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कमीशन के लिए आंगनबाड़ी सेविका ने गर्भवती को अस्पताल से हटाकर निजी नर्सिंग होम में कराया भर्ती, नवजात की मौत

वैशाली में एक आंगनबाड़ी सेविका के काले करतूत का भंडाफोड़ हुआ है. आरोप है कि उसने एक गर्भवती महिला को हाजीपुर सदर अस्पताल (Hajipur Sadar Hospital) से हटाकर निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवा दिया. जहां महिला के नवजात शिशु की मौत हो गई. पढ़ें पूरी खबर...

गिरफ्तार आंगनबाड़ी सेविका
गिरफ्तार आंगनबाड़ी सेविका
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Published : Jun 4, 2022, 12:19 PM IST

वैशालीः बिहार के वैशाली में आंगनबाड़ी सेविका के द्वारा अस्पताल में दलाली करने का मामला सामने आया है. जिसके बाद अस्पताल प्रशासन ने आरोपी महिला को गिरफ्तार (Broker Anganwadi worker Arrested In Vaishali) कर पुलिस के हवाले कर दिया. दरअसल आंगनबाड़ी सेविका ने चंद रुपयों की खातिर एक गर्भवती महिला को सदर अस्पताल से हटाकर निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवा दिया. जहां महिला के नवजात शिशु की मौत हो गई. इसके बाद महिला के परिजनों ने जमकर हंगामा किया और आंगनबाड़ी सेविका के खिलाफ सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार मोहन (civil surgeon Dr Akhilesh Kumar Mohan) के पास शिकायत दर्ज कराई.

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आंगनबाड़ी सेविका ने ऐसे किया पूरा कामः पूरा मामला हाजीपुर सदर अस्पताल का है. जहां चार दिन पहले लालगंज के रहने वाले प्रकाश यादव की पत्नी को डिलिवरी के लिए बिदुपुर पीएससी में भर्ती कराया गया था. जहां से उसे हाजीपुर सदर अस्पताल में रेफर कर दिया गया. जहां महिला का इलाज चल ही रहा था कि तेरसिया की आंगनबाड़ी सेविका सोनी देवी (Anganwadi worker Soni Devi) की नजर महिला पर पड़ी और उसने महिला के पति को कहा कि आप इनके लिए बाहर से जूस ले आइए. जब पति जूस लेने चला गया तो सोनी देवी ने महिला से कहा कि सदर अस्पताल में कनाडा की एक टीम जांच करने आई हुई है. यहां इलाज नहीं किया जा रहा है. इसलिए आप जल्दी से दूसरे अस्पताल में चलिए. इस तरह उसने बहला-फुसलाकर ने डिलिवरी के लिए सदर अस्पताल आई गर्भवती महिला को एक निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवा दिया.

परिजनों का अस्पताल में जमकर हंगामाः वहीं, परिजनों का आरोप है कि निजी नर्सिंग होम गैर जिम्मेदाराना तरीके से महिला की डिलिवरी कराई गई. जिसके कारण बच्चे की मौत हो गई. साथ ही महिला की भी हालत गंभीर हो गई. उसे कई टांके लगाए गए और कई बोतल खून भी चढ़ाया गया. वहीं, घटना से नाराज परिजनों ने अस्पताल में जमकर हंगामा किया. साथ ही इस विषय में एक लिखित आवेदन सदर अस्पताल के सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार मोहन को दिया गया. डॉ. अखिलेश ने मामले की जांच की और तत्काल कार्रवाई करते हुए आरोपी आंगनबाड़ी सेविका सोनी देवी को सदर अस्पताल कैंपस से ही गिरफ्तार कराया

एफआईआर दर्ज कर हो रही कार्रवाईः की इस मामले में सीएस डॉ अखिलेश कुमार मोहन ने बताया कि सदर अस्पताल में गार्ड को हिदायत दी गई है कि यहां कोई भी दलाली करने वाले लोगों को नहीं आने दिया जाए. इसके बावजूद दलाली की शिकायत आई तो मामले की जांच कर कार्रवाई की गई. आरोपी महिला आंगनबाड़ी सेविका है, जिस को पकड़ लिया गया है. इस मामले में एफआईआर दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जाएगी.

ये भी पढ़ेंः देख लीजिए हाजीपुर सदर अस्पताल का हाल: बिजली गुल होने पर मोबइल की लाइट में मरीजों को लगा टांका

'हमने गार्ड को इंस्ट्रक्शन दिया हुआ है कि कोई बाहरी आदमी यहां आए और लगे कि यहां से मरीज को भगाने का काम कर रहा है या इस तरह का कुछ भी संदेह हो तो इसके पीछे लग कर देखिए कि यह क्या करता है. इसी बीच एक परिजन की शिकायत पर गार्ड ने एक महिला को पकड़ा, जिसने अस्पताल में एक भर्ती मरीज को झांसा देकर निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवाया था. उसका नाम सोनी देवी है वह आंगनवाड़ी सहायिका है. उसकी पोस्टिंग चौरसिया में है. बाहर जाकर भर्ती कराने के बाद पेशेंट का जो डिलीवरी हुआ वह बच्चा भी नहीं बचा'- डॉ. अखिलेश कुमार मोहन, सीएस

'हमारी पत्नी की फर्स्ट डिलीवरी थी, हम उसको बिदुपुर ले गए थे. जहां से सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया. यहां मुझे जूस लाने के बहाने बाहर भेज दिया गया और पत्नी को बोला गया कि कनाडा से चेकिंग के लिए आया हुआ है. यहां इलाज नहीं चल रहा है आप यहां से अलग चलिए. हम आपका नॉर्मल डिलीवरी करवा देंगे. हम थे नहीं तो मेरी पत्नी को क्यों ले गए और वहां मेरा बच्चा भी डेड हो गया. पत्नी को 14 टांके पड़े हैं, 5 बोतल खून चढ़ा है. आंगनबाड़ी सेविका किसी निजी नर्सिंग होम में ले गई थी. उसमें डॉक्टर नहीं बैठता है सिर्फ नर्स ही है'- प्रकाश यादव, पीड़ित महिला का पति

वहीं, आरोपी सोनी देवी का कहना है कि गर्भवती महिला की चाची खुद ही प्राइवेट नर्सिंग होम में ले जाने के लिए बोली थी. लेकिन जब जोर देकर महिला से पूछा गया तो उसने कहा कि यहीं पर बगल में एक अस्पताल में ले गई थी. उसने बताया कि वह आंगनबाड़ी में काम करती है.

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वैशालीः बिहार के वैशाली में आंगनबाड़ी सेविका के द्वारा अस्पताल में दलाली करने का मामला सामने आया है. जिसके बाद अस्पताल प्रशासन ने आरोपी महिला को गिरफ्तार (Broker Anganwadi worker Arrested In Vaishali) कर पुलिस के हवाले कर दिया. दरअसल आंगनबाड़ी सेविका ने चंद रुपयों की खातिर एक गर्भवती महिला को सदर अस्पताल से हटाकर निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवा दिया. जहां महिला के नवजात शिशु की मौत हो गई. इसके बाद महिला के परिजनों ने जमकर हंगामा किया और आंगनबाड़ी सेविका के खिलाफ सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार मोहन (civil surgeon Dr Akhilesh Kumar Mohan) के पास शिकायत दर्ज कराई.

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आंगनबाड़ी सेविका ने ऐसे किया पूरा कामः पूरा मामला हाजीपुर सदर अस्पताल का है. जहां चार दिन पहले लालगंज के रहने वाले प्रकाश यादव की पत्नी को डिलिवरी के लिए बिदुपुर पीएससी में भर्ती कराया गया था. जहां से उसे हाजीपुर सदर अस्पताल में रेफर कर दिया गया. जहां महिला का इलाज चल ही रहा था कि तेरसिया की आंगनबाड़ी सेविका सोनी देवी (Anganwadi worker Soni Devi) की नजर महिला पर पड़ी और उसने महिला के पति को कहा कि आप इनके लिए बाहर से जूस ले आइए. जब पति जूस लेने चला गया तो सोनी देवी ने महिला से कहा कि सदर अस्पताल में कनाडा की एक टीम जांच करने आई हुई है. यहां इलाज नहीं किया जा रहा है. इसलिए आप जल्दी से दूसरे अस्पताल में चलिए. इस तरह उसने बहला-फुसलाकर ने डिलिवरी के लिए सदर अस्पताल आई गर्भवती महिला को एक निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवा दिया.

परिजनों का अस्पताल में जमकर हंगामाः वहीं, परिजनों का आरोप है कि निजी नर्सिंग होम गैर जिम्मेदाराना तरीके से महिला की डिलिवरी कराई गई. जिसके कारण बच्चे की मौत हो गई. साथ ही महिला की भी हालत गंभीर हो गई. उसे कई टांके लगाए गए और कई बोतल खून भी चढ़ाया गया. वहीं, घटना से नाराज परिजनों ने अस्पताल में जमकर हंगामा किया. साथ ही इस विषय में एक लिखित आवेदन सदर अस्पताल के सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार मोहन को दिया गया. डॉ. अखिलेश ने मामले की जांच की और तत्काल कार्रवाई करते हुए आरोपी आंगनबाड़ी सेविका सोनी देवी को सदर अस्पताल कैंपस से ही गिरफ्तार कराया

एफआईआर दर्ज कर हो रही कार्रवाईः की इस मामले में सीएस डॉ अखिलेश कुमार मोहन ने बताया कि सदर अस्पताल में गार्ड को हिदायत दी गई है कि यहां कोई भी दलाली करने वाले लोगों को नहीं आने दिया जाए. इसके बावजूद दलाली की शिकायत आई तो मामले की जांच कर कार्रवाई की गई. आरोपी महिला आंगनबाड़ी सेविका है, जिस को पकड़ लिया गया है. इस मामले में एफआईआर दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जाएगी.

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'हमने गार्ड को इंस्ट्रक्शन दिया हुआ है कि कोई बाहरी आदमी यहां आए और लगे कि यहां से मरीज को भगाने का काम कर रहा है या इस तरह का कुछ भी संदेह हो तो इसके पीछे लग कर देखिए कि यह क्या करता है. इसी बीच एक परिजन की शिकायत पर गार्ड ने एक महिला को पकड़ा, जिसने अस्पताल में एक भर्ती मरीज को झांसा देकर निजी नर्सिंग होम में भर्ती करवाया था. उसका नाम सोनी देवी है वह आंगनवाड़ी सहायिका है. उसकी पोस्टिंग चौरसिया में है. बाहर जाकर भर्ती कराने के बाद पेशेंट का जो डिलीवरी हुआ वह बच्चा भी नहीं बचा'- डॉ. अखिलेश कुमार मोहन, सीएस

'हमारी पत्नी की फर्स्ट डिलीवरी थी, हम उसको बिदुपुर ले गए थे. जहां से सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया. यहां मुझे जूस लाने के बहाने बाहर भेज दिया गया और पत्नी को बोला गया कि कनाडा से चेकिंग के लिए आया हुआ है. यहां इलाज नहीं चल रहा है आप यहां से अलग चलिए. हम आपका नॉर्मल डिलीवरी करवा देंगे. हम थे नहीं तो मेरी पत्नी को क्यों ले गए और वहां मेरा बच्चा भी डेड हो गया. पत्नी को 14 टांके पड़े हैं, 5 बोतल खून चढ़ा है. आंगनबाड़ी सेविका किसी निजी नर्सिंग होम में ले गई थी. उसमें डॉक्टर नहीं बैठता है सिर्फ नर्स ही है'- प्रकाश यादव, पीड़ित महिला का पति

वहीं, आरोपी सोनी देवी का कहना है कि गर्भवती महिला की चाची खुद ही प्राइवेट नर्सिंग होम में ले जाने के लिए बोली थी. लेकिन जब जोर देकर महिला से पूछा गया तो उसने कहा कि यहीं पर बगल में एक अस्पताल में ले गई थी. उसने बताया कि वह आंगनबाड़ी में काम करती है.

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