सुपौल: उज्बेकिस्तान की 28 वर्षीय युवती को एसएसबी घूरना बीओपी के जवानों ने संदेहास्पद स्थिति में पकड़कर वीरपुर पुलिस के हवाले किया है. एसडीपीओ रामानंद कुमार कौशल ने बताया कि अररिया नरपतगंज प्रखंड के महेशपट्टी गांव का रहने वाला एक युवक कृष्णा पासवान युवती को नेपाल की राजधानी काठमांडू से घुमाने के नाम पर बॉर्डर पार करवा रहा था. रास्ते में बलभद्रपुर पंचायत के बैरिया चौधरी नहर पुल के पास उसे संदेहास्पद स्थिति में देखे जाने पर गश्ती कर रहे बीओपी के जवानों ने युवती को अपने हिरासत में ले लिया है.
ये भी पढ़ें- सुपौल: शराब की सूचना पर छापेमारी करने पहुंची पुलिस पर पथराव, वाहन क्षतिग्रस्त, कई पुलिसकर्मी घायल
पुलिसिया पूछताछ में युवती ने बताया कि कृष्णा पासवान उसे काठमांडू के एक होटल में 28 मार्च को मिला. उसे नेपाल घुमाने की बात कही. उसने उसका पासपोर्ट और तीन महीने नेपाल का बीजा देखने के बाद उसे नेपाल घुमाने का झांसा दिया और उसे बस में बैठाकर नेपाल सीमा से सटे महेंद्र राजमार्ग में लौकही के समीप उतर गया. वहां से युवती को बाइक से ले जा रहा था. इस बीच जवानों को देख वह फरार हो गया.
पासपोर्ट और बीजा बरामद
एसएसबी के अधिकारी और जवान जब कृष्णा को खोजते हुए महेशपट्टी पहुंचे तो वह घर पर नहीं था. कृष्णा के पिता श्याम नारायण पासवान के पास से युवती के उज्बेकिस्तान का पासपोर्ट और नेपाली बीजा बरामद किया गया है. एसडीपीओ ने बताया कि युवती उज्बेकिस्तान की रहने वाली है. यह पहले भी अपने बीजा पर वर्ष 2009 में भारत आई थी. हालांकि युवती का कहना है कि इसे नेपाल घुमाने के नाम पर बहला फुसलाकर भारत लाया गया है. मामले को लेकर वृहद अनुसंधान जारी है. संबंधित जांच एजेंसियों को सूचना दी गई है. तत्काल कोरोना और मेडिकल जांच कराई जा रही है. वहीं महेशपट्टी निवासी कृष्णा पासवान के विरुद्ध मामला मानव तस्करी का मामला दर्ज कर युवती को न्यायालय में पेश किया जाएगा.