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98 हजार किसानों ने नहीं करवाया फसल बीमा, अधिकारियों पर लग रहे आरोप

धमतरी जिले के तकरीबन 98 हजार किसानों ने इस साल फसल बीमा के लिए पंजीयन नहीं कराया है.

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Published : Aug 8, 2019, 12:33 PM IST

Updated : Aug 8, 2019, 3:40 PM IST

किसान

धमतरी : जिले में इस साल तकरीबन 98 हजार किसानों ने अपनी फसल का बीमा नहीं कराया है. जिले में तकरीबन 1 लाख 54 हजार पंजीकृत किसान हैं. कृषि विभाग के अधिकारियों पर किसानों के बीमा के लिए प्रेरित न करने का आरोप लग रहा है.

फसल बीमा से वंचित किसान.

दरअसल, जिले में खरीफ की फसल के लिए 1 लाख 40 हजार हेक्टेयर भूमि पर धान समेत अन्य फसलों की बुआई का लक्ष्य रखा गया है. जिले में कुल 1 लाख 54 हजार पंजीकृत किसान हैं. इनकी फसल के खराब होने की दशा में भरपाई के लिए सरकार ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की शुरुआत की है. बीमा सहकारी ग्रामीण बैंकों के जरिए करवाया जाता है. कृषि विभाग के अधिकारियों पर आरोप है कि उन्होंने बीमा करवाने के लिए किसानों को सही स्तर पर प्रेरित नहीं किया और न ही बीमा कराने की तिथि का प्रचार किया गया. इसके चलते हजारों किसान फसल बीमा कराने से वंचित रह गए.

ऑनलाइन पंजीयन भी एक कारण
हजारों की संख्या में किसानों द्वारा बीमा न कराने का एक कारण ऑनलाइन तरीके से बीमा पंजीयन कराना भी है. सर्वर डाउन रहने, सॉफ्टवेयर की परेशानी और इंटरनेट की सुचारु व्यवस्था की कमी के कारण किसानों को बीमा पंजीयन कराने में दिक्कत हुई. बीमा कराने की अंतिम तारीख 31 जुलाई तय की गई थी.

चौंकाने वाले आंकड़े
फसल बीमा पंजीयन के लिए शासन ने 31 जुलाई अंतिम तारीख तय की थी. इसके बाद सामने आए आंकड़े चौकाने वाले हैं. जिले के तकरीबन 98 हजार किसानों ने बीमा नहीं कराया है. अधिकारियों का कहना है कि, 'कुछ किसानों ने राष्ट्रीय कृत बैंकों से भी बीमा कराया है. इसकी जानकारी अभी मांगी गई है'.

धमतरी : जिले में इस साल तकरीबन 98 हजार किसानों ने अपनी फसल का बीमा नहीं कराया है. जिले में तकरीबन 1 लाख 54 हजार पंजीकृत किसान हैं. कृषि विभाग के अधिकारियों पर किसानों के बीमा के लिए प्रेरित न करने का आरोप लग रहा है.

फसल बीमा से वंचित किसान.

दरअसल, जिले में खरीफ की फसल के लिए 1 लाख 40 हजार हेक्टेयर भूमि पर धान समेत अन्य फसलों की बुआई का लक्ष्य रखा गया है. जिले में कुल 1 लाख 54 हजार पंजीकृत किसान हैं. इनकी फसल के खराब होने की दशा में भरपाई के लिए सरकार ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की शुरुआत की है. बीमा सहकारी ग्रामीण बैंकों के जरिए करवाया जाता है. कृषि विभाग के अधिकारियों पर आरोप है कि उन्होंने बीमा करवाने के लिए किसानों को सही स्तर पर प्रेरित नहीं किया और न ही बीमा कराने की तिथि का प्रचार किया गया. इसके चलते हजारों किसान फसल बीमा कराने से वंचित रह गए.

ऑनलाइन पंजीयन भी एक कारण
हजारों की संख्या में किसानों द्वारा बीमा न कराने का एक कारण ऑनलाइन तरीके से बीमा पंजीयन कराना भी है. सर्वर डाउन रहने, सॉफ्टवेयर की परेशानी और इंटरनेट की सुचारु व्यवस्था की कमी के कारण किसानों को बीमा पंजीयन कराने में दिक्कत हुई. बीमा कराने की अंतिम तारीख 31 जुलाई तय की गई थी.

चौंकाने वाले आंकड़े
फसल बीमा पंजीयन के लिए शासन ने 31 जुलाई अंतिम तारीख तय की थी. इसके बाद सामने आए आंकड़े चौकाने वाले हैं. जिले के तकरीबन 98 हजार किसानों ने बीमा नहीं कराया है. अधिकारियों का कहना है कि, 'कुछ किसानों ने राष्ट्रीय कृत बैंकों से भी बीमा कराया है. इसकी जानकारी अभी मांगी गई है'.

Intro:जिले में कृषि विभाग की उदासीनता के चलते हजारों किसान प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के लाभ से इस साल भी वंचित रह जाएंगे.यहां कुल 1 लाख 54 हजार पंजीकृत किसानों में से सिर्फ 56 हजार किसानों ने ही सरकारी बैंकों में बीमा कराया है.इधर बीमा की अवधि भी बीत गया है ऐसे में फसल आपदा की स्थिति में हजारों किसानों को इसका लाभ नहीं मिल सकेगा.

Body:दरअसल धमतरी जिले में इस साल खरीफ सीजन में 1 लाख 40 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में धान सहित अन्य फसलों की बोनी का लक्ष्य रखा गया है और यहां कुल 1 लाख 54 हजार पंजीकृत किसान है वही खेती किसानी के दौरान फसल पर किसी तरह की आपदा की स्थिति में भरपाई के लिए सरकार की ओर से किसानों को प्रधानमंत्री फसल बीमा भी कराया गया.लेकिन इससे अधिक से अधिक किसानों को लाभान्वित कराने की दिशा में संबंधित अधिकारियों ने न उन्हें प्रेरित किया और न किसानों ने आपेक्षित रुचि दिखाई.यही कारण है कि आज बड़ी संख्या में किसान फसल बीमा कराने से वंचित रह गए है.

बताया जा रहा है कि फसल बीमा पंजीयन के लिए शासन 31 जुलाई की तिथि निर्धारित की थी लेकिन इस अवधि तक कृषि विभाग के पास पीएम फसल बीमा का जो आंकड़ा आया है वह हैरान कर देने वाला है.अंतिम तिथि तक जिले के सभी 11 सहकारी बैंकों के माध्यम से कुल 56 हजार 31 किसानों ने ही फसल बीमा कराया है जबकि जिले भर में किसानों की संख्या करीब डेढ़ लाख है.इस तरह देखा जाए तो 98 हजार किसानों ने फसल बीमा नहीं कराया.

Conclusion:गौरतलब है कि इस साल पहली बार फसल बीमा के लिए बैंकों में ऑनलाइन पंजीयन किया गया था.वही सॉफ्टवेयर और नेट प्रॉब्लम के चलते कई किसान आवेदन करने से वंचित हो गए लेकिन अधिकारियों ने भी ध्यान नहीं दिया.कृषि विभाग के अधिकारियों का कहना है कि जिले में कुल डेढ़ लाख पंजीकृत किसान है इसमें से सरकारी बैंकों में 56 हजार किसानों ने पीएम फसल बीमा कराया है और राष्ट्रीय कृत बैंकों से भी कुछ किसानों ने बीमा कराया है जिसकी जानकारी मंगाई गई है.

बाइट_एल पी अहिवार,कृषि अधिकारी धमतरी

रामेश्वर मरकाम,ईटीवी भारत,धमतरी

Last Updated : Aug 8, 2019, 3:40 PM IST
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