पटना: गंगा नदी के जलस्तर (Water Level of Ganga) बढ़ने से राजधानी पर बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है. कई जगहों पर तो घाट किनारे बने संपर्क पथ पर भी पानी आ गया है, जिस वजह से लोगों की परेशानी बढ़ गई है. हालात की भयावहता को देखते हुए बुधवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) ने गंगा घाटों का जायजा लिया. इस दौरान उन्होंने अधिकारियों को कई अहम निर्देश भी दिए.
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सीएम नीतीश कुमार अशोक राजपथ होते हुए पटनासिटी के कंगन घाट पहुंचे. जहां उन्होंने कंगन घाट का निरीक्षण किया. उन्होंने वहां मौजूद अधिकारियों को अहम दिशा-निर्देश देते हुए कहा कि खतरे वाले घाटों पर सुरक्षाबलों की तैनाती की जाए, ताकि कोई अप्रिय घटना न घटे.
गंगा नदी का जलस्तर बढ़ने से कंगन घाट के संपर्क पथ पर पानी चढ़ गया है, जिस वजह से घाट किनारे बसे लोगों की परेशानी बढ़ गई है. वाहनों को आने-जाने में काफी परेशानी हो रही है. ऐसे में मुख्यमंत्री की ओर से सड़क पर से पानी की निकासी के लिए अधिकारियों को जरूरी निर्देश दिए गए.
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने साफ तौर पर कहा है कि 2016 में भी गंगा के जलस्तर की काफी भयावह स्थिति थी. इस बार भी गंगा के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रही है, जिसको देखते हुए सरकार के स्तर से पूरी तैयारी की जा रही है. जो भी गंगा के सटे जिले हैं, उन सभी जिलों के अधिकारियों को अलर्ट कर दिया गया है. बाढ़ से निपटने के लिए सरकार की ओर से पूरी तैयारी की जा रही है.
आपको बताएं कि बिहार में कई जगहों पर बाढ़ जैसी स्थिति उत्पन्न हो गई है और कई इलाके पूरी तरह से बाढ़ से प्रभावित हैं. कई नदियां डेंजर लेवल के ऊपर बह रही हैं, वहीं गंगा का जलस्तर भी खतरे के निशान से काफी ऊपर है.
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गंगा नदी के किनारे रहने वाले जो लोग हैं, उन लोगों के घरों में भी पानी घुस गया है. जिसके कारण लोगों का जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है. ऐसे में बिहार के वे 12 जिले, जो गंगा के घाटों से सटे हुए हैं, उन सभी जिलों के अधिकारियों को सरकार की ओर से विशेष निर्देश दिए गए हैं.