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Campaign to make Surguja decay free: टीबीमुक्त हो रहा सरगुजा, अब निजी अस्पतालों में भी फ्री इलाज

free treatment of tb patients in surguja: सरगुजा में टीबी मरीजों का निजी अस्पतालों में भी इलाज अब मुफ्त होगा.

free treatment of tb patients in surguja
सरगुजा में टीबी मरीजों का मुफ्त इलाज
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Published : Feb 19, 2022, 2:09 PM IST

Updated : Feb 19, 2022, 3:33 PM IST

सरगुजा: टीबी के मरीजों की जांच के लिए स्वास्थ्य विभाग एक बार फिर से अभियान चलाने वाला है. इस बार शासकीय अस्पताल के साथ शहर के निजी अस्पताल होली क्रॉस हॉस्पिटल में क्षय रोग की जांच और उपचार सुविधा निःशुल्क रूप से उपलब्ध कराई जाएगी. लखनपुर क्षेत्र में डोर टू डोर सर्वे कर मरीजों का पता लगाया जाएगा. टीबी मरीजों को उपचार के लिए राशि दी जा रही है. क्षय रोगियों की जानकारी देने और उनका उपचार कराने के साथ ही दवाओं का नियमित सेवन कराने वालों को भी प्रोत्साहन राशि दी जा रही है.

सरगुजा को क्षय मुक्त बनाने का अभियान

टीबी के मरीजों का उपचार करने और जानकारी प्रसाशन व स्वास्थ्य विभाग से छिपाने वालों पर कड़ी कार्रवाई भी होगी. इसके लिए नोटिफिकेशन जारी हो चुका है. अंबिकापुर जिला क्षय अधिकारी डॉ. शैलेन्द्र गुप्ता ने बताया कि कलेक्टर संजीव कुमार झा और जिला पंचायत सीईओ विनय कुमार लंगेह ने सरगुजा को क्षय मुक्त बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग को कार्य योजना बनाकर सभी विकास खंडों में डोर टू डोर सर्वे करने के निर्देश दिए हैं.

टीबी मरीजों की पहचान के लिए अभियान

अंबिकापुर जिला क्षय अधिकारी डॉ शैलेन्द्र गुप्ता (Ambikapur District Tuberculosis Officer Dr Shailendra Gupta) के मुताबिक क्षय रोगियों की पहचान के लिए जिले में सतत अभियान चलाया जा रहा है. साल 2011-22 के दौरान आधुनिक मशीनों ट्रू नॉट और सीबी नॉट के माध्यम से जिले में कुल 2024 संभावितों की जांच की गई. 1226 क्षय रोगियों की पहचान की गई है, जिनमें से 97.5 प्रतिशत मरीज उपचार के बाद पूरी तरह स्वस्थ हैं. क्षय रोग की जांच और उपचार सभी शासकीय स्वास्थ्य संस्थानों में निःशुल्क है.

बालोद की ये बारात क्यों बनी आकर्षण का केंद्र ?

निक्क्षय पोषण आहार योजना (Nikshay Nutrition Diet Plan in Surguja) के तहत कुल 20 लाख 32 हजार 5 सौ रुपए व जनजातीय सहायता योजना के तहत मरीजों को कुल राशि 6 लाख 23 हजार 250 रुपए, कुल 831 टीबी मरीजों को भुगतान किया गया. विशेष केंद्रीय सहायता योजना के तहत राशि 8 लाख 70 हजार रुपए आदिवासी वर्ग के 87 मरीजों को भुगतान किया गया. शासन की योजना के तहत टीबी के मरीजों की सूचना देने पर भी प्रोत्साहन राशि दी जा रही है.

इस साल 1 लाख 44 हजार 9 सौ रुपए प्रोत्साहन राशि दी गई है.

  • फिरदौसी हॉस्पिटल 29 हजार 5 सौ
  • लाइफलाइन हॉस्पिटल 23 हजार
  • सिटी हॉस्पिटल 11 हजार 5 सौ
  • तेज डायग्नोस्टिक 24 हजार 5 सौ
  • डॉ. एमपी अग्रवाल 56 हजार
  • प्रकाश हॉस्पिटल 17 हजार 5 सौ
  • संकल्प हास्पिटल 53 हजार
  • डॉ. पीके श्रीवास्तव 21 हजार 5 सौ
  • डॉ. सोनी क्लिनिक 1 हजार रुपए

सरगुजा के निजी अस्पतालों में टीबी मरीजों का मुफ्त इलाज

डॉ. शैलेंद्र गुप्ता ने बताया कि 'लोगों को कभी-कभी शासकीय अस्पताल में जांच और उपचार में संतुष्टि नहीं होती है. ऐसे में अब निजी अस्पतालों में भी जांच की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है. सबसे पहले शहर के होली क्रॉस हॉस्पिटल से डीएमसी अनुबंध किया गया है. अनुबंध के तहत अस्पताल में मरीजों की जांच व उपचार निःशुल्क किए जाएंगे. अब स्वास्थ्य विभाग डोर टू डोर अभियान चलाकर मरीजों की पहचान करेगा. इसके लिए 26 फरवरी से लखनपुर विकासखंड में पांच स्थानों पर कैंप लगाए जाएंगे. कैम्प में विशेष रूप से एचआईवी व कोरोना संक्रमित मरीजों को फोकस किया जाएगा. कोरोना के कारण लोगों के फेफड़ों पर असर पड़ा है. उनमें टीबी की संभावना भी बनती है. सिर्फ लखनपुर क्षेत्र में एचआईवी के 55 और कोरोना के 5 हजार 500 लोगों की सूचि बनाई गई है. अब टीम कैम्प लगाकर मरीजों की जांच करेगी.

सरगुजा: टीबी के मरीजों की जांच के लिए स्वास्थ्य विभाग एक बार फिर से अभियान चलाने वाला है. इस बार शासकीय अस्पताल के साथ शहर के निजी अस्पताल होली क्रॉस हॉस्पिटल में क्षय रोग की जांच और उपचार सुविधा निःशुल्क रूप से उपलब्ध कराई जाएगी. लखनपुर क्षेत्र में डोर टू डोर सर्वे कर मरीजों का पता लगाया जाएगा. टीबी मरीजों को उपचार के लिए राशि दी जा रही है. क्षय रोगियों की जानकारी देने और उनका उपचार कराने के साथ ही दवाओं का नियमित सेवन कराने वालों को भी प्रोत्साहन राशि दी जा रही है.

सरगुजा को क्षय मुक्त बनाने का अभियान

टीबी के मरीजों का उपचार करने और जानकारी प्रसाशन व स्वास्थ्य विभाग से छिपाने वालों पर कड़ी कार्रवाई भी होगी. इसके लिए नोटिफिकेशन जारी हो चुका है. अंबिकापुर जिला क्षय अधिकारी डॉ. शैलेन्द्र गुप्ता ने बताया कि कलेक्टर संजीव कुमार झा और जिला पंचायत सीईओ विनय कुमार लंगेह ने सरगुजा को क्षय मुक्त बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग को कार्य योजना बनाकर सभी विकास खंडों में डोर टू डोर सर्वे करने के निर्देश दिए हैं.

टीबी मरीजों की पहचान के लिए अभियान

अंबिकापुर जिला क्षय अधिकारी डॉ शैलेन्द्र गुप्ता (Ambikapur District Tuberculosis Officer Dr Shailendra Gupta) के मुताबिक क्षय रोगियों की पहचान के लिए जिले में सतत अभियान चलाया जा रहा है. साल 2011-22 के दौरान आधुनिक मशीनों ट्रू नॉट और सीबी नॉट के माध्यम से जिले में कुल 2024 संभावितों की जांच की गई. 1226 क्षय रोगियों की पहचान की गई है, जिनमें से 97.5 प्रतिशत मरीज उपचार के बाद पूरी तरह स्वस्थ हैं. क्षय रोग की जांच और उपचार सभी शासकीय स्वास्थ्य संस्थानों में निःशुल्क है.

बालोद की ये बारात क्यों बनी आकर्षण का केंद्र ?

निक्क्षय पोषण आहार योजना (Nikshay Nutrition Diet Plan in Surguja) के तहत कुल 20 लाख 32 हजार 5 सौ रुपए व जनजातीय सहायता योजना के तहत मरीजों को कुल राशि 6 लाख 23 हजार 250 रुपए, कुल 831 टीबी मरीजों को भुगतान किया गया. विशेष केंद्रीय सहायता योजना के तहत राशि 8 लाख 70 हजार रुपए आदिवासी वर्ग के 87 मरीजों को भुगतान किया गया. शासन की योजना के तहत टीबी के मरीजों की सूचना देने पर भी प्रोत्साहन राशि दी जा रही है.

इस साल 1 लाख 44 हजार 9 सौ रुपए प्रोत्साहन राशि दी गई है.

  • फिरदौसी हॉस्पिटल 29 हजार 5 सौ
  • लाइफलाइन हॉस्पिटल 23 हजार
  • सिटी हॉस्पिटल 11 हजार 5 सौ
  • तेज डायग्नोस्टिक 24 हजार 5 सौ
  • डॉ. एमपी अग्रवाल 56 हजार
  • प्रकाश हॉस्पिटल 17 हजार 5 सौ
  • संकल्प हास्पिटल 53 हजार
  • डॉ. पीके श्रीवास्तव 21 हजार 5 सौ
  • डॉ. सोनी क्लिनिक 1 हजार रुपए

सरगुजा के निजी अस्पतालों में टीबी मरीजों का मुफ्त इलाज

डॉ. शैलेंद्र गुप्ता ने बताया कि 'लोगों को कभी-कभी शासकीय अस्पताल में जांच और उपचार में संतुष्टि नहीं होती है. ऐसे में अब निजी अस्पतालों में भी जांच की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है. सबसे पहले शहर के होली क्रॉस हॉस्पिटल से डीएमसी अनुबंध किया गया है. अनुबंध के तहत अस्पताल में मरीजों की जांच व उपचार निःशुल्क किए जाएंगे. अब स्वास्थ्य विभाग डोर टू डोर अभियान चलाकर मरीजों की पहचान करेगा. इसके लिए 26 फरवरी से लखनपुर विकासखंड में पांच स्थानों पर कैंप लगाए जाएंगे. कैम्प में विशेष रूप से एचआईवी व कोरोना संक्रमित मरीजों को फोकस किया जाएगा. कोरोना के कारण लोगों के फेफड़ों पर असर पड़ा है. उनमें टीबी की संभावना भी बनती है. सिर्फ लखनपुर क्षेत्र में एचआईवी के 55 और कोरोना के 5 हजार 500 लोगों की सूचि बनाई गई है. अब टीम कैम्प लगाकर मरीजों की जांच करेगी.

Last Updated : Feb 19, 2022, 3:33 PM IST

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