पटना: चारा घोटाला में सजायाफ्ता बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव की अविलम्ब रिहाई हो. यह मांग बिहार प्रदेश कांग्रेस कमिटी के कार्यकारी अध्यक्ष कौकब कादरी ने की है. बयान जारी करते हुए कौकब कादरी ने मांग किया कि कोरोना के खतरों के मद्देनजर बीते 17 मार्च को माननीय सुप्रीम कोर्ट ने जेल में बंद कैदियों में संक्रमण संबंधी चिंता व्यक्त करते हुए देश भर के जेलों से रिहा करने की बात कही थी.
'अन्य बिमारियों की वजह से ज्यादा खतरा'
कौकब कादरी ने कहा कि गंभीर आपराधिक मामलों के कैदी भी कोरोना के खतरे को देखते हुए विभिन्न राज्य की जेलों से रिहा किये जा रहे हैं, तो ऐसे में लालु प्रसाद को जेल में रखना किसी भी तरह से वाजिब नहीं होगा. बड़े जननेताओं में शुमार लालू यादव के गिरते स्वास्थ्य, हाई ब्लड प्रेशर और डायबिटिक नेफ्रोपैथी जैसी गंभीर बीमारी को देखते हुए कोरोना से उनके संक्रमण होने के साथ साथ जीवन को भी ज्यादा खतरा है.
'उन्हें परिवार में भेजना अति आवश्यक'
जेल में पुलिस कर्मी, स्वास्थ्य कर्मी व खाने की व्यवस्था करने वाले कर्मियों से भी उनके स्वास्थ्य को संक्रमण का खतरा रहेगा. लालू यादव पर हत्या या बलात्कार जैसे गम्भीर मामले भी नहीं हैं इसलिये भी उन्हें मानवता के नाते उनके परिवार के पास जरूर भेजना चाहिये. जमानत, पैरोल, फर्लो या अन्य, जो भी तरीका मानवीय मूल्यों के आधार पर उचित हो उन्हीं आधारों पर उन्हें रिहा अवश्य कर विशेष गाड़ी से उनके परिवार में उन्हें भेजना अति आवश्यक है.