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पटना में कालाबाजारी का 'खेला', PMCH का डॉक्टर 45 हजार में बेच रहा 1 रेमडेसिविर!

जाप प्रमुख पप्पू यादव के ट्वीटर हैंडल से एक ऑडियो वायरल हो रहा है. जिसमे रेमडेसिविर दवा की खरीद-बिक्री को लेकर दाम तय किया जा रहा है. पढ़ें पूरी रिपोर्ट

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Published : May 7, 2021, 3:49 PM IST

पटना: एक तरफ कोरोना काल में लोग दवाओं के लिए दर-दर भटक रहे हैं तो वहीं दूसरी तरफ रेमडेसिविर की कालाबाजारी थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. ऐसा ही एक मामला पटना से सामने आया है. दरअसल, जाप प्रमुख पप्पू यादव ने सोशल मीडिया पर एक ऑडियो डाला है, जिसमें रेमडेसिविर दवा की खरीद-बिक्री को लेकर दाम तय किया जा रहा है.

जाप प्रमुख पप्पू यादव ने वायरल ऑडियो के साथ ट्वीट कर लिखा कि '3 रेमडीसीवीर =1 लाख 35 हज़ार रु! सुनिए! पटना PMCH का डॉक्टर 45 हज़ार में एक रेमडीसीवीर बेच रहा है. वह भी तीन एक साथ लेने पर. बिहार सरकार का सारा रेमडेसिविर लगता है, इसी तरह कालाबाजारी में बिक रहा है. सरकार में है कौन वह माफिया जो PMCH के डॉक्टर से कालाबाजारी करवा रहा है?'

  • 3 रेमडीसीवीर =1 लाख 35 हज़ार रु!
    सुनिए! पटना PMCH का डॉक्टर 45 हज़ार में एक रेमडीसीवीर बेच रहा है। वह भी तीन एक साथ लेने पर।

    बिहार सरकार का सारा रेमडीसीवीर लगता है इसी तरह कालाबाजारी में बिक रहा है। सरकार में है कौन वह माफिया जो PMCH के डॉक्टर से कालाबाजारी करवा रहा है? pic.twitter.com/ybZgYdLJm1

    — Pappu Yadav (@pappuyadavjapl) May 7, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

वायरल ऑडियो में 6 वाइल का दाम 2 लाख के आसपास का बताया जा रहा है. ऑडियो में यह भी दावा किया जा रहा है कि मिनटों में इस दवा की कीमत में बढ़ोतरी हो जाती है. वायरल ऑडियो में मरीज के परिजन बिक्रेता से दाम कम करवाने की गुहार लगा रहे हैं. लेकिन कालाबजारी करने वाले का कहना है कि हमारे पास अभी 3 वाइल है और पटना में इसका रेट अभी हाई चल रहा है. जल्द ले लिजिए नहीं तो खत्म हो जाएगा.

ये भी पढ़ें: पटना में रेमडेसिविर की कालाबाजारी, निजी अस्पताल का निदेशक गिरफ्तार

बता दें कि रेमडेसिविर दवा को लेकर चर्चा काफी तेज हो गई है. इस दवा की कमी कई राज्यों में पाई गई है. इस कारण कोरोना मरीजों के इलाज में मुश्किलें आ रही है. भारत में इस दवा को लेकर स्थिति ये है कि जिसे रेमडेसिविर की जरूरत नहीं है वो भी इस दवा के लिए लाइन लगा रहा है. इस दवा के लिए लोग मेडिकल स्टोर का चक्कर काट रहे हैं लेकिन फिर भी लोगों को यह दवा नहीं मिल रही है.

क्या है रेमडेसिविर?
ये एक एंटीवायरल दवा है, जिसे अमेरिका की दवा कंपनी गिलियड साइंसेज ने बनाया है. इसे आज से करीब एक दशक पहले हेपेटाइटिस सी और सांस संबंधी वायरस (RSV) का इलाज करने के लिए बनाया गया था, लेकिन इसे कभी बाजार में उतारने की मंजूरी नहीं मिली. लेकिन कोरोना के इस दौर में रेमडेसिविर इंजेक्शन को जीवन रक्षक दवा के रूप में देखा जा रहा है.

पटना: एक तरफ कोरोना काल में लोग दवाओं के लिए दर-दर भटक रहे हैं तो वहीं दूसरी तरफ रेमडेसिविर की कालाबाजारी थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. ऐसा ही एक मामला पटना से सामने आया है. दरअसल, जाप प्रमुख पप्पू यादव ने सोशल मीडिया पर एक ऑडियो डाला है, जिसमें रेमडेसिविर दवा की खरीद-बिक्री को लेकर दाम तय किया जा रहा है.

जाप प्रमुख पप्पू यादव ने वायरल ऑडियो के साथ ट्वीट कर लिखा कि '3 रेमडीसीवीर =1 लाख 35 हज़ार रु! सुनिए! पटना PMCH का डॉक्टर 45 हज़ार में एक रेमडीसीवीर बेच रहा है. वह भी तीन एक साथ लेने पर. बिहार सरकार का सारा रेमडेसिविर लगता है, इसी तरह कालाबाजारी में बिक रहा है. सरकार में है कौन वह माफिया जो PMCH के डॉक्टर से कालाबाजारी करवा रहा है?'

  • 3 रेमडीसीवीर =1 लाख 35 हज़ार रु!
    सुनिए! पटना PMCH का डॉक्टर 45 हज़ार में एक रेमडीसीवीर बेच रहा है। वह भी तीन एक साथ लेने पर।

    बिहार सरकार का सारा रेमडीसीवीर लगता है इसी तरह कालाबाजारी में बिक रहा है। सरकार में है कौन वह माफिया जो PMCH के डॉक्टर से कालाबाजारी करवा रहा है? pic.twitter.com/ybZgYdLJm1

    — Pappu Yadav (@pappuyadavjapl) May 7, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

वायरल ऑडियो में 6 वाइल का दाम 2 लाख के आसपास का बताया जा रहा है. ऑडियो में यह भी दावा किया जा रहा है कि मिनटों में इस दवा की कीमत में बढ़ोतरी हो जाती है. वायरल ऑडियो में मरीज के परिजन बिक्रेता से दाम कम करवाने की गुहार लगा रहे हैं. लेकिन कालाबजारी करने वाले का कहना है कि हमारे पास अभी 3 वाइल है और पटना में इसका रेट अभी हाई चल रहा है. जल्द ले लिजिए नहीं तो खत्म हो जाएगा.

ये भी पढ़ें: पटना में रेमडेसिविर की कालाबाजारी, निजी अस्पताल का निदेशक गिरफ्तार

बता दें कि रेमडेसिविर दवा को लेकर चर्चा काफी तेज हो गई है. इस दवा की कमी कई राज्यों में पाई गई है. इस कारण कोरोना मरीजों के इलाज में मुश्किलें आ रही है. भारत में इस दवा को लेकर स्थिति ये है कि जिसे रेमडेसिविर की जरूरत नहीं है वो भी इस दवा के लिए लाइन लगा रहा है. इस दवा के लिए लोग मेडिकल स्टोर का चक्कर काट रहे हैं लेकिन फिर भी लोगों को यह दवा नहीं मिल रही है.

क्या है रेमडेसिविर?
ये एक एंटीवायरल दवा है, जिसे अमेरिका की दवा कंपनी गिलियड साइंसेज ने बनाया है. इसे आज से करीब एक दशक पहले हेपेटाइटिस सी और सांस संबंधी वायरस (RSV) का इलाज करने के लिए बनाया गया था, लेकिन इसे कभी बाजार में उतारने की मंजूरी नहीं मिली. लेकिन कोरोना के इस दौर में रेमडेसिविर इंजेक्शन को जीवन रक्षक दवा के रूप में देखा जा रहा है.

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