जगदलपुर: लॉकडाउन बढ़ने की वजह से मजदूर परेशान होकर अब अपने राज्य लौटने लगे हैं. मजदूर गाड़ियों की सहायता से, तो कुछ पैदल ही अपने घर लौट रहे हैं. बस्तर से भी हजारों की संख्या में दूसरे राज्यों में मजदूरी करने गए ग्रामीण पैदल चलकर वापस अपने घर लौट रहे हैं. ऐसा ही एक मामला बकावंड ब्लॉक में सामने आया है. जहां ओडिशा के केसिंगा में मजदूरी करने गए 20 मजदूर 300 किलोमीटर का सफर तय कर लगभग एक हफ्ते से पैदल चलकर खेतों के रास्ते छत्तीसगढ़ के बॉर्डर बकावंड ब्लॉक पहुंचे.
जब बकावंड थाना प्रभारी मनोज तिर्की को इस बात की जानकारी मिली कि 20 से अधिक मजदूर पिछले 1 हफ्ते से पैदल चलकर ओडिशा से अपने घर लौट रहे हैं. ऐसे में बकावंड थाना प्रभारी और स्टाफ ने उन्हें ठहराया और उन्हें भरपेट भोजन कराया. फिर कुछ देर आराम करने के बाद वाहनों की व्यवस्था कर अपने संसाधनों से उन्हें बास्तानार ब्लॉक तक छोड़ा. जिससे मजदूरों को काफी राहत मिली. मजदूरों ने थाना प्रभारी और पुलिसकर्मियों को धन्यवाद भी दिया.
राहत शिविर में मजदूरों को किया क्वॉरेंटाइन
इधर ओडिशा से पहुंचे मजदूरों को जिला प्रशासन ने स्कूल में बने राहत शिविर में क्वॉरेंटाइन कराया. ओडिशा के केसिंगा में मजदूरी करने गए मजदूरों ने बताया कि वे बास्तानार ब्लॉक के हैं और बीते करीब 1 हफ्ते से ऐसे ही पैदल चलते हुए तकरीबन 300 किलोमीटर का सफर भूखे प्यासे तय कर छत्तीसगढ़ सीमा पर पहुंचे हैं. इन हालातों में उनके पैरों पर छाले भी पड़ गए हैं.
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लॉकडाउन की वजह से काम ठप्प होने पर छत्तीसगढ़ के मजदूर आर्थिक तंगी के कारण अपने राज्य लौट रहे हैं. ओडिशा के केसिंगा से भी मजदूर अब अपने राज्य लौट आए हैं, लेकिन पैदल खेतों के रास्ते वे बकावंड पहुंचे हैं. जिला प्रशासन ने उन्हें भरपेट भोजन करा कर मानवीयता दिखाई है. जिसके बाद मजदूर भी प्रशासन के इस प्रयास से काफी खुश नजर आए.