पटना: हर वर्ष देश के शहरों का स्वच्छता सर्वेक्षण (Swakshta Survey 2023) किया जाता है. इस सर्वेक्षण में पटना शहर को नंबर वन की रैंकिंग पर लाने के लिए नगर निगम तैयारी कर रहा है. इसी के मद्देनजर जहां पहले कचरा फेंका जाता था, वहां पर सौंदर्यीकरण का कार्य किया जा रहा है. लोगों से कूड़ा कचरा को डस्टबिन में डालने और डोर टू डोर कचरा प्रबंधन की मुहिम को तेज कर दी गयी है. विभिन्न स्थालों को साफ सथुरा कर उन्हें पार्क की शक्ल दी जा रही है.
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सेल्फी पॉइंट बना आर्कषण का केन्द्र: अंचलों से चयनित जीवीपी प्वाइंट पर सेल्फी पॉइंट का भी निर्माण भी किया गया है, ताकि लोगो स्वच्छता के प्रति जागरुक हो सके. सभी अंचलों में कुल 112 स्थलों का चयन किया गया है. यहां सेल्फी प्वाइंट के निर्माण के लिए भी वेस्ट हो चुके चीजों जैसे टायर, लकड़ी अथवा लोहे के स्टैंड और पुरानी वस्तुओं का उपयोग किया गया है. स्वच्छता कॉर्नर में 'आइ लव पटना', 'स्वच्छ पटना शहर अपना', 'स्वच्छता है जरूरी' जैसे स्लोगन को आईकन के रूप में इस्तेमाल किया गया है.
"शहर में सफाई और स्वच्छता को बेहतर बनाए रखने के लिए चार चरणों में अभियान शुरू किया गया है. अभियान के तहत कचरा पॉइंट का रंग रोगन करके सजाया गया है. 16 जनवरी से अंतिम चरण शुरू होगा. जिसके अंतर्गत 108 जगहों को जीवीपी के रूप में चिन्हित किया गया है. इन सभी जीवीपी पॉइंट का सौदर्यीकरण किया जाएगा. इन जगहों को दोबारा गंदा करने, कूड़ा-कचरा फेंकने पर जुर्माना भी वसूल किया जाएगा" - उमेश चौधरी, कर्मचारी, पटना नगर निगम
राजापुल और बोरिंग रोड में पार्कों का निर्माण: पटना नगर निगम कर्मचारी उमेश चौधरी ने बताया कि बोरिंग रोड से लेकर राजापुल के सभी कचरा पॉइंट को साफ-सुथरा करके वहां पर पेड़ पौधे भी लगाए गए हैं. लोगों से भी अपील किया जा रहा है कि वे खुले में ना तो कचरा फेंके और ना शौच करें. इसका नतीजा यह है कि राजा पुल के पास कई स्थानों पर खूबसूरत पार्क तैयार किया गया है. जहां पहले लोग कचरा और गंदगी फैलाया करते थे. अब लोग यहां घूमने और सेल्फी लेने के लिए आ रहे हैं.