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B.Ed डिग्रीधारकों के बाद अब पटना हाईकोर्ट ने सरकारी लैब टेक्नीशियनों को दिया बड़ा झटका, नौकरी से धोना होगा हाथ

Patna High Court: बीएड डिग्रीधारी शिक्षकों के बाद अब सरकारी लैब टेक्नीशियनों को पटना हाईकोर्ट ने बड़ा झटका दिया है. कोर्ट ने अपने एक अहम निर्णय में स्पष्ट किया है कि बिहार के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में 2005 से अनुबंध पर काम कर रहे लैब तकनीशियन 2014 में बने नए कैडर नियम के बाद अपने पदों पर बने नहीं रह सकते हैं. महज अनुभव के आधार पर उन्हें स्थायी नियुक्ति नहीं दी जा सकती है.

सरकारी लैब टेक्नीशियनों को पटना हाईकोर्ट से झटका
सरकारी लैब टेक्नीशियनों को पटना हाईकोर्ट से झटका
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Dec 7, 2023, 7:47 PM IST

पटना: अपने एक महत्वपूर्ण आदेश में पटना हाईकोर्ट ने ये स्पष्ट किया है कि बिहार के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में 2005 से अनुबंध पर काम कर रहे लैब तकनीशियन 2014 में बने नए कैडर नियम के बाद अपने पदों पर बने नहीं रह सकते हैं. बड़ी संख्या में दायर याचिकाओं पर चीफ जस्टिस के वी चंद्रन एवं जस्टिस राजीव रॉय की खंडपीठ ने सुनवाई कर फैसला सुरक्षित रखा था,जिसे सुनाया गया.

सरकारी लैब टेक्नीशियनों को पटना हाईकोर्ट से झटका: कोर्ट ने यह साफ किया कि ऐसे लैब टेक्नीशियनों का कार्य अनुभव उन्हें कोई पात्रता प्रदान नहीं कर सकता है. यदि उनके पास बिहार सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त संस्थान द्वारा प्रस्तावित प्रयोगशाला तकनीशियन में डिप्लोमा की वांछित योग्यता नहीं है, तो वे अपने पद नहीं बने रह सकते हैं. कोर्ट ने बिहार कर्मचारी चयन आयोग की अपील को स्वीकार करते हुए यह निर्णय सुनाया.

सड़क को बंद करने के मामले पर सुनवाई: वहीं, पटना हाईकोर्ट ने गांधी मैदान को बाकरगंज से जोड़ने वाली सार्वजनिक सड़क को बंद करने के मामले पर सुनवाई की. जस्टिस संदीप कुमार ने अपूर्व हर्ष व अन्य की याचिका पर सुनवाई की. इस मामलें पर बियाडा के डीजीएम (लॉ) रितेश रंजन ने हलफनामा दायर कर कोर्ट को बताया कि पूर्वी गांधी मैदान स्थित प्लॉट स. 1140 और 1141 पर किसी प्रकार का निर्माण कोई नहीं किया गया है.

'सड़क को गैरकानूनी रूप से घेरा': कोर्ट के समक्ष पटना सदर के अंचल अमीन एवं बियाडा के डीजीएम ( लॉ), कोर्ट में उपस्थित थे. इस मामले पर सुनवाई के दौरान कोर्ट को बताया गया गांधी मैदान को बाकरगंज से जोड़ने वाली अन्य तीन सड़कें भी मौजूद हैं. इस पर याचिकाकर्ता के अधिवक्ता अपूर्व हर्ष एवं मनु त्रिपुरारी ने कोर्ट को बिहार म्यूनिसिपल एक्ट का हवाला देते हुए बताया कि सड़क को गैरकानूनी रूप से घेर दिया गया है.

लोगों को हो रही परेशानी: इससे बाकरगंज एवं आस-पास रह रहे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. अन्य रास्तों के जो विकल्प बताये जा रहे हैं,वह भी काफी संकरे हैं और वहां के नागरिक जाम की समस्या से जूझ रहे हैं.

इस दिन होगी अगली सुनवाई: कोर्ट को बताया गया कि बाउंड्री के निर्माण से उद्योग भवन के पश्चिमी किनारे पर स्थित सड़क से सटे फुटपाथ के उपयोग में बाधा उत्पन्न हो रही है, जिसका उपयोग बड़ी संख्या में पैदल यात्री करते हैं. सभी पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कोर्ट ने इस मामले की अगली सुनवाई 11 दिसंबर,2023 को निर्धारित की है.

पढ़ें- पटना हाईकोर्ट ने लैब टेक्नीशियन की नियुक्ति प्रक्रिया को एक सप्ताह में पूरा करने का दिया आदेश

पटना: अपने एक महत्वपूर्ण आदेश में पटना हाईकोर्ट ने ये स्पष्ट किया है कि बिहार के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में 2005 से अनुबंध पर काम कर रहे लैब तकनीशियन 2014 में बने नए कैडर नियम के बाद अपने पदों पर बने नहीं रह सकते हैं. बड़ी संख्या में दायर याचिकाओं पर चीफ जस्टिस के वी चंद्रन एवं जस्टिस राजीव रॉय की खंडपीठ ने सुनवाई कर फैसला सुरक्षित रखा था,जिसे सुनाया गया.

सरकारी लैब टेक्नीशियनों को पटना हाईकोर्ट से झटका: कोर्ट ने यह साफ किया कि ऐसे लैब टेक्नीशियनों का कार्य अनुभव उन्हें कोई पात्रता प्रदान नहीं कर सकता है. यदि उनके पास बिहार सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त संस्थान द्वारा प्रस्तावित प्रयोगशाला तकनीशियन में डिप्लोमा की वांछित योग्यता नहीं है, तो वे अपने पद नहीं बने रह सकते हैं. कोर्ट ने बिहार कर्मचारी चयन आयोग की अपील को स्वीकार करते हुए यह निर्णय सुनाया.

सड़क को बंद करने के मामले पर सुनवाई: वहीं, पटना हाईकोर्ट ने गांधी मैदान को बाकरगंज से जोड़ने वाली सार्वजनिक सड़क को बंद करने के मामले पर सुनवाई की. जस्टिस संदीप कुमार ने अपूर्व हर्ष व अन्य की याचिका पर सुनवाई की. इस मामलें पर बियाडा के डीजीएम (लॉ) रितेश रंजन ने हलफनामा दायर कर कोर्ट को बताया कि पूर्वी गांधी मैदान स्थित प्लॉट स. 1140 और 1141 पर किसी प्रकार का निर्माण कोई नहीं किया गया है.

'सड़क को गैरकानूनी रूप से घेरा': कोर्ट के समक्ष पटना सदर के अंचल अमीन एवं बियाडा के डीजीएम ( लॉ), कोर्ट में उपस्थित थे. इस मामले पर सुनवाई के दौरान कोर्ट को बताया गया गांधी मैदान को बाकरगंज से जोड़ने वाली अन्य तीन सड़कें भी मौजूद हैं. इस पर याचिकाकर्ता के अधिवक्ता अपूर्व हर्ष एवं मनु त्रिपुरारी ने कोर्ट को बिहार म्यूनिसिपल एक्ट का हवाला देते हुए बताया कि सड़क को गैरकानूनी रूप से घेर दिया गया है.

लोगों को हो रही परेशानी: इससे बाकरगंज एवं आस-पास रह रहे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. अन्य रास्तों के जो विकल्प बताये जा रहे हैं,वह भी काफी संकरे हैं और वहां के नागरिक जाम की समस्या से जूझ रहे हैं.

इस दिन होगी अगली सुनवाई: कोर्ट को बताया गया कि बाउंड्री के निर्माण से उद्योग भवन के पश्चिमी किनारे पर स्थित सड़क से सटे फुटपाथ के उपयोग में बाधा उत्पन्न हो रही है, जिसका उपयोग बड़ी संख्या में पैदल यात्री करते हैं. सभी पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कोर्ट ने इस मामले की अगली सुनवाई 11 दिसंबर,2023 को निर्धारित की है.

पढ़ें- पटना हाईकोर्ट ने लैब टेक्नीशियन की नियुक्ति प्रक्रिया को एक सप्ताह में पूरा करने का दिया आदेश

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