पटना: बिहार की राजधानी पटना (Patna) से देश की राजधानी जाना बुधवार से और भी आसान हो जाएगा. बता दें कि ट्रेन तेजस एक्सप्रेस (Tejas Express) को 1 सितंबर से पटना से नई दिल्ली (Patna to New Delhi) के बीच शुरू किया जा रहा है. इस ट्रेन को पटना नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस के टाइम पर ही चलाया जाएगा.
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इस तेजस ट्रेन की रफ्तार 160 किलोमीटर प्रति घंटा है, लेकिन पूर्व मध्य रेल के ट्रैक की स्थिति को देखते हुए इसे अभी 130 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से ही चलाया जाएगा. जब 160 की स्पीड के लिए ट्रैक को मरम्मत कर लिया जाएगा और इसे चालू कर दिया जाएगा, तब यात्री दिल्ली और पटना की दूरी महज 7 से 8 घंटे में तय कर पाएंगे.
बुधवार से तेजस एक्सप्रेस पटना के राजेंद्र नगर टर्मिनल से शाम के समय करीब 7:10 बजे दिल्ली के लिए रवाना होगी. तेजस ऑटोमेटिक रेक इंडोर प्रणाली से युक्त है. इसके तहत सभी प्रवेश द्वार केंद्रीकृत रूप से नियंत्रित होंगे और सभी प्रवेश द्वार के बंद होने तक ट्रेन नहीं चलेगी. यात्री सुरक्षा और संरक्षक के दृष्टिकोण से सीसीटीवी कैमरा इस तेजस ट्रेन में लगाया गया है.
तेजस में क्या-क्या खास है:-
- तेजस एक्सप्रेस की बोगियों के दरवाजे मेट्रो ट्रेन की तरह स्वचालित होंगी. जब तक कोच के सभी दरवाजे बिना किसी रुकावट के बंद नहीं हो जाएंगे, तब तक ट्रेन नहीं चलेगी.
- ट्रेन की बोगियों के अंदर डिस्प्ले बोर्ड लगे हैं, जिस पर आने वाले स्टेशन की जानकारी दिखती रहेगी.
- ऑडियो के लिए साउंड सिस्टम भी लगा हुआ है, जिससे लोग सुन सकेंगे कि आने वाला स्टेशन कौन सा है.
- ट्रेन के अंदर फायर सेफ्टी के लिए फायर स्टिंग्यूशर लगाया गया है.
- हर बोगी में अलार्म भी लगाया गया है, जिससे कि रेल यात्री बोगी में सिगरेट नहीं पी सकते हैं.
- तेजस में बैठने वाले यात्री मुफ्त में वाईफाई सेवा का लाभ उठा सकते हैं.
- कोच में चाय और कॉफी की वेंडिंग मशीन भी लगी है. हालांकि कोरोना काल के चलते अभी यह बंद रहेंगे.
- तेजस एक्सप्रेस के कोच के अंदर साइड में केवल 1 सीट दी गई है ताकि ट्रेन में ज्यादा भीड़ भाड़ भी ना दिखे.
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प्रत्येक कोच में दो डिस्प्ले बोर्ड लगाए गए हैं. जो शेष दूरी, आगमन, प्रस्थान, विलंब और सुरक्षा संबंधित संदेश डिस्प्ले बोर्ड पर यात्रियों को मिलते रहेंगे. सभी कोच में ऑटोमेटिक फायर अलार्म और डिटेक्शन सिस्टम भी लगाया गए हैं. बुधवार से यात्री तेजस ट्रेन की सवारी कर सकते हैं.
''पूर्व मध्य रेल के क्षेत्राधिकार में पड़ने वाले छोटे बड़े पुल पुलिया, आधुनिक सिग्नल सिस्टम और रेलवे ट्रैक का गहन निरीक्षण करने के साथ ही ट्रैकों पर महत्वपूर्ण सुधार के साथ ट्रेन को 160 की गति से चलाने के लायक रेलवे ट्रैक को फिट किया जा रहा है. धनबाद से पंडित दीनदयाल उपाध्याय मंडल में ग्रेडकार्ड रेलखंड पर ट्रेनों का परिचालन पहले से ही 130 की स्पीड से किया जा रहा है.''- राजेश कुमार, मुख्य जनसंपर्क अधिकारी, पूर्व मध्य रेल
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अब रेलखंड के पटरी को दुरुस्त किया जा रहा है, ताकि ट्रेनों को 160 की स्पीड से चलाया जा सके. पुराने पुलों के गर्डर को भी बदल कर नया कर दिया जाएगा. रेलवे ट्रैक को बदलकर नया किया जाएगा. सभी सिग्नल सिस्टम को आधुनिक बना दिया जाएगा. खासकर सारे पैनल को बदलकर रूट रिले इंटरलॉकिंग सिस्टम से लैस किया जा रहा है. बहुत सारे ट्रैकों पर इंटरलॉकिंग सिस्टम का काम पूरा भी हो गया है. इन तमाम बिंदुओं पर जब काम पूरा हो जाएगा तो बिहार के विभिन्न रूटों से 160 की गति से चलने वाली तेजस या वंदे भारत जैसी ट्रेनों का भी परिचालन किया जाएगा.
राजेश कुमार ने बताया कि मार्च 2024 तक रेल की पटरी के साथ-साथ तमाम बिंदुओं पर जब कार्य पूरा हो जाएगा, तो यात्रियों को गंतव्य स्थान जाने में समय की बचत होगी. साथ ही रेलवे को भी काफी फायदा होगा, जिससे नई ट्रेनों का परिचालन किया जाएगा. बता दें कि पूर्व मध्य रेल के जीएम के द्वारा कार्य की प्रगति का लगातार जायजा लिया जा रहा है. आने वाले कुछ साल में पूर्व मध्य रेल में काफी कुछ बदलाव किया जाएगा, जिससे यात्रियों को भी काफी लाभ मिलेगा.