वैशाली: जिले के हाजीपुर के व्यवसायियों को बिहार सरकार की बजट से काफी उम्मीदें (Vaishali businessmen expect from budget) हैं. व्यवसायी वर्ग को टैक्स, सुरक्षा और बीमा में राहत को लेकर सरकार से काफी उम्मीदें हैं. व्यवसायियों को उम्मीद है कि सरकार राहत का बजट पेश करेगी. उनका मानना है कि सरकार चाहे तो टैक्स में छूट देकर उन्हें राहत दे सकती है. साथ ही लॉ एंड ऑर्डर से संबंधित व्यवस्था को भी ठीक करने की उम्मीद जतायी. व्यवसायियों का मानना है कि सरकार मुआवजा, बीमा का प्रावधान बजट पर कर छोटे व्यवसायियों को लाभ पहुंचा सकती है.
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टैक्स में छूट चाहिएः कपड़ा व्यवसायी सत्यजीत कुमार ने बताया कि बिहार में एक भी कपड़ा की फैक्ट्री नहीं है. ऐसे में सरकार को बिहार में कपड़ा की फैक्ट्री लगाना चाहिए. क्योंकि, कपड़ा की मार्केटिंग के लिए बाहर जाना पड़ता है. कपड़ा उद्योग को बढ़ावा देने के लिए जरूर कदम उठाया जाना चाहिए. साथ ही 1000 से ऊपर के कपड़ों की खरीददारी पर टैक्स में छूट देनी चाहिए. जिसे लोग कपड़े की ज्यादा खरीददारी कर सके. वही किराना व्यवसायी रंजीत चौधरी का कहना है कि सरकार को टैक्स में छूट के साथ-साथ लॉ एंड ऑर्डर का भी ध्यान रखना चाहिए.
मुआवजा दिया जाएः रंजीत ने कहा कि आए दिन लूटपाट होने से दुकानदार काफी परेशान होते रहते हैं. मॉल और ऑनलाइन मार्केटिंग भी दुकानदारों को नुकसान पहुंचा रहा है. हालांकि रंजीत चौधरी को उम्मीद है कि 2024 और 2025 में चुनाव होने वाला है. ऐसे में सरकार व्यवसायियों के लिए कुछ बढ़िया घोषणा कर सकती है. स्वर्ण व्यवसाई कृष्ण भगवान सोनी का मानना है कि प्रखंड स्तर पर जो स्वर्ण व्यवसायी हैं उनका बीमा ना तो बैंक करती है और ना ही बीमा कंपनी. ऐसे में सरकार को खास तौर से मुआवजे का ध्यान रखना चाहिए, जिससे उनका बीमा हो जाएगा.
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हस्त शिल्प का दर्जा मिलेः कृष्ण भगवान सोनी ने कहा कि लूटपाट के बाद जिन दुकानदारों का सामान रिकवर नहीं होता है उनको सरकार की ओर से मुआवजा मिलनी चाहिए. वही सरकार चाहे तो ऐसे दुकानदारों के लिए बीमा योजना भी ला सकती है. साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि स्वर्ण व्यवसाय से जुड़े कारीगरों को हस्त शिल्पी का दर्जा तो दे दिया गया है, लेकिन अभी उन्हें इसका फायदा नहीं मिल रहा है. सरकार से उम्मीद है कि इस बार कुछ बेहतर होगा.
'केंद्र सरकार जो हजार रुपए के ऊपर के कपड़ों में 12 परसेंट का जीएसटी लगा रखी है, उसका आधा स्टेट गवर्नमेंट को और केंद्र को देना पड़ता है. उसमें स्टेट गवर्नमेंट चाहे तो अपने दर को कम करके राहत दे सकती हैं. इससे महंगा कपड़ा लेने वालों को राहत मिलेगी. बिहार में उद्योग लगाना चाहिए कपड़ा का उद्योग बिहार में जीरो के बराबर है. यहां कपड़े के उद्योग में स्टेट गवर्नमेंट को एक्स्ट्रा बेनिफिट देना चाहिए जिससे बिहार में आकर कपड़े का उद्योग लगाए. कपड़े का प्रोडक्शन बिहार में सिर्फ बिस्किट और सर्फ के नाम पर ही ज्यादा फैक्ट्री है कपड़े का फैक्ट्री नहीं है." - सत्यजीत कुमार, व्यवसायी
"बिहार बजट से स्वर्णकार संघ को बहुत उम्मीद है. इस बार तो हम चाहेंगे कि सरकार स्वर्णकार को विशेष रुप से ध्यान दें. खासतौर से स्वर्णकार में जो कारीगर हैं और कामगार है उनको हस्तशिल्प का दर्जा तो मिला लेकिन सुरक्षा बीमा या किसी प्रकार का बीमा या मुआवजा इस संबंध कटा हुआ है. इसलिए सरकार ऐसी कमेटी बनाएं इनके लिए कमेटी के तहत उनको मुआवजा सुविधा वगैरह मिल सके. साथ ही डकैती या चोरी होने के बाद सामान बरामद नहीं हो पाता है तो उसके लिए मुआवजे का प्रावधान किया जाना चाहिये."- कृष्ण भगवान सोनी, स्वर्ण व्यवसायी