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Chhattisgarh: एमसीबी के एक स्कूल में दो साल के अंदर पांच शिक्षकों की मौत, भूत की अफवाह से विद्यालय में लटका ताला

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Published : Apr 29, 2023, 4:00 PM IST

एमसीबी के खड़गवां ब्लॉक के एक स्कूल में अंधविश्वास ने ताला लटका दिया है. ग्रामीणों का मानना है कि, स्कूल में जो भी शिक्षक पढ़ाने के लिए आएगा उसकी मौत होगी.क्योंकि स्कूल में किसी भूत का साया है. वहीं शिक्षकों ने भी ग्रामीणों पर विश्वास करके स्कूल से दूरी बना ली हैं.शिक्षा के इस दौर में सिर्फ अंधविश्वास ने स्कूल में ताला लटका रखा है. यह पूरा मामला खड़गंवा के बसेलपुर इलाके का है.Manendragarh Chirmiri Bharatpur

Superstition locked school in MCB
भूत की अफवाह से विद्यालय में लटका ताला
स्कूल पर लटका ताला

मनेन्द्रगढ़ चिरमिरी भरतपुर : खड़गवां ब्लॉक के सावला ग्राम पंचायत के बसेलपुर में अंधविश्वास का दंश देखने को मिल जाएगा. भले ही स्कूल में लोग शिक्षित होने के लिए जाते हो.लेकिन बसेलपुर में अंधविश्वास ने स्कूल को ही निगल लिया है.अंधविश्वास का डर ऐसा है कि स्कूल में ताला लटक रहा है.अब बसेलपुर के ग्रामीणों को बच्चों की भविष्य की चिंता सता रही है. लेकिन, करें भी तो क्या करें. अंधविश्वास है कि इनके मन से जाता ही नहीं.

क्यों स्कूल में लटका है ताला : इस स्कूल में पहले ठीक ठाक पढ़ाई होती थी. लोग अपने बच्चों को बिना किसी चिंता के स्कूल में पढ़ने भेजते थे. लेकिन बीते दो साल में इस स्कूल में काम करने वाले 5 लोगों की मौत हो गई. वहीं एक स्टाफ छुट्टी पर है. इन मौतों को लेकर स्कूल में आने वाले बच्चों के मन में डर समा गया है. इस डर को गांव के ही कुछ लोगों ने हवा दे दी है. ये बात फैल गई कि स्कूल में भूत प्रेत का साया है.इसलिए जो भी स्कूल में पढ़ाने के लिए आएगा उसकी मौत हो जाएगी. स्कूल में काम करने वाले चपरासी और गांववालों का भी यही मत है. जिसका नतीजा ये है कि स्कूल में ताला लटक रहा है.

ये भी पढ़ें- कोरिया में प्रशासन ने रुकवाया बाल विवाह

किन शिक्षकों की हो चुकी है मौत :सावला गांव के शासकीय पूर्व माध्यमिक विद्यालय बसेलपुर में बीते 2 साल में 5 स्कूल स्टाफ की मौत हो गई है. इसी महीने की 11 तारीख को यहां पांचवी मौत हुई. विद्यालय के शिक्षक श्यामबिहारी की हाथ पैर में अचानक दर्द उठा. इसके कुछ देर बाद मौत हो गई. इसके पहले यहां के शिक्षक वीरेंद्र सिंह की ब्रेन हेमरेज से मौत हुई. चंद्रप्रकाश पैकरा घर में रात को सोए तो सुबह उठे ही नहीं. स्कूल से रिटायर होने के बाद प्रधान पाठक धरम साय भी जो घर गए तो स्वर्ग सिधार गए. इसी तरह एक और शिक्षक की आकस्मिक मौत हो गई. इन मौतों ने गांव वालों के मन में अंधविश्वास को पनपाने का काम कर दिया. 2 साल में 5 मौत होने के बाद अब ग्रामीण मान चुके हैं स्कूल में भूत है.

स्कूल के शिक्षकों का क्या है कहना: इस पूरे मसले पर टीचर मोनिता वर्मा ने कहा कि बीते 11 अप्रैल को टीचर श्यामबिहारी सर का देहांत हो गया था. मैं छुट्टी पर थी. इसलिए स्कूल बंद है. हम लोग भूत वाली जो अफवाह है उसे दूर करने का प्रयास करेंगे. स्कूल के चपरासी राजेश का कहना है कि मैं यहां बीते 12 साल से काम कर रहा हूं. बीते दो साल से ही ऐसा माहौल है. लोगों में फैले अंधविश्वास को दूर करने की कोशिश की जा रही है. वहीं बीईओ जितेंद्र गुप्ता ने कहा है कि" इस स्कूल के अधिकांश टीचर का देहांत हो गया है. एक टीचर हैं. जो छुट्टी पर थी. इसलिए स्कूल बंद था. लोगों में डर है. लेकिन हम शिक्षा से इस डर को खत्म करने की कोशिश करेंगे

ईटीवी भारत इस तरह के अंधविश्वास की पुष्टि नहीं करता. हमारा मकसद सिर्फ खबर बताना है. हालांकि इस मामले में शिक्षा विभाग को जल्द ही एक्शन में आकर सभी तरह की बातों को दूर करने की जरूरत है. ताकि स्कूल में दोबारा पढ़ाई शुरू हो सके

स्कूल पर लटका ताला

मनेन्द्रगढ़ चिरमिरी भरतपुर : खड़गवां ब्लॉक के सावला ग्राम पंचायत के बसेलपुर में अंधविश्वास का दंश देखने को मिल जाएगा. भले ही स्कूल में लोग शिक्षित होने के लिए जाते हो.लेकिन बसेलपुर में अंधविश्वास ने स्कूल को ही निगल लिया है.अंधविश्वास का डर ऐसा है कि स्कूल में ताला लटक रहा है.अब बसेलपुर के ग्रामीणों को बच्चों की भविष्य की चिंता सता रही है. लेकिन, करें भी तो क्या करें. अंधविश्वास है कि इनके मन से जाता ही नहीं.

क्यों स्कूल में लटका है ताला : इस स्कूल में पहले ठीक ठाक पढ़ाई होती थी. लोग अपने बच्चों को बिना किसी चिंता के स्कूल में पढ़ने भेजते थे. लेकिन बीते दो साल में इस स्कूल में काम करने वाले 5 लोगों की मौत हो गई. वहीं एक स्टाफ छुट्टी पर है. इन मौतों को लेकर स्कूल में आने वाले बच्चों के मन में डर समा गया है. इस डर को गांव के ही कुछ लोगों ने हवा दे दी है. ये बात फैल गई कि स्कूल में भूत प्रेत का साया है.इसलिए जो भी स्कूल में पढ़ाने के लिए आएगा उसकी मौत हो जाएगी. स्कूल में काम करने वाले चपरासी और गांववालों का भी यही मत है. जिसका नतीजा ये है कि स्कूल में ताला लटक रहा है.

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किन शिक्षकों की हो चुकी है मौत :सावला गांव के शासकीय पूर्व माध्यमिक विद्यालय बसेलपुर में बीते 2 साल में 5 स्कूल स्टाफ की मौत हो गई है. इसी महीने की 11 तारीख को यहां पांचवी मौत हुई. विद्यालय के शिक्षक श्यामबिहारी की हाथ पैर में अचानक दर्द उठा. इसके कुछ देर बाद मौत हो गई. इसके पहले यहां के शिक्षक वीरेंद्र सिंह की ब्रेन हेमरेज से मौत हुई. चंद्रप्रकाश पैकरा घर में रात को सोए तो सुबह उठे ही नहीं. स्कूल से रिटायर होने के बाद प्रधान पाठक धरम साय भी जो घर गए तो स्वर्ग सिधार गए. इसी तरह एक और शिक्षक की आकस्मिक मौत हो गई. इन मौतों ने गांव वालों के मन में अंधविश्वास को पनपाने का काम कर दिया. 2 साल में 5 मौत होने के बाद अब ग्रामीण मान चुके हैं स्कूल में भूत है.

स्कूल के शिक्षकों का क्या है कहना: इस पूरे मसले पर टीचर मोनिता वर्मा ने कहा कि बीते 11 अप्रैल को टीचर श्यामबिहारी सर का देहांत हो गया था. मैं छुट्टी पर थी. इसलिए स्कूल बंद है. हम लोग भूत वाली जो अफवाह है उसे दूर करने का प्रयास करेंगे. स्कूल के चपरासी राजेश का कहना है कि मैं यहां बीते 12 साल से काम कर रहा हूं. बीते दो साल से ही ऐसा माहौल है. लोगों में फैले अंधविश्वास को दूर करने की कोशिश की जा रही है. वहीं बीईओ जितेंद्र गुप्ता ने कहा है कि" इस स्कूल के अधिकांश टीचर का देहांत हो गया है. एक टीचर हैं. जो छुट्टी पर थी. इसलिए स्कूल बंद था. लोगों में डर है. लेकिन हम शिक्षा से इस डर को खत्म करने की कोशिश करेंगे

ईटीवी भारत इस तरह के अंधविश्वास की पुष्टि नहीं करता. हमारा मकसद सिर्फ खबर बताना है. हालांकि इस मामले में शिक्षा विभाग को जल्द ही एक्शन में आकर सभी तरह की बातों को दूर करने की जरूरत है. ताकि स्कूल में दोबारा पढ़ाई शुरू हो सके

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