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रामलला को सोने का तीर-धनुष भेंट करेगा पटना का महावीर मंदिर, 10 करोड़ की सहायता राशि भी दी

9 नवंबर 2019 को श्रीराम जन्म भूमि के पक्ष में सर्वोच्च न्यायालय का फैसला आते ही महावीर मन्दिर की ओर से राम मन्दिर निर्माण में 10 करोड़ रुपये की सहयोग राशि देने की घोषणा की थी. इसमें 8 करोड़ दे दी गई है. इस राशि में से 2 करोड़ रुपये की अंतिम किश्त 19 जनवरी को श्रीराम जन्म भूमि मन्दिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेन्द्र मिश्र को सौंप दी जाएगी. पढ़ें पूरी खबर..

आचार्य किशोर कुणाल
आचार्य किशोर कुणाल
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Jan 16, 2024, 4:04 PM IST

Updated : Jan 16, 2024, 4:17 PM IST

पटना : महावीर मन्दिर न्यास के सचिव आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि 2020 में जिस दिन श्रीराम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट का खाता खुला था. उसी दिन महावीर मन्दिर की ओर से दो करोड़ रुपये की पहली किश्त दी गयी. वर्ष 2021, 2022 और 2023 में लगातार इतनी राशि दी जाती रही. अब अंतिम किश्त के रूप में 2 करोड़ रुपये की सहयोग राशि दी जा रही है.

"किसी एक संस्था के द्वारा अयोध्या में रामलला के मन्दिर निर्माण में सहयोग के तौर पर 10 करोड़ रुपये देनेवाला महावीर मन्दिर देश का पहला संस्थान है. अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि के निकट जिस अमावा राम मन्दिर परिसर में महावीर मन्दिर की ओर से राम रसोई चलायी जा रही है, उसके द्वारा रामलला को सोने का तीर-धनुष भेंट किया जाएगा."- आचार्य किशोर कुणाल, सचिव, महावीर मंदिर न्यास समिति

पटना का प्रसिद्ध हनुमान मंदिर
पटना का प्रसिद्ध हनुमान मंदिर

ढाई किलो सोने का दिया जाएगा धनुष बाण : अमावा राम मन्दिर न्यास के सचिव के तौर पर आचार्य किशोर कुणाल स्वर्ण जड़ित तीर-धनुष श्रीराम जन्म भूमि मन्दिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेन्द्र मिश्र को सौंपेंगे. आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम का धनुष जिसे कोदंड के नाम से जाना जाता है, 19 जनवरी को भेंट किया जाएगा.2.5 किलो वजन का यह तीर-धनुष तांबे के बेस पर स्वर्ण जड़ित है. चेन्नई की एक कंपनी ने विशेष रूप से इसे तैयार किया है. आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि अमावा राम मन्दिर के शिखर के लिए स्वर्ण जड़ित कलश बनवाया गया है.

20 जनवरी से दोनों पहर चलेगी राम रसोई : स्वर्ण कलश लिए भारत सरकार के उपक्रम एमएमटीसी से सोना खरीदा गया था. उसमें से कलश निर्माण के बाद शेष बचे सोने से स्वर्ण जड़ित कोदंड तैयार किया गया है. राम मंदिर में राम लला के प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को होनी है. ऐसे में 20 जनवरी से राम-रसोई दोनों पहर चलाई जाएगी. अमावा राम मन्दिर परिसर में 1 दिसंबर 2019 को विवाह पंचमी के दिन से राम रसोई चलाया जा रहा है. रामलला के दर्शनार्थियों के लिए यह राम रसोई पटना के महावीर मन्दिर द्वारा संचालित किया.

ये भी पढ़ें : अयोध्या में था रामायण विश्वविद्यालय खोलने का प्रस्ताव, फिर वैशाली को क्यों चुना गया? जानें पूरा मामला

पटना : महावीर मन्दिर न्यास के सचिव आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि 2020 में जिस दिन श्रीराम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट का खाता खुला था. उसी दिन महावीर मन्दिर की ओर से दो करोड़ रुपये की पहली किश्त दी गयी. वर्ष 2021, 2022 और 2023 में लगातार इतनी राशि दी जाती रही. अब अंतिम किश्त के रूप में 2 करोड़ रुपये की सहयोग राशि दी जा रही है.

"किसी एक संस्था के द्वारा अयोध्या में रामलला के मन्दिर निर्माण में सहयोग के तौर पर 10 करोड़ रुपये देनेवाला महावीर मन्दिर देश का पहला संस्थान है. अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि के निकट जिस अमावा राम मन्दिर परिसर में महावीर मन्दिर की ओर से राम रसोई चलायी जा रही है, उसके द्वारा रामलला को सोने का तीर-धनुष भेंट किया जाएगा."- आचार्य किशोर कुणाल, सचिव, महावीर मंदिर न्यास समिति

पटना का प्रसिद्ध हनुमान मंदिर
पटना का प्रसिद्ध हनुमान मंदिर

ढाई किलो सोने का दिया जाएगा धनुष बाण : अमावा राम मन्दिर न्यास के सचिव के तौर पर आचार्य किशोर कुणाल स्वर्ण जड़ित तीर-धनुष श्रीराम जन्म भूमि मन्दिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेन्द्र मिश्र को सौंपेंगे. आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम का धनुष जिसे कोदंड के नाम से जाना जाता है, 19 जनवरी को भेंट किया जाएगा.2.5 किलो वजन का यह तीर-धनुष तांबे के बेस पर स्वर्ण जड़ित है. चेन्नई की एक कंपनी ने विशेष रूप से इसे तैयार किया है. आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि अमावा राम मन्दिर के शिखर के लिए स्वर्ण जड़ित कलश बनवाया गया है.

20 जनवरी से दोनों पहर चलेगी राम रसोई : स्वर्ण कलश लिए भारत सरकार के उपक्रम एमएमटीसी से सोना खरीदा गया था. उसमें से कलश निर्माण के बाद शेष बचे सोने से स्वर्ण जड़ित कोदंड तैयार किया गया है. राम मंदिर में राम लला के प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को होनी है. ऐसे में 20 जनवरी से राम-रसोई दोनों पहर चलाई जाएगी. अमावा राम मन्दिर परिसर में 1 दिसंबर 2019 को विवाह पंचमी के दिन से राम रसोई चलाया जा रहा है. रामलला के दर्शनार्थियों के लिए यह राम रसोई पटना के महावीर मन्दिर द्वारा संचालित किया.

ये भी पढ़ें : अयोध्या में था रामायण विश्वविद्यालय खोलने का प्रस्ताव, फिर वैशाली को क्यों चुना गया? जानें पूरा मामला

Last Updated : Jan 16, 2024, 4:17 PM IST
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