पटना : बिहार सरकार ने बड़े पैमाने पर अधिकारियों का उलटफेर किया है. हालांकि सबसे ज्यादा चर्चा प्रत्यय अमृत को लेकर हो रही है. सुल्तानगंज अगुवानी घाट पुल को लेकर प्रत्यय अमृत पर सवाल उठ रहे हैं. इसी बीच नीतीश कुमार ने अपने 'दुलरूआ' अधिकारी पर एक बार फिर से भरोसा जताया है. प्रत्यय अमृत को आपदा प्रबंधन विभाग की अतिरिक्त जिम्मेदारी दी गई है. पहले से ही पथ निर्माण विभाग और स्वास्थ्य विभाग की जिम्मेवारी प्रत्यय अमृत के पास है.
ये भी पढ़ें - Bihar Transfer Posting: बिहार में सीनियर IAS अधिकारियों का तबादला, प्रत्यय अमृत को मिला अतिरिक्त प्रभार
केके पाठक को मिला शिक्षा विभाग : इसके अलावा, आरजेडी कोटे के बड़बोले मंत्रियों के विभाग में कड़क अधिकारियों को जिम्मेवारी दी गई है. उसमें सबसे चर्चित नाम केके पाठक की है. अभी तक मद्य निषेध उत्पाद एवं निबंधन विभाग में अपर मुख्य सचिव की भूमिका निभा रहे थे. अब शिक्षा विभाग में अपर मुख्य सचिव बनाए गए हैं.
जब से सरकार बनी है तबसे शिक्षा विभाग के मंत्री चंद्रशेखर अपने बयानों को लेकर चर्चा में है. नीतीश कुमार के लिए भी चुनौती बनते रहे हैं. जदयू खेमे में चंद्रशेखर के बयान को लेकर काफी नाराजगी भी रही है. इसके साथ शिक्षा विभाग में 170000 से अधिक नियुक्ति होने वाला है, ऐसे में केके पाठक के पास बड़ी भूमिका निभाने की जिम्मेवारी आ गई है.
वंदना प्रेयसी के जिम्मे वन पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन : लालू यादव के बड़े सुपुत्र और अपने बयानों के कारण चर्चा में रहने वाले तेज प्रताप यादव वन पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के मंत्री हैं. इस विभाग में अब वंदना प्रेयसी को जिम्मेवारी दी गई है. वंदना प्रेयसी भी कड़क अधिकारियों में जानी जाती हैं.
इसके अलावा कला संस्कृति विभाग, खान भूतत्व विभाग और सहकारिता विभाग में भी अधिकारी बदले गए हैं लेकिन सबसे अधिक चर्चा शिक्षा विभाग वन पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग विभागों को लेकर हो रही है. इसके साथ जदयू कोटे के महत्वपूर्ण विभागों में मुख्यमंत्री का गृह विभाग के अलावे वित्त विभाग जल संसाधन विभाग लघु जल संसाधन विभाग जैसे विभागों में भी अधिकारियों के तबादले हुए हैं.