बीजापुर: ताड़मेटला, उर्पलमेटा, तोंगगुड़ा और भट्टिगुड़ा जैसे बड़े हमलों में शामिल नक्सली कमांडर बसंत उर्फ सोमलू उर्फ रवि की मौत हो गई है. माओवादियों के दक्षिण सब जोनल की प्रवक्ता समता ने प्रेस नोट जारी कर बसंत के मौत की जानकारी दी है. प्रेस नोट में बताया गया कि गंभीर बीमारी के चलते 3 मई को नक्सलियों के मेडिकल कैंप में नक्सली कमांडर की मौत हुई थी.
कौन था बसंत ऊर्फ सोमलू: बसंत बीजापुर जिले के गंगालूर थाना क्षेत्र के कोरचोली का रहने वाला था. साल 1997 में वो नक्सल संगठन से जुड़ा और लगातार सक्रिए रहा. कई बड़ी घटनाओं में बसंत शामिल रहा. माओवादियों के बटालियन में CYPC और BNPC मेंबर के रूप में बसंत काम करता था. नक्सलियों के हथियार कारखाना का प्रभारी भी था. संगठन में 26 साल रहने के दौरान इसने हथियार,गोलाबारूद और बम बनाकर PLGA को मजबूत बनाया. बसंत की मौत को नक्सलियों ने संगठन के लिए बड़ा नुकसान बताया है.
Bijapur Encounter छत्तीसगढ़ तेलंगाना सीमा पर मुठभेड़ में मारा गया नक्सली, हथियार बरामद
रविवार का दिन नक्सली घटनाक्रम के लिहाज से सुर्खियों में रहा. एक तरफ बड़े नक्सली कमांडर की मौत हुई तो दूसरी तरफ छत्तीसगढ़ व तेलंगाना सीमा पर पुलिस व नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में एक नक्सली मारा गया. तेलंगाना के चेरला और छत्तीसगढ़ सीमा पामेड़ के जंगलों में चरला मंडल के पुट्टापडू वन क्षेत्र में पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में सुरक्षाबलों को बड़ी सफलता मिली. मौके से एसएलआर हथियार भी बरामद किए गए. मुठभेड़ के बाद छत्तीसगढ़ व तेलांगना सीमा इलाके के जंगलों में सर्चिंग अभियान तेज कर दिया गया है.