पटना: पटना में प्रेस कांफ्रेंस के दौरान जेडीयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने सीएम नीतीश कुमार पर आरोपों की झड़ी लगाते हुए नसीहत दे डाली है. उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि हमसे कहा जा रहा है कि 2 फरवरी को जगदेव बाबू की जयंती ना मनाएं. पार्टी की ओर से कहा जा रहा है कि इस कार्यक्रम को मत कीजिए. जगदेव बाबू की जयंती मत मनाएं. कहा जा रहा है कि ये कार्यक्रम पार्टी के बैनर से नहीं हो रहा है, बल्कि सामाजिक संगठन की ओर से किया जा रहा है.
बोले उपेंद्र कुशवाहा- 'जगदेव बाबू की जयंती मनाने से रोका जा रहा है': उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि राष्ट्रीय महात्मा फूले समता परिसर सामाजिक संगठन से हम जुड़े हैं. संगठन ने फैसला लिया है कि 2 फरवरी को जयंती पूरे बिहार में मनाई जाएगी. लेकिन पार्टी को सामाजिक बैनर तले जयंती मनाने पर एतराज है. तो क्या महाराणा प्रताप की जयंती पार्टी के बैनर से हुई थी? पार्टी में कौन व्यक्ति नहीं है जो सामाजिक संगठनों से जुड़ा हुआ नहीं है. मेरे कार्यक्रम पर रोक लगाने की बात की जा रही है.
"जब भी पार्टी कमजोर हुई है उपेंद्र कुशवाहा की जरूरत हुई. 2009 में जब लोकसभा में बुरी तरह से हार हुई थी तो उपेंद्र कुशवाहा की जरूरत हुई. 2020 में भी पार्टी की स्थिति खराब हुई उपेंद्र कुशवाहा की फिर जरूरत पड़ी. नीतीश कुमार दूसरे से हैंडल हो रहे हैं. अपने मन से फैसला नहीं ले रहे हैं. सलाहकार के समझाने पर काम करेंगे तो पार्टी की स्थिति और खराब होगी."- उपेंद्र कुशवाहा, राष्ट्रीय अध्यक्ष, जेडीयू संसदीय बोर्ड
'नीतीश के आग्रह पर आए थे': उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि हमने राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाने की मांग की है. राष्ट्रीय अध्यक्ष राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाएं हम अपनी बात रखेंगे. मीडिया में जाने की शुरुआत मुख्यमंत्री ने ही की थी. जब मैं दिल्ली में था तब उन्होंने मीडिया के लोगों से कहा था कि कहिए उनसे बात करेंगे. नीतीश कुमार कह रहे हैं कि मैं अपने मन से पार्टी में आया हूं जबकि सच्चाई यह है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ही मुझे पार्टी में आने का ऑफर दिया था. केवल मैं ही तीन बार पार्टी में आने वाला नहीं हूं. राष्ट्रीय अध्यक्ष भी पार्टी से जा चुके हैं और फिर आए हैं और भी कई नेता हैं.
सीएम पर नागमणि लगा चुके हैं ये आरोप: प्रदेश के लेनिन' के नाम से मशहूर अमर शहीद जगदेव प्रसाद की 100वीं जयंती 2 फरवरी को है. प्रदेश भर में कार्यक्रम का आयोजन किया जाना है. लेकिन जगदेव बाबू के पुत्र और पूर्व केंद्रीय मंत्री ने सीएम नीतीश पर अनदेखी करने का आरोप लगाया था. उन्होंने कहा था कि जबसे मैंने जदयू छोड़ा है, उसके बाद से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सरकारी कार्यक्रम में जगदेव पथ के पास शरीक नहीं होते हैं. सीएम पर जगदेव प्रसाद की नीतियों का विरोधी होने का आरोप भी लगता रहा है. इन सबके बीच उपेंद्र कुशवाहा के बयान से उस बयान को हवा मिल गई है.