समस्तीपुर: बिहार में बाढ़ (Flood In Bihar) से हाहाकार है. समस्तीपुर में बूढ़ी गंडक ने रौद्र रूप अख्तियार कर लिया है. शहर तक गंडक नदी का पानी आ चुका है. नदी के प्रवाह को देखकर लग रहा है कि जैसे गंडक नदी नहीं सागर हो. बढ़ते जल स्तर के चलते सैकड़ों घरों में बाढ़ का पानी घुस चुका है. कुछ घर तो पूरी तरह से डूब चुके हैं. चारों ओर टापू ही टापू दिखाई दे रहा है.
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बता दें कि जिले से गुजरने वाली गंगा, गंडक और बागमती समेत कई नदियों के जलस्तर में इजाफा होना शुरू हो गया है. बागमती में बढ़ते जलस्तर से समस्तीपुर-दरभंगा रेलखंड प्रभावित हुआ है. पुल के गर्डर को बाढ़ का पानी छू गया है. जिसके चलते कई ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है. यही नहीं, कई ट्रेनों को डायवर्ट भी किया गया है.
शहर के करीब से गुजरने वाली बूढ़ी गंडक तीसरी बार खतरे के निशान को पार कर गई है. आपदा प्रबंधन के आंकड़ों के मुताबिक बीते चौबीस घंटे में 97 सेंटीमीटर ऊपर पानी बढ़ा है. इस वक्त 43.6 मीटर बूढ़ी गंडक का जलस्तर है. जबकि खतरे का निशान 42.63 मीटर है.
गौरतलब है कि बाढ़ के चलते कई तटबंधों पर दबाव बढ़ गया है. वहीं कुछ जगहों से पानी तटबंधों के अंदर भी पहुंच गया है. ऊंचे स्थान पर बने सैकड़ों घरों में दोबारा पानी पहुंचने से लोग त्राहिमाम कर रहे हैं. बता दें कि सीएम नीतीश बोट के जरिए बाढ़ग्रस्त इलाके का जायजा ले रहे हैं. उन्होंने बाढ़ प्रभावित लोगों को हर संभव मदद देने का निर्देश जारी किया है.
बिहार के 17 जिले बाढ़ से प्रभावित हैं. बिहार सरकार के आपदा प्रबंधन विभाग की ओर से दैनिक प्रतिवेदन के माध्यम से मिल रही जानकारी के अनुसार मुजफ्फरपुर, दरभंगा, खगड़िया, सहरसा, पटना, वैशाली, भागलपुर, सारण, बेगूसराय, कटिहार, मुंगेर, समस्तीपुर, पूर्णिया, सीतामढ़ी, पश्चिम चंपारण, पूर्वी चंपारण, गोपालगंज, मधेपुरा के 86 प्रखंडों के अंतर्गत 525 पंचायत आंशिक अथवा पूर्ण रूप से प्रभावित हैं. 17 जिलों के 2202 गांव प्रभावित हैं, जिसमें लगभग 31.97 लाख की जनसंख्या प्रभावित है. बिहार में अब तक 43 लोगों की मौत बाढ़ की वजह से हुई है.