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पटना में धू-धूकर जला रावण, भगवान राम ने कोरोना का भी किया खात्मा

बिहार के पटना के कालिदास रंगालय में सांकेतिक तौर पर रावण का पुतला दहन किया गया. इस दौरान भगवान राम ने रावण के साथ ही कोरोना का भी वध किया. पढ़ें पूरी खबर..

ravana dahan in patna
ravana dahan in patna
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Published : Oct 15, 2021, 5:24 PM IST

Updated : Oct 15, 2021, 5:47 PM IST

पटना: विजयादशमी (Vijaya Dashami 2021) के मौके पर पटना के कालिदास रंगालय (Kalidas Rangalaya) में सांकेतिक तौर पर रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतले जलाए गए. इस दौरान रामलीला से जुड़े कलाकार यहां राम, लक्ष्मण, सीता और हनुमान का रूप लिए पहुंचे और रावण वध का मंचन किया गया. राम ने रावण के पुतले का दहन किया जिसके बाद जय श्री राम के नारे गूंजने लगे.

यह भी पढ़ें- बिहार के इस गांव में होती है दशानन की पूजा, ग्रामीण बोले- 'रावण पूरी करते हैं हमारी मनोकामना'

रावण वध कार्यक्रम में बिहार के शिक्षा मंत्री विजय चौधरी के साथ साथ कार्यक्रम के आयोजक एवं उनके परिवार वाले भी उपस्थित हुए. कोरोना के कारण आम लोगों के कार्यक्रम में शामिल होने पर मनाही थी. पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान में 1955 से रावण वध कार्यक्रम का आयोजन हो रहा है. लेकिन कोरोना संक्रमण के कारण पिछले 2 साल से यहां कार्यक्रम का आयोजन नहीं किया जा रहा है. संक्रमण को देखते हुए इस वर्ष सांकेतिक तौर पर रावण दहन का कार्यक्रम पटना के कालिदास रंगालय में मनाया गया.

देखिए रावण दहन की तस्वीरें

यह भी पढ़ें- RJD ने NDA सरकार को बताया 'दशानन रावण', किया आह्वान- '..आइए इसे उखाड़ फेंकते हैं'

कार्यक्रम के दौरान सबसे पहले भगवान श्री राम पटना के कालिदास रंगालय से लंका की ओर कूच किए. सांकेतिक तौर पर पटना के गांधी मैदान के चारों ओर चक्कर लगाने के बाद भगवान श्री राम, माता सीता को लेने और रावण का वध करने लंका पहुंचे थे. राम लक्ष्मण के साथ हनुमान तीरथ पर सवार होकर लंका की ओर निकल पड़े. भगवान श्री राम के साथ-साथ वानरों की सेना भी इस दौरान मौजूद रही.

गौरतलब है कि लंका पहुंचने के बाद भगवान श्री रामचंद्र का युद्ध रावण के साथ हुआ था और इसी कड़ी में सांकेतिक तौर पर पटना के कालिदास रंगालय में रावण वध कार्यक्रम का आयोजन किया गया. कार्यक्रम को लेकर सुरक्षा के मुक्कमल इंतजाम किए गए थे.

पटना: विजयादशमी (Vijaya Dashami 2021) के मौके पर पटना के कालिदास रंगालय (Kalidas Rangalaya) में सांकेतिक तौर पर रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतले जलाए गए. इस दौरान रामलीला से जुड़े कलाकार यहां राम, लक्ष्मण, सीता और हनुमान का रूप लिए पहुंचे और रावण वध का मंचन किया गया. राम ने रावण के पुतले का दहन किया जिसके बाद जय श्री राम के नारे गूंजने लगे.

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रावण वध कार्यक्रम में बिहार के शिक्षा मंत्री विजय चौधरी के साथ साथ कार्यक्रम के आयोजक एवं उनके परिवार वाले भी उपस्थित हुए. कोरोना के कारण आम लोगों के कार्यक्रम में शामिल होने पर मनाही थी. पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान में 1955 से रावण वध कार्यक्रम का आयोजन हो रहा है. लेकिन कोरोना संक्रमण के कारण पिछले 2 साल से यहां कार्यक्रम का आयोजन नहीं किया जा रहा है. संक्रमण को देखते हुए इस वर्ष सांकेतिक तौर पर रावण दहन का कार्यक्रम पटना के कालिदास रंगालय में मनाया गया.

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कार्यक्रम के दौरान सबसे पहले भगवान श्री राम पटना के कालिदास रंगालय से लंका की ओर कूच किए. सांकेतिक तौर पर पटना के गांधी मैदान के चारों ओर चक्कर लगाने के बाद भगवान श्री राम, माता सीता को लेने और रावण का वध करने लंका पहुंचे थे. राम लक्ष्मण के साथ हनुमान तीरथ पर सवार होकर लंका की ओर निकल पड़े. भगवान श्री राम के साथ-साथ वानरों की सेना भी इस दौरान मौजूद रही.

गौरतलब है कि लंका पहुंचने के बाद भगवान श्री रामचंद्र का युद्ध रावण के साथ हुआ था और इसी कड़ी में सांकेतिक तौर पर पटना के कालिदास रंगालय में रावण वध कार्यक्रम का आयोजन किया गया. कार्यक्रम को लेकर सुरक्षा के मुक्कमल इंतजाम किए गए थे.

Last Updated : Oct 15, 2021, 5:47 PM IST
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