पटना: पटना हाईकोर्ट में राज्य के सरकारी और निजी लॉ कालेजों के स्थिति के संबंध दायर जनहित याचिका पर 2 मार्च 2023 को सुनवाई होगी. एसीजे जस्टिस सीएस सिंह की खंडपीठ कुणाल (ACJ Justice CS Singh Bench Kunal Kaushal) कौशल की जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही है.
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निजी लॉ कालेजों की स्थिति बहुत दयनीय है: कोर्ट को अधिवक्ता दीनू कुमार ने बताया कि राज्य के सरकारी और निजी लॉ कालेजों की स्थिति बहुत दयनीय है. वहां बुनियादी सुविधाओं का काफी अभाव है. बीसीआई के निर्देश और जारी किए गए गाइड लाइन के बाद भी बहुत सुधार नहीं हुआ है. इससे पूर्व कोर्ट ने बीसीआई के अनुमति,अनापत्ति प्रमाण मिलने के बाद ही सत्र 2021- 22 के लिए राज्य के 17 लॉ कालेजों को अपने यहां दाखिला लेने के लिए अनुमति दी थी.
कोर्ट ने 27 सरकारी व निजी लॉ कॉलेजों में नए दाखिले पर रोक लगाई थी: पूर्व में हाईकोर्ट ने इस मामले में सुनवाई करते हुए बिहार के सभी 27 सरकारी और प्राइवेट लॉ कॉलेजों में नये नामांकन नहीं होंगे. फिर कुछ परिवर्तन करते हुए 17 कालेज में नामांकन का आदेश दिया था. उस समय हाईकोर्ट ने स्पष्ट किया था कि दाखिला सिर्फ 2021-22 सत्र के लिए ही होगा. कोर्ट ने स्पष्ट किया था कि अगले साल के सत्र के लिए बीसीआई से फिर मंजूरी लेनी होगी.
कोर्ट में अपने अपने पक्षों को प्रस्तुत किया था: कोर्ट ने इन कालेजों का निरीक्षण कर बार काउंसिल ऑफ इंडिया को तीन सप्ताह में रिपोर्ट देने का आदेश देते हुए कहा था कि जिन लॉ कालेजों को पढ़ाई जारी करने की अनुमति दी गई है. उन कॉलेजों का मुआयना किया जाएगा कि वहां तमाम सुविधाएं हैं कि नहीं. याचिकाकर्ता अधिवक्ता दीनू कुमार एवं रितिका रानी, बीसीआई की ओर से अधिवक्ता विश्वजीत कुमार मिश्रा ने कोर्ट में अपने अपने पक्षों को प्रस्तुत किया. इस मामलें पर अगली सुनवाई 2 मार्च को फिर की जाएगी.