पटना: एक तरफ पूरे प्रदेश में कोरोना संक्रमण का मामला लगातार बढ़ता जा रहा है, तो वहीं सही समय पर स्वास्थ्य व्यवस्था न मिलने के कारण कई लोगों की जान भी जा रही है. लेकिन अब एक अच्छी खबर देखने को मिली है. राजधानी पटना से सटे बिहटा के सिकंदरपुर स्थित ईएसआईसी अस्पताल में 100 बेडों पर अब कोरोना संक्रमित मरीजों का इलाज पूरी तरह से शुरू हो चुका है. पहले दिन 17 मरीजों को भर्ती किया गया. खास बात यह है कि इस अस्पताल में आइसोलेशन के लिए ही साधारण मरीजों का इलाज किया जा रहा है.
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अस्पताल में कोरोना का समुचित इलाज
यहां दवाइयों के साथ ऑक्सीजन की जरूरत वाले मरीजों को राहत मिलेगी. 200 बेडों के अस्पताल को डीआरडीओ द्वारा शुरू किया गया है. फिलहाल तत्काल 100 बेड पर और इलाज शुरू किया गया है. अगले तीन दिनों में इस अस्पताल में और 100 बेड की व्यवस्था किये जाने की बात की जा रही है. यहां कोरोना मरीजों के लिए डॉक्टरों और स्वास्थ्यकर्मियों की तैनाती कर दिया गया है.
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कोविड अस्पताल का DM ने किया निरीक्षण
गौरतलब है कि पिछले साल 2020 में डीआरडीओ की तरफ से बिहटा के ईएसआईसी अस्पताल में 500 ऑक्सीजन बेड के साथ कोविड अस्पताल बनाये गए थे. अब 100 बेडों के साथ ऑक्सीजन मिलने से मरीजों को राहत होगी. वहीं अस्पताल में इलाज शुरू होने के एक दिन पहले रविवार की देर शाम पटना जिला अधिकारी डॉ चंद्रशेखर सिंह, स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव प्रत्यय अमृत ने अस्पताल का दौरा किया था.
सारी व्यवस्था को दुरुस्त करवाया और सभी कमियों को खत्म किया. जिसका नतीजा यह है कि अब मरीजों को भर्ती लेना भी अस्पताल प्रशासन ने शुरू कर दिया है. वहीं इस दौरान जिलाधिकारी डॉ. चंद्रशेखर सिंह ने बताया कि सोमवार से यहां कोरोना संक्रमितों को भर्ती किये जाने का कार्य शुरू कर दिया जायेगा. इसके लिए तैयारी पूरी कर ली गयी है. डॉक्टरों से लेकर स्वास्थ्यकर्मियों की तैनाती कर दी गयी है.
दरअसल बिहटा ESIC अस्पताल में 500 ऑक्सीजन बेड उपलब्ध है. लेकिन काफी प्रयास के बावजूद मात्र 50 बेड पर ही मरीजों को भर्ती व इलाज की कार्रवाई की जा सकी थी. आवश्यक व्यवस्था में देरी हो रही थी. इसके बाद जिला प्रशासन ने अपने स्तर पर अस्पताल में 100 आइसीयू बेड पूरी तरह तैयार किया. इसके साथ ही 100 और बेड को भी पूर्ण रूप से तैयार करने की प्रक्रिया चल रही है. इस अस्पताल में लिक्विड ऑक्सीजन की आपूर्ति जिला स्तरीय ऑक्सीजन प्रबंधन कोषांग द्वारा उद्योग विभाग में गठित कोषांग से समन्वय स्थापित कर की जायेगी. ऐसा लग रहा है कि अस्पताल में व्यवस्था चालू होने के बाद, थोड़ी सुकून मरीजों के परिजनों को भी मिला है.