पटना: चीनी सामान के बहिष्कार के अपने राष्ट्रीय अभियान के अंतर्गत कॉन्फेडरेशन ऑफ आल इंडिया ट्रेडर्स ने केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को एक आग्रह पत्र भेजा है. बॉर्डर सहित अन्य संवेदनशील क्षेत्रों मे हो रहे निर्माण कार्यों में चीनी निर्माण मशीनरी का उपयोग न करने का आग्रह किया है. इन अधिकांश मशीनों में इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IOT) डिवाइस लगे होते हैं, जो चीन में कंपनी के मालिकों के लिए संवेदनशील जानकारी प्रसारित करने में सक्षम हैं.
कैट बिहार के चेयरमैन कमल नोपानी और कैट अध्यक्ष अशोक कुमार वर्मा ने राजनाथ सिंह को पत्र भेजते हुए एक महत्वपूर्ण मुद्दा उठाया है. उन्होंने कहा कि सीमावर्ती क्षेत्रों, सुरक्षा संवेदनशील क्षेत्रों, राजमार्गों, तथा इंफ्रास्ट्रक्चर के अन्य प्रोजेक्ट में चीन के तरफ से आपूर्ति की जाने वाली विभिन्न मशीनों और इसके स्पेयर पार्ट्स विभिन्न महत्वपूर्ण परियोजनाओं में इस्तेमाल हो रहे हैं. कई मामलों में ऐसी निर्माण कार्य करने वाली कंपनियां चीनी मशीनों का उपयोग कर रही हैं, जो इंटरनेट ऑफ थिंग्स (आईओटी) उपकरणों के साथ स्थापित हैं. जो वास्तविक समय में कार्ट करने के स्थान सहित अन्य मशीन ऑपरेटिंग मापदंडों को कहीं भी प्रसारित करने की क्षमता रखता है.
'आईओटी उपकरणों से लैस हैं'
कैट के सदस्यों ने कहा कि ऐसी मशीनों का उपयोग सामरिक रूप से महत्वपूर्ण स्थानों पर, सीमावर्ती क्षेत्रों और किसी अन्य संवेदनशील क्षेत्र में किया जाता है, जो रक्षा के लिए बहुत अधिक महत्वपूर्ण है. मशीन के द्वारा सभी डेटा उनके स्थानों, परिचालन घंटों और अन्य सामरिक विवरण चीन में स्थित चीनी कंपनियों के मालिक के स्वामित्व वाले सर्वरों को प्रेषित किए जा सकते हैं. कंपनी( SANY )चीन की स्वामित्व वाली पुटमिस्टर हैं. XCMG चीन की स्वामित्व वाली श्वेत स्टीटर इंडिया है, जो इस तरह की विभिन्न परियोजनाओं में शामिल हैं. उनकी मशीनें विधिवत आईओटी उपकरणों से लैस हैं. इन मशीनों द्वारा अर्जित डेटा का उपयोग अन्य उद्देश्यों के लिए किया जा सकता है.
'प्रतिबंध लगाना आवश्यक'
सदस्यों ने कहा कि हो सकता है कुछ अन्य कंपनियां भी सीमावर्ती क्षेत्रों, राजमार्गों, बुनियादी ढांचे में अपने संबंधित निर्माण गतिविधियों में इस तरह के उपकरणों का उपयोग कर रही हों. ऐसी सभी कंपनियों की शिनाख्त करते हुए उनके काम करने पर तुरंत रोक लगाया जाना जरूरी है. वहीं, बिहार कैट ने राजनाथ सिंह से आग्रह किया है कि वे इस मुद्दे की गंभीरता पर ध्यान दें. देश की सुरक्षा और संप्रभुता के बड़े हित में ऐसी मशीनों का विशेष रूप से सीमा और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में उपयोग करने पर प्रतिबंध लगाने के लिए आवश्यक कदम उठाएं.