पटनाः बिहार में शिक्षक भर्ती नियमावली का लगातार विरोध हो रहा है और इसको लेकर आज शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर (Education Minister Chandrashekhar) ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा कि शिक्षा के गुणवत्ता में सुधार को लेकर नई शिक्षक नियोजन नियमावली बनाई गई है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी के नेतृत्व में ये जो निर्णय लिया गया है. ये यहां के छात्रों के भविष्य को देखकर लिया गया है. हमलोग चाहते हैं कि जो शिक्षक बहाल हों वो शिक्षा के स्तर को आगे बढ़ाएं. गुणवत्ता अच्छी हो. इसलिए इस तरह का निर्णय लिया गया है. ये बहुत अच्छा है, जो लोग इसमें नुस्क निकाल रहे हैं वो गलत है.
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नई नियमावली से शिक्षकों को मिलेगा राज्यकर्मी बनने का मौकाः शिक्षामंत्री ने कहा कि सब कुछ सोचकर बोलना चाहिए. कोई कहते हैं कि आईएएस, आईपीएस पास करने के बाद भी परीक्षा देने समान यह नियमावली है. यह गलत है. नियोजित शिक्षक जिन्हे राज्यकर्मी बनने का मौका मिलेगा. उन्हे जो सवाल परीक्षा में किए जाएंगे वो उनके कार्य से जुड़ा होगा. कोई अन्य सवाल तो रहेंगे नहीं, जो वो लोग तरह-तरह की बात करते हैं. हम तो उनसे भी कहते हैं कि वो नियमावली का विरोध नहीं करें. इसमें उनकी भलाई है. वो छात्रों के भविष्य के बारे में भी सोचें. हमें शिक्षा की गुणवता सुधारनी है और यह नई शिक्षक नियमावली से ही होगा. जैसा हमलोग प्रयास कर रहे हैं.
"शिक्षा के गुणवत्ता में सुधार को लेकर नई शिक्षक नियोजन नियमावली बनाई गई है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी के नेतृत्व में ये जो निर्णय लिया गया है. ये यहां के छात्रों के भविष्य को देखकर लिया गया है" - चंद्रशेखर, शिक्षा मंत्री
'बीजेपी वाले कुछ से कुछ बोलते हैं': शिक्षामंत्री से जब पूछा गया कि इसको वापस लेंगे, तो उन्होंने कहा कि इस में गलत क्या है. आप लोग ऐसा कह रहे हैं. उन्होंने कहा कि जब भाजपा बिहार में सरकार में थी तो सुशील मोदी ने कहा था कि नियोजित शिक्षक को वेतनमान देने का कोई सवाल ही नहीं उठता है और आज देखिए सुशील मोदी क्या कह रहे हैं. इनलोगों को कुछ से कुछ कहना रहता है, कहते है. नियोजित शिक्षक भी अब राज्यकर्मी बनेंगे. ये मौका हमलोगों ने दिया है. नए शिक्षक जो बहाल होंगे वो बीपीएससी से चुन कर आएंगे. कहीं ना कहीं इससे शिक्षा के गुणवत्ता में सुधार होगा और यह नियमावली बहुत अच्छा है.