ETV Bharat / state

Sushil Modi ने किसानों की कम आय को लेकर सीएम नीतीश को घेरा, कहा- 'बिहार के किसान देश में 28वें स्थान पर क्यों'?

पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी (Sushil Modi Attacks On Nitish Kumar) ने एक बार फिर से सीएम नीतीश कुमार पर हमला बोलते हुए सवालों की बौछार कर दी है. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार को श्वेत पत्र जारी कर बताना चाहिए कि तीन कृषि रोडमैप लागू होने के बाद भी बिहार के किसान आय के मामले में 28 वें स्थान पर क्यों हैं?

सुशील मोदी ने सीएम नीतीश से किसानों की आय को लेकर पूछा सवाल
सुशील मोदी ने सीएम नीतीश से किसानों की आय को लेकर पूछा सवाल
author img

By ETV Bharat Bihar Team

Published : Oct 19, 2023, 8:57 AM IST

पटना: पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने एक बार फिर से सीएम नीतीश पर निशाना साधा है. इस बार उन्होंने किसानों की कम आय को लेकर सवाल खड़ा किया और कहा कि तीन कृषि रोड मैप लागू होने के बाद भी किसानों की आय 28 वें स्थान पर क्यों है ? इतना ही नहीं उन्होंने कृषि रोडमैप की विफलता पर सीएम नीतीश से स्वेत पत्र जारी कर इसका जवाब देने को भी कहा है.

ये भी पढ़ें: Sushil Modi on caste census : बिहार की जातियों को इन आंकड़ों पर भरोसा नहीं, वह ठगी महसूस कर रहीं : सुशील मोदी

सीएम नीतीश पर सवालों बौछार: सुशील मोदी ने सीएम नीतीश पर सवालों की बौछार करते हुए पूछा कि तीसरे कृषि रोडमैप में जैविक कोरीडोर का निर्माण, हर खेत तक बिजली पहुंचाने, बंद नलकूप चालू कराने और अलग कृषि फीडर लगा कर 8 लाख नए सिंचाई कनेक्शन देने जैसे लक्ष्य क्यों नहीं पूरे हुए ? तीन कृषि रोड मैप पर लगभग 3 लाख करोड़ खर्च करने के बाद भी खाद्यान्न उत्पादन दोगुना करने जैसे कई लक्ष्य पूरे क्यों नहीं हुए ? बिहार के किसान देश में आय के मामले में 28 वें स्थान पर क्यों हैं ?

"तीन कृषि रोड मैप पर लगभग 3 लाख करोड़ खर्च करने के बाद भी खाद्यान्न उत्पादन दोगुना करने जैसे कई लक्ष्य पूरे क्यों नहीं हुए ? हर भारतीय की थाली में एक बिहारी व्यंजन पहुंचाने का जो सपना बिहार सरकार ने दिखाया था, उसका क्या हुआ ? पंजाब के किसानों की औसत आय 26,700 रुपए है, जबकि बिहार के किसानों की औसत प्रति व्यक्ति आय मात्र 7,542 रुपए है. आय के मामले में बिहार के किसान देश में 28 वें स्थान पर क्यों हैं ?" - सुशील मोदी, राज्यसभा सांसद, बीजेपी

चौथे कृषि रोडमैप पर खर्च औचित्य नहीं: सुशील मोदी ने कहा कि तीसरे कृषि रोडमैप पर पांच साल में 1.54 लाख करोड़ खर्च करने का लक्ष्य था लेकिन सरकार एक लाख करोड़ भी खर्च नहीं कर पायी, तो फिर चौथे कृषि रोडमैप पर 1.62 लाख करोड़ खर्च करने के लक्ष्य का कोई औचित्य नहीं था.

किसानों को हो रहा नुकसान: वहीं उन्होंने नीतीश सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि तीन कृषि रोडमैप लागू करने में इनकी विफलता के कारण सभी पैक्सों का कम्प्यूटरीकरण नहीं हुआ. किसानों को 1600-1700 रुपए प्रति क्विंटल के दाम पर धान बेचना पड़ रहा है और अधिकतर चावल मिल बंद हो गईं. कहा कि महागठबंधन सरकार निहित स्वार्थों के इतने दबाव में है कि वह किसी योजना या रोडमैप को ईमानदारी से लागू करने की क्षमता खो चुकी है.

पटना: पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने एक बार फिर से सीएम नीतीश पर निशाना साधा है. इस बार उन्होंने किसानों की कम आय को लेकर सवाल खड़ा किया और कहा कि तीन कृषि रोड मैप लागू होने के बाद भी किसानों की आय 28 वें स्थान पर क्यों है ? इतना ही नहीं उन्होंने कृषि रोडमैप की विफलता पर सीएम नीतीश से स्वेत पत्र जारी कर इसका जवाब देने को भी कहा है.

ये भी पढ़ें: Sushil Modi on caste census : बिहार की जातियों को इन आंकड़ों पर भरोसा नहीं, वह ठगी महसूस कर रहीं : सुशील मोदी

सीएम नीतीश पर सवालों बौछार: सुशील मोदी ने सीएम नीतीश पर सवालों की बौछार करते हुए पूछा कि तीसरे कृषि रोडमैप में जैविक कोरीडोर का निर्माण, हर खेत तक बिजली पहुंचाने, बंद नलकूप चालू कराने और अलग कृषि फीडर लगा कर 8 लाख नए सिंचाई कनेक्शन देने जैसे लक्ष्य क्यों नहीं पूरे हुए ? तीन कृषि रोड मैप पर लगभग 3 लाख करोड़ खर्च करने के बाद भी खाद्यान्न उत्पादन दोगुना करने जैसे कई लक्ष्य पूरे क्यों नहीं हुए ? बिहार के किसान देश में आय के मामले में 28 वें स्थान पर क्यों हैं ?

"तीन कृषि रोड मैप पर लगभग 3 लाख करोड़ खर्च करने के बाद भी खाद्यान्न उत्पादन दोगुना करने जैसे कई लक्ष्य पूरे क्यों नहीं हुए ? हर भारतीय की थाली में एक बिहारी व्यंजन पहुंचाने का जो सपना बिहार सरकार ने दिखाया था, उसका क्या हुआ ? पंजाब के किसानों की औसत आय 26,700 रुपए है, जबकि बिहार के किसानों की औसत प्रति व्यक्ति आय मात्र 7,542 रुपए है. आय के मामले में बिहार के किसान देश में 28 वें स्थान पर क्यों हैं ?" - सुशील मोदी, राज्यसभा सांसद, बीजेपी

चौथे कृषि रोडमैप पर खर्च औचित्य नहीं: सुशील मोदी ने कहा कि तीसरे कृषि रोडमैप पर पांच साल में 1.54 लाख करोड़ खर्च करने का लक्ष्य था लेकिन सरकार एक लाख करोड़ भी खर्च नहीं कर पायी, तो फिर चौथे कृषि रोडमैप पर 1.62 लाख करोड़ खर्च करने के लक्ष्य का कोई औचित्य नहीं था.

किसानों को हो रहा नुकसान: वहीं उन्होंने नीतीश सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि तीन कृषि रोडमैप लागू करने में इनकी विफलता के कारण सभी पैक्सों का कम्प्यूटरीकरण नहीं हुआ. किसानों को 1600-1700 रुपए प्रति क्विंटल के दाम पर धान बेचना पड़ रहा है और अधिकतर चावल मिल बंद हो गईं. कहा कि महागठबंधन सरकार निहित स्वार्थों के इतने दबाव में है कि वह किसी योजना या रोडमैप को ईमानदारी से लागू करने की क्षमता खो चुकी है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.