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सहरसा में सुपर पावर ग्रिड का उद्धाटन, आरके सिंह बोले- बिजली के मामले में अपग्रेड और आत्मनिर्भर हो रहा है बिहार

बिहार के सहरसा जिले में एक और सुपर पावर ग्रिड स्टेशन (Saharsa Super Power Grid Station ) काम करने लगा है. इसकी मदद से बिहार का कोसी-सीमांचल और बेगूसराय जिले में अब निर्बाध बिजली मिल पायेगी. पढ़ें पूरी खबर..

आरके सिंह
आरके सिंह
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Published : Apr 15, 2022, 6:48 PM IST

सहरसा: बिहार बिजली के मामले में लगातार अपग्रेड हो रहा है. इसी कड़ी में सहरसा जिले में 550 करोड़ की लागत से राज्य का 14वां सुपर पावर ग्रिड स्टेशन ने काम करना शुरू कर (Inauguration of New Power Grid Station in Saharsa) दिया है. इसका उद्घाटन केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह (Union Energy Minister RK Singh ) और बिहार सरकार के ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र यादव (Energy Minister Bijendra Yadav) ने संयुक्त रूप से किया. सहरसा सुपर पावर ग्रिड स्टेशन अब सीधे नेशनल पावर ग्रिड से जुड़ जायेगा. इससे बेगूसराय, सहरसा, सुपौल, मधेपुरा, अररिया, किशनगंज, मधेपुरा सहित कोसी और सीमांचल इलाके के कई जिलों में पावर कट की समस्या पर रोक लग जायेगी.

पढ़ें-केंद्रीय ऊर्जा मंत्री बोले- 'अब बांस-बल्ले के सहारे नहीं लगेंगी बिजली की तारें, देश कर रहा विकास'

कोसी और सीमांचल में 24 घंटे मिले सकेगी बिजलीः नवनिर्मित पावर ग्रिड का उद्घाटन समारोह सहरसा के पटेल मैदान में आयोजित किया गया. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केंद्रीय उर्जा मंत्री आरके सिंह ने कहा कि बिहार बिजली के मामले में लगातार अपग्रेड और आत्मनिर्भर हो रहा है. सहरसा में बने 14वें ग्रिड से कोसी-सीमांचल के इलाके के साथ-साथ बेगूसारय जिले में 24 घंटे बिना बाधा के बिजली आपूर्ति संभव हो गया है. यह नेशनल ग्रिड से जुड़े होने के कारण इन इलाकों के सभी ग्रिड स्टेशनों के पास बिजली 24 घंटे आपूर्ति के लिए उपलब्ध होगा. अर्थात किसी एक रूट से अगर कोई पावर सप्लाई बंद होगी या सप्लाई लाइन में फाल्ट होता है दूसरे ओर से पावर इनपुट रहेगा. केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि यह ग्रिड देश के साथ-साथ पड़ोसी नेपाल और भूटान के साथ भी जुड़ गया है. कार्यक्रम में इलाके के कई जनप्रतिनिधि मौके पर मौजूद थे.

नेपाल के सहयोग से कोसी पर बनेंगे कई पावर प्लांटः केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया कि कोसी इलाके में बाढ़ की समस्या को हल करने और बिजली के मामले में आत्मनिर्भर बनने के लिए हाइड्रो पावर प्लांटों की संख्या बढ़ायी जायेगी. नेपाल में एक हाइड्रो पावर प्लांटों का काम पूरा हो चुका है. दूसरे का काम जल्द पूरा हो जायेगा. इसके अलावा नेपाल दौरे के दौरान वहां के तात्कालीन प्रधानमंत्री और भारत सरकार के केंद्रीय जलसंसाधन मंत्री से बात हुई. मंत्री ने आगे कहा कि हमार लक्ष्य नेपाल में और पावर प्लांट लगाने का है, ताकि बाढ़ नियंत्रण के साथ-साथ बिजली के मामले में आत्मनिर्भर होने में मदद मिल सके.

सहरसा के सिहौल में बना है नया ग्रिडः सहरसा जिले के सिहौल में बिहार का 14वां सुपर पावर ग्रिड स्टेशन बनाया गया है. यह ग्रिड 35 एकड़ इलाके में फैला हुआ है, जहां 24 घंटे पावर सप्लाई जारी रहेगा.पहले बिहार में मात्र 2 सुपर पावर ग्रिड स्टेशन था. उन्होंने आगे कहा कि बिहार में संचरण लाइन को दुरुस्त करने के लिए भारत सरकार और बिहार सरकार ने मिलकर एक संयुक्त उपक्रम बनाया, जो इसके लिए लगातार काम कर रहा है. इस दौरान उन्होंने आगे कहा कि बिहार के बड़े शहरों में स्काडा सिस्टम और डीएमएस तकनीक का उपयोग सतत बिजली आपूर्ति के लिए किया जायेगा. इस पर काम चल रहा है.

5 साल में बिहार को मिला 22 हजार करोड़ः केंद्रीय ऊर्जा मंत्री ने आगे कहा कि बीते 5 वर्षों में बिहार में बिजली क्षेत्र के लिए 22 हजार करोड़ रुपए की योजना स्वीकृत किए हैं. देश में पिछले 5 वर्षों में करीब 2 लाख 5000 करोड़ की योजना स्वीकृत की गयी है, जिसका 10 फीसदी बिहार में खर्च किया गया है. इस कारण राज्य में बिजली की व्यवस्था में काफी सुधार हुआ है.

पढ़ें- सीतामढ़ी में बना सुपरग्रिड राष्ट्र को समर्पित, केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने किया उद्घाटन

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सहरसा: बिहार बिजली के मामले में लगातार अपग्रेड हो रहा है. इसी कड़ी में सहरसा जिले में 550 करोड़ की लागत से राज्य का 14वां सुपर पावर ग्रिड स्टेशन ने काम करना शुरू कर (Inauguration of New Power Grid Station in Saharsa) दिया है. इसका उद्घाटन केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह (Union Energy Minister RK Singh ) और बिहार सरकार के ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र यादव (Energy Minister Bijendra Yadav) ने संयुक्त रूप से किया. सहरसा सुपर पावर ग्रिड स्टेशन अब सीधे नेशनल पावर ग्रिड से जुड़ जायेगा. इससे बेगूसराय, सहरसा, सुपौल, मधेपुरा, अररिया, किशनगंज, मधेपुरा सहित कोसी और सीमांचल इलाके के कई जिलों में पावर कट की समस्या पर रोक लग जायेगी.

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कोसी और सीमांचल में 24 घंटे मिले सकेगी बिजलीः नवनिर्मित पावर ग्रिड का उद्घाटन समारोह सहरसा के पटेल मैदान में आयोजित किया गया. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केंद्रीय उर्जा मंत्री आरके सिंह ने कहा कि बिहार बिजली के मामले में लगातार अपग्रेड और आत्मनिर्भर हो रहा है. सहरसा में बने 14वें ग्रिड से कोसी-सीमांचल के इलाके के साथ-साथ बेगूसारय जिले में 24 घंटे बिना बाधा के बिजली आपूर्ति संभव हो गया है. यह नेशनल ग्रिड से जुड़े होने के कारण इन इलाकों के सभी ग्रिड स्टेशनों के पास बिजली 24 घंटे आपूर्ति के लिए उपलब्ध होगा. अर्थात किसी एक रूट से अगर कोई पावर सप्लाई बंद होगी या सप्लाई लाइन में फाल्ट होता है दूसरे ओर से पावर इनपुट रहेगा. केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि यह ग्रिड देश के साथ-साथ पड़ोसी नेपाल और भूटान के साथ भी जुड़ गया है. कार्यक्रम में इलाके के कई जनप्रतिनिधि मौके पर मौजूद थे.

नेपाल के सहयोग से कोसी पर बनेंगे कई पावर प्लांटः केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया कि कोसी इलाके में बाढ़ की समस्या को हल करने और बिजली के मामले में आत्मनिर्भर बनने के लिए हाइड्रो पावर प्लांटों की संख्या बढ़ायी जायेगी. नेपाल में एक हाइड्रो पावर प्लांटों का काम पूरा हो चुका है. दूसरे का काम जल्द पूरा हो जायेगा. इसके अलावा नेपाल दौरे के दौरान वहां के तात्कालीन प्रधानमंत्री और भारत सरकार के केंद्रीय जलसंसाधन मंत्री से बात हुई. मंत्री ने आगे कहा कि हमार लक्ष्य नेपाल में और पावर प्लांट लगाने का है, ताकि बाढ़ नियंत्रण के साथ-साथ बिजली के मामले में आत्मनिर्भर होने में मदद मिल सके.

सहरसा के सिहौल में बना है नया ग्रिडः सहरसा जिले के सिहौल में बिहार का 14वां सुपर पावर ग्रिड स्टेशन बनाया गया है. यह ग्रिड 35 एकड़ इलाके में फैला हुआ है, जहां 24 घंटे पावर सप्लाई जारी रहेगा.पहले बिहार में मात्र 2 सुपर पावर ग्रिड स्टेशन था. उन्होंने आगे कहा कि बिहार में संचरण लाइन को दुरुस्त करने के लिए भारत सरकार और बिहार सरकार ने मिलकर एक संयुक्त उपक्रम बनाया, जो इसके लिए लगातार काम कर रहा है. इस दौरान उन्होंने आगे कहा कि बिहार के बड़े शहरों में स्काडा सिस्टम और डीएमएस तकनीक का उपयोग सतत बिजली आपूर्ति के लिए किया जायेगा. इस पर काम चल रहा है.

5 साल में बिहार को मिला 22 हजार करोड़ः केंद्रीय ऊर्जा मंत्री ने आगे कहा कि बीते 5 वर्षों में बिहार में बिजली क्षेत्र के लिए 22 हजार करोड़ रुपए की योजना स्वीकृत किए हैं. देश में पिछले 5 वर्षों में करीब 2 लाख 5000 करोड़ की योजना स्वीकृत की गयी है, जिसका 10 फीसदी बिहार में खर्च किया गया है. इस कारण राज्य में बिजली की व्यवस्था में काफी सुधार हुआ है.

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