पटना: 50 हजार रुपए के इनामी और कुख्यात अपराधी रवि गोप को गिरफ्तारी के चार दिन बाद ही आसानी से बेल मिल गई. बेल मिलते ही रवि नेपाल भाग गया. दूसरी ओर मामला प्रकाश में आने के बाद पुलिस महकमे में हलचल तेज हुई है. जोनल आईजी ने इस मामले में पटना पुलिस से रिपोर्ट मांगा है. एसटीएफ ने 7 दिसंबर को रवि को पटना पुलिस के हवाले किया था. पटना पुलिस उसे 50 घंटे भी जेल में न रख सकी.
विवाह से पहले हो गया था गिरफ्तार
कुख्यात रवि गोप को एसटीएफ के विशेष दस्ते ने 6 दिसंबर को गिरफ्तार किया था. रवि अथमलगोला थाना के पास स्थित राकेश मंडप, मैरेज हॉल में विवाह करने आया था. वह विवाह कर पाता इससे पहले ही गुप्त सूचना पर पहुंची एसटीएफ की टीम ने उसे गिरफ्तार कर लिया. उसपर हत्या और लूट के कई मामले दर्ज हैं. एसटीएफ ने 7 दिसंबर को रवि गोप को पटना पुलिस के हवाले कर दिया था.
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कंपरमाइज पिटीशन वाले केस में पुलिस ने कोर्ट में किया था पेश
दीघा थाना की पुलिस ने रवि को दानापुर थाना के एक मामले में कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे जेल भेज दिया गया. रवि को उस केस में जेल भेजा गया, जिसमें पहले ही कंपरमाइज पिटीशन डाला हुआ था. जेल जाने के बाद रवि ने जमानत याचिका लगाई और उसे कोर्ट से बेल मिल गई.
रवि को इतनी आसानी से बेल कैसे मिली इस बारे में जानकार बताते हैं कि इसमें पुलिसकर्मियों की भूमिका संदेह के घेरे में है. रवि गोप को फायदा पहुंचाने के लिए उसे जानबूझकर दीघा थाना ने सिर्फ उसी केस में कोर्ट भेजा, जिसमें कंपरमाइज पिटीशन पेंडिंग था. मीडिया में खबर आने के बाद अधिकारियों को जानकारी मिली.