बिलासपुर: एनएचएम के संविदा कर्मचारियों ने विरोध प्रदर्शन किया. कर्मचारियों ने नियमितीकरण की मांग को दोहराते हुए भविष्य में उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है. बिलासपुर विधायक प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों से मिलने पहुंचे, इस दौरान उन्होंने कर्मचारियों को समझाने की कोशिश भी की. प्रदर्शनकारियों ने बगैर ठोस आश्वासन के प्रदर्शन बंद करने से इनकार कर दिया.
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पूरे प्रदेश में एनएचएम कर्मचारी धरना प्रदर्शन कर रहे हैं. नियमितीकरण की मांग को लेकर ये कर्मचारी प्रदर्शन कर रहे हैं. इससे पहले भी एनएचएम कर्मचारियों ने कई बार हड़ताल किया है. मांग पूरी नहीं होने की वजह पूरे प्रदेश में ये कर्मचारी प्रदर्शन कर रहे हैं. प्रदर्शनकारियों से मिलने बिलासपुर के विधायक शैलेश पांडेय पहुंचे, जहां उन्होंने कर्मचारियों को मनाने की कोशिश की उन्होंने कहा कि उनकी ये मांग उनके घोषणा पत्र में है जिसे पूरा किया जाएगा, लेकिन कोविड के समय इस तरह हड़ताल न करें, जिस पर प्रदर्शनकारियों ने उन्हें ठोस आश्वासन के बाद ही हड़ताल खत्म करने की बात कही है.
विधायक ने इस बात पर जोर दिया है कि, सरकार और मुख्यमंत्री से इस विषय मे चर्चा करेंगे. प्रदर्शनकारियों का कहना है कि लगातार विरोध प्रदर्शन और मांग सरकार तक रखने के बावजूद इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है. सरकार अपने वादों को भूल चुकी है. लिहाजा अब उन्हें सड़कों पर आकर प्रदर्शन करना पड़ रहा है.
कर्माचारियों के हड़ताल से प्रभाव
कर्माचारियों का आरोप है कि लगातार उनकी मांगों की अनदेखी की जा रही है. इस कारण वे शासन का ध्यान अपनी ओर आकर्षित कर रहे हैं. वर्तमान में सभी कर्मचारियों की ड्यूटी कोरोना में लगाई गई है. कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से स्वास्थ्य विभाग के साथ लोगों की परेशानी भी बढ़ेगी, जिससे काेराेना जांच प्रक्रिया भी प्रभावित होगी. वहीं संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से आंगनबाड़ी में गर्भवती महिलाओं के होने वाले स्वास्थ्य जांच भी प्रभावित हो रही हैं.