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देवेंद्र यादव की घर वापसी, अपनी पार्टी 'समाजवादी जनता दल डेमोक्रेटिक' का किया RJD में विलय - नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव

वीपी सिंह और एचडी देवगौड़ा की सरकार में मंत्री रह चुके पूर्व केंद्रीय मंत्री देवेंद्र यादव (Former Union Minister Devendra Yadav) ने अपनी पार्टी समाजवादी जनता दल डेमोक्रेटिक का आरजेडी में विलय (Samajwadi Janata Dal Democratic Merged With RJD) कर दिया है. उन्होंने कहा कि तेजस्वी यादव तमाम झंझावातों को झेलते हुए जिस मुहिम को आगे बढ़ा रहे हैं और जात से जमात की ओर चलने का जो संकल्प है, उसे मजबूत बनाना है. आरजेडी को एटूजेड की पार्टी बनाना चाहते हैं.

देवेंद्र यादव की आरजेडी में घर वापसी
देवेंद्र यादव की आरजेडी में घर वापसी
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Published : Mar 23, 2022, 6:00 PM IST

पटना: शरद यादव के बाद अब पूर्व केंद्रीय मंत्री देवेंद्र यादव (Former Union Minister Devendra Yadav) ने भी अपनी पार्टी का राष्ट्रीय जनता दल में विलय कर दिया है. नेता प्रतिपक्ष तेजस्‍वी यादव (Leader of Opposition Tejashwi Yadav) की मौजूदगी में उन्होंने समाजवादी जनता दल डेमोक्रेटिक का आरजेडी में विलय (Samajwadi Janata Dal Democratic Merged With RJD) कर दिया. उन्होंने कहा कि जो लड़ाई तेजस्वी लड़ रहे हैं, उसके लिए जरूरी है कि उनका हाथ मजबूत किया जाए. इसलिए हमने तय किया कि अब साथ मिलकर सामाजिक न्याय की लड़ाई को आगे बढ़ाएंगे. इस मौके पर आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह और प्रधान महासचिव अब्दुल बारी सिद्दीकी समेत प्रदेश स्तर के कई बड़े नेता मौजूद रहे.

ये भी पढ़ें: लालू के साथ आए शरद, तेजस्वी की मौजूदगी में अपनी पार्टी LJD का RJD में किया विलय

समर्थकों के साथ घर वापसी: पटना में आयोजित मिलन समारोह के दौरान पूर्व केंद्रीय मंत्री देवेंद्र यादव की आरजेडी में घर वापसी (Devendra Yadav Joined RJD) हुई है. अपने समर्थकों के साथ उन्होंने 'लालटेन' थाम लिया. देवेंद्र यादव झंझारपुर के सांसद रह चुके हैं. पहले वो लालू यादव के साथ ही थे लेकिन बाद में उन्होंने जेडीयू का दामन थाम लिया था. देवेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि आरजेडी सामाजिक न्याय और धर्मनिरपेक्षता की सबसे बड़ी ताकत है. इस ताकत को किसी भी हालत में हमलोग कमजोर नहीं होने देंगे.

देवेंद्र यादव मिथिलांचल में बड़ा नाम: माना जाता है कि देवेंद्र यादव अपने क्षेत्र के कद्दावर नेता हैं. हाल ही में आरजेडी ने झंझारपुर से विधायक रह चुके गुलाब यादव को अपनी पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है. जिसके बाद गुलाब यादव ने बगावत कर विधान परिषद चुनाव में अपनी पत्नी को मैदान में उतारा है. ऐसे में देवेंद्र यादव को अपनी पार्टी में लाकर तेजस्वी यादव ने उस क्षेत्र में अपनी स्थिति को मजबूत करने की कोशिश की है.

जेपी आंदोलन की उपज: बता दें कि आपातकाल के खिलाफ शरद यादव और देवेंद्र यादव ने अपनी सियासी पारी का आगाज जेपी आंदोलन से किया था. शरद यादव 1974 में मध्य प्रदेश के जबलपुर से सांसद बन गए तो देवेंद्र यादव 1977 में बिहार से विधायक चुने गए. वहीं, लालू यादव ने भी इस दौर में सियासत में कदम रखा. तीनों ही नेता एक साथ चले और जनता दल तक साथ रहे. देवेंद्र यादव बिहार में कर्पुरी ठाकुर की सरकार में मंत्री रहे तो लालू यादव और शरद यादव केंद्र में थे. देवेंद्र प्रसाद यादव वीपी सिंह और एचडी देवगौड़ा की सरकार में मंत्री रह चुके हैं और पांच बार झंझारपुर सीट से सांसद रहे.

ये भी पढ़ें: 'वाह शरद जी! एक बंगले के लिए समझौता कर लिया, कभी लालू को भ्रष्ट बताया और आज भ्रष्टाचार में डुबकी लगा दिए'

दिग्गज यादव नेताओं की घर वापसी: इससे पहले इसी महीने के 20 मार्च को पूर्व सांसद शरद यादव (Former MP Sharad Yadav) ने लोकतांत्रिक जनता दल का आरजेडी में विलय (Lokatantrik Janata Dal Merged With RJD) किया था. नेता प्रतिपक्ष तेजस्‍वी यादव (Leader of Opposition Tejashwi Yadav) की मौजूदगी में नई दिल्ली में आयोजित विलय समारोह के दौरान एलजेडी (LJD) को राष्ट्रीय जनता दल में मर्ज किया गया है. साल 2018 में जेडीयू से अलग होकर शरद यादव ने अपनी पार्टी बनाई थी. इस मौके पर उन्होंने कहा कि ये एक नई शुरुआत है. ये विलय व्यापक एकता के लिए पहला कदम है. इसमें हमने अपनी पहल कर दी है, पूरे देश के विपक्ष अगर एकजुट हो जाए तो बीजेपी को हराया जा सकता है.

ये भी पढ़ें: LJD के विलय पर BJP का तंज- 'परिवार के लिए शरद जी तेजस्वी के पीछे खड़े होकर राजनीति करेंगे'

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पटना: शरद यादव के बाद अब पूर्व केंद्रीय मंत्री देवेंद्र यादव (Former Union Minister Devendra Yadav) ने भी अपनी पार्टी का राष्ट्रीय जनता दल में विलय कर दिया है. नेता प्रतिपक्ष तेजस्‍वी यादव (Leader of Opposition Tejashwi Yadav) की मौजूदगी में उन्होंने समाजवादी जनता दल डेमोक्रेटिक का आरजेडी में विलय (Samajwadi Janata Dal Democratic Merged With RJD) कर दिया. उन्होंने कहा कि जो लड़ाई तेजस्वी लड़ रहे हैं, उसके लिए जरूरी है कि उनका हाथ मजबूत किया जाए. इसलिए हमने तय किया कि अब साथ मिलकर सामाजिक न्याय की लड़ाई को आगे बढ़ाएंगे. इस मौके पर आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह और प्रधान महासचिव अब्दुल बारी सिद्दीकी समेत प्रदेश स्तर के कई बड़े नेता मौजूद रहे.

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समर्थकों के साथ घर वापसी: पटना में आयोजित मिलन समारोह के दौरान पूर्व केंद्रीय मंत्री देवेंद्र यादव की आरजेडी में घर वापसी (Devendra Yadav Joined RJD) हुई है. अपने समर्थकों के साथ उन्होंने 'लालटेन' थाम लिया. देवेंद्र यादव झंझारपुर के सांसद रह चुके हैं. पहले वो लालू यादव के साथ ही थे लेकिन बाद में उन्होंने जेडीयू का दामन थाम लिया था. देवेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि आरजेडी सामाजिक न्याय और धर्मनिरपेक्षता की सबसे बड़ी ताकत है. इस ताकत को किसी भी हालत में हमलोग कमजोर नहीं होने देंगे.

देवेंद्र यादव मिथिलांचल में बड़ा नाम: माना जाता है कि देवेंद्र यादव अपने क्षेत्र के कद्दावर नेता हैं. हाल ही में आरजेडी ने झंझारपुर से विधायक रह चुके गुलाब यादव को अपनी पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है. जिसके बाद गुलाब यादव ने बगावत कर विधान परिषद चुनाव में अपनी पत्नी को मैदान में उतारा है. ऐसे में देवेंद्र यादव को अपनी पार्टी में लाकर तेजस्वी यादव ने उस क्षेत्र में अपनी स्थिति को मजबूत करने की कोशिश की है.

जेपी आंदोलन की उपज: बता दें कि आपातकाल के खिलाफ शरद यादव और देवेंद्र यादव ने अपनी सियासी पारी का आगाज जेपी आंदोलन से किया था. शरद यादव 1974 में मध्य प्रदेश के जबलपुर से सांसद बन गए तो देवेंद्र यादव 1977 में बिहार से विधायक चुने गए. वहीं, लालू यादव ने भी इस दौर में सियासत में कदम रखा. तीनों ही नेता एक साथ चले और जनता दल तक साथ रहे. देवेंद्र यादव बिहार में कर्पुरी ठाकुर की सरकार में मंत्री रहे तो लालू यादव और शरद यादव केंद्र में थे. देवेंद्र प्रसाद यादव वीपी सिंह और एचडी देवगौड़ा की सरकार में मंत्री रह चुके हैं और पांच बार झंझारपुर सीट से सांसद रहे.

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दिग्गज यादव नेताओं की घर वापसी: इससे पहले इसी महीने के 20 मार्च को पूर्व सांसद शरद यादव (Former MP Sharad Yadav) ने लोकतांत्रिक जनता दल का आरजेडी में विलय (Lokatantrik Janata Dal Merged With RJD) किया था. नेता प्रतिपक्ष तेजस्‍वी यादव (Leader of Opposition Tejashwi Yadav) की मौजूदगी में नई दिल्ली में आयोजित विलय समारोह के दौरान एलजेडी (LJD) को राष्ट्रीय जनता दल में मर्ज किया गया है. साल 2018 में जेडीयू से अलग होकर शरद यादव ने अपनी पार्टी बनाई थी. इस मौके पर उन्होंने कहा कि ये एक नई शुरुआत है. ये विलय व्यापक एकता के लिए पहला कदम है. इसमें हमने अपनी पहल कर दी है, पूरे देश के विपक्ष अगर एकजुट हो जाए तो बीजेपी को हराया जा सकता है.

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