पटना: बीजेपी विधायक राजू सिंह पर अधिकारी से मारपीट के आरोप लगे हैं. इसको लेकर प्राथमिकी भी दर्ज हुई है. अब इस पर सियासत तेज हो गई है. राजद के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा है कि मामले का जांच हो रही है. एससी अधिकारी ने प्राथमिकी दर्ज करवाई है. लेकिन जो कुछ बीजेपी के विधायक ने किया है ये कहीं से भी उचित नहीं है.
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बोले RJD नेता- 'BJP का चाल, चरित्र, चेहरा उजागर': मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि क्या मामला था क्या नहीं, ये तो जल्द जांच के बाद पता चलेगा लेकिन जो बात सामने आई है उससे बीजेपी का चाल चरित्र चेहरा उजागर हो गया है. बिहार में कानून का राज है और जो भी इस तरह की घटना को अंजाम देंगे वो बचने वाले नहीं है. चाहे वो कितने भी रसूखदार लोग क्यों न हों. बीजेपी के लोग कहते है कि उनकी विचारधारा में दलितों को सम्मान दिया जाता है. आप ही बताइए कि जिस अधिकारी से मारपीट की बात सामने आई है वो दलित समाज से आते हैं. उस समय उनकी विचारधारा कहा गयी थी, जब वो उनकी पिटाई कर रहे थे.
"बीजेपी सिर्फ दिखावे के लिए ये सब बात बोलती है लेकिन इसका असली चेहरा सामने आ जाता है. इस मामले ने बीजेपी के चाल, चरित्र और चेहरा को सामने ला दिया है. यूपी में आपने देखा किस तरह प्रायोजित तरीके से कानून को हाथ में लेकर काम किया गया है. जब अपनी बात सामने आती है तो इसके नेता विचारधारा की बात करते हैं. आप देखिए आज इनकी विचारधारा का क्या हुआ. बीजेपी विधायक अधिकारी से मारपीट करते हैं, उन्हे जान से मारने को धमकी देते हैं. वहीं बीजेपी के बड़े नेता इस मामले पर चुप्पी भी साध लेते हैं."- मृत्युंजय तिवारी, राजद नेता
क्या है पूरा मामला?: दरअसल मुजफ्फरपुर के साहेबगंज विधानसभा क्षेत्र से बीजेपी एमएलए राजू कुमार सिंह पर पारू प्रखंड के अंचलाधिकारी और राजस्व कर्मचारी से मारपीट करने और जाति सूचक शब्दों का इस्तेमाल करने का आरोप है. मामले में 15 अप्रैल को एससी-एसटी एक्ट के तहत केस दर्ज हुआ है.