये प्रति किलो हो गई है. चिल्लर में इसकी कीमत ज्यादा बढ़ी है. चिल्हर में जीरा किलो में 230 से 240 रुपये और एक पाव में 60 रुपये हो गया है. मिर्ची में भी 30 रुपये प्रति किलो का इजाफा हुआ है. पहले थोक में इसकी कीमत 120 से 130 रुपये थी. जो अब 170 से 180 रुपये हो गई है. कश्मीरी मिर्च की कीमत में भी 30 से 35 रुपये प्रति किलो का इजाफा हुआ है.

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तेल बाहर की परिस्थिति पर निर्भर, वहीं मसाला आने वाली फसल पर करता है निर्भर

गोल बाजार के थोक व्यापारी मनीष राठौर बताते हैं कि 'खाद्य सामग्री में तेलों में सबसे ज्यादा उछाल देखा जा रहा है. क्योंकि तेल ज्यादातर बाहर से आता है. सनफ्लावर, सोयाबीन यह सारे तेल बाहर से आते हैं. दूसरी तरफ मसालों के दाम भी बहुत बढ़े हैं. हल्दी, मिर्ची, धनिया के मसालों के भी दाम में बढ़ोतरी हुई है. तेल में 15 से 20 रुपये की वृद्धि देखी जा रही है. मसालों में भी लगभग 40 से 50 रुपये बढ़े हैं. मसालों के दाम में वृद्धि आने वाली फसल को देखकर व्यापारी तय करते हैं. इसके साथ ही तेल बाहर से आता है. जब बाहर की परिस्थितियां ठीक नहीं होती, तब तेलों के दाम बढ़ते हैं. वर्तमान में मार्केट उतना बेहतर नहीं है, क्योंकि खुदरा महंगाई दर बहुत ऊंची चल रही है. ऐसे में ग्राहकों की भी परेशानी बढ़ गई है'.

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दालों में भी आने लगा उबाल

दालों की कीमत में भी अब धीरे-धीरे उबाल आने लगा है. हालांकि अभी थोक बाजार में इसकी कीमत में इजाफा नहीं हुआ है. लेकिन चिल्हर कारोबारियों ने कीमत में बढ़ोतरी कर दी है. कारोबारी महेश साहू बताते हैं कि 'राहर दाल थोक में 90 से 100 रुपये प्रति किलो है. चिल्हर में इसको कारोबारी 100 से 110 रुपये प्रति किलो में बेच रहे हैं. इस समय चना दाल थोक में 58 से 65 रुपये और चिल्हर में 80 रुपये के ऊपर चल रही है. मूंग दाल थोक में 85 रुपये और चिल्हर में 100 से 110 रुपये में बिक रही है. राहर की फसल ठीक नहीं होने से इसकी कीमत में तेजी आने की संभावना है. दूसरी दालों की कीमत भी बढ़ सकती है.



रायपुर: यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध का असर कई घरेलू सामानों (Effect of Russia Ukraine war on food prices) पर भी पड़ने लगा है. तेलों की कीमत में पहले ही आग लगी हुई है. अब इसमें करीब 30 रुपये प्रति किलो का और इजाफा हो गया है. पहली बार 2 साल में मसालों की कीमत में भारी तेजी आई है. हालांकि इसका युद्ध से कोई लेना-देना नहीं है, लेकिन उनकी कीमत में इजाफे को लेकर माना जा रहा है कि कारोबारी अवसर का फायदा उठा रहे हैं. सबसे ज्यादा जीरा की कीमत थोक में 40 से 50 रुपये प्रति किलो बढ़ा है. सभी खाद्य पदार्थों की कीमत में और इजाफा होने की आशंका जताई जा रही है.

रायपुर में तेल और मसाले की कीमतें बढ़ी

रायपुर में मसालों की कीमत बढ़ी (price of spices increased in raipur)

कारोबारियों के मुताबिक सबसे ज्यादा जीरा की कीमत बढ़ी है. कुछ समय पहले इसकी कीमत थोक में 160 से 170 रुपये थी. यह कीमत अब बढ़कर 220 से 230 रुपये प्रति किलो हो गई है. चिल्लर में इसकी कीमत ज्यादा बढ़ी है. चिल्हर में जीरा किलो में 230 से 240 रुपये और एक पाव में 60 रुपये हो गया है. मिर्ची में भी 30 रुपये प्रति किलो का इजाफा हुआ है. पहले थोक में इसकी कीमत 120 से 130 रुपये थी. जो अब 170 से 180 रुपये हो गई है. कश्मीरी मिर्च की कीमत में भी 30 से 35 रुपये प्रति किलो का इजाफा हुआ है.

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तेल बाहर की परिस्थिति पर निर्भर, वहीं मसाला आने वाली फसल पर करता है निर्भर

गोल बाजार के थोक व्यापारी मनीष राठौर बताते हैं कि 'खाद्य सामग्री में तेलों में सबसे ज्यादा उछाल देखा जा रहा है. क्योंकि तेल ज्यादातर बाहर से आता है. सनफ्लावर, सोयाबीन यह सारे तेल बाहर से आते हैं. दूसरी तरफ मसालों के दाम भी बहुत बढ़े हैं. हल्दी, मिर्ची, धनिया के मसालों के भी दाम में बढ़ोतरी हुई है. तेल में 15 से 20 रुपये की वृद्धि देखी जा रही है. मसालों में भी लगभग 40 से 50 रुपये बढ़े हैं. मसालों के दाम में वृद्धि आने वाली फसल को देखकर व्यापारी तय करते हैं. इसके साथ ही तेल बाहर से आता है. जब बाहर की परिस्थितियां ठीक नहीं होती, तब तेलों के दाम बढ़ते हैं. वर्तमान में मार्केट उतना बेहतर नहीं है, क्योंकि खुदरा महंगाई दर बहुत ऊंची चल रही है. ऐसे में ग्राहकों की भी परेशानी बढ़ गई है'.

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दालों में भी आने लगा उबाल

दालों की कीमत में भी अब धीरे-धीरे उबाल आने लगा है. हालांकि अभी थोक बाजार में इसकी कीमत में इजाफा नहीं हुआ है. लेकिन चिल्हर कारोबारियों ने कीमत में बढ़ोतरी कर दी है. कारोबारी महेश साहू बताते हैं कि 'राहर दाल थोक में 90 से 100 रुपये प्रति किलो है. चिल्हर में इसको कारोबारी 100 से 110 रुपये प्रति किलो में बेच रहे हैं. इस समय चना दाल थोक में 58 से 65 रुपये और चिल्हर में 80 रुपये के ऊपर चल रही है. मूंग दाल थोक में 85 रुपये और चिल्हर में 100 से 110 रुपये में बिक रही है. राहर की फसल ठीक नहीं होने से इसकी कीमत में तेजी आने की संभावना है. दूसरी दालों की कीमत भी बढ़ सकती है.



Last Updated : Mar 3, 2022, 7:29 PM IST
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