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पटनाः नौबतपुर प्रखंड के कई पंचायतों में सात निश्चय योजना में धांधली, मुखिया पर आरोप - सात निश्चय योजना में मुखिया पर आरोप

नौबतपुर प्रखंड के ज्यादा पंचायतों में सात निश्चय योजना के तहत पक्षपात हो रहा है. अगर निष्पक्षता से जांच हो तो कई मुखिया के जरिए वित्तीय अनियमितता की बात सामने आएगी.

पटना
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Published : Aug 14, 2020, 11:17 AM IST

पटनाः जिले के नौबतपुर प्रखण्ड के चक चेचौल पंचायत के उपमुखिया ने मुखिया पर सात निश्चय योजना में पक्षपात और लूट खसोट का आरोप लगाया है. शिकायत मिलने के बाद बीडीओ ने जांच के आदेश दे दिये हैं.

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की महत्वाकांक्षी सात निश्चय योजना में लूट खसोट अथवा घोटाले का लगातार सामने आ रहा है. एक बार फिर पटना जिले के नौबतपुर प्रखंड से सात निश्चिय योजना में लूट का मामला सामने आया है. अभी अजवां पंचायत का मामला ठंडा भी नहीं पड़ा था कि एक और नया मामला सामने आ गया.

मुखिया राजकुमार यादव पर आरोप
दरअसल, नौबतपुर प्रखण्ड के चक चेचौल पंचायत में भी सात निश्चय योजना में सरकार के तय किये गये मानक के विपरीत खर्च करने की बात बतायी जा रही है. पंचायत के उपमुखिया अंजू देवी ने मुखिया राजकुमार यादव पर योजनाओं की राशि निर्गत करने को लेकर पक्षपात करने का आरोप लगाया है.

उप मुखिया अंजू देवी
उप मुखिया अंजू देवी

कई वार्डों में नहीं मिली योजना की राशि
उपमुखिया ने इस संबंध में बीडीओ को पत्र भी लिखा है. जिसमें इस बात का उल्लेख किया गया है कि चक चेचौल में कुल 13 वार्ड हैं. जिसमें कई वार्डों में नली गली पक्कीकरण योजना में वार्ड क्रियान्वयन सह प्रबंधन समिति के खाता में 20 लाख से ज्यादा की राशि हस्तांतरित की गई है. जबकि वार्ड संख्या 2 में कोई भी राशि नली गली योजना में नहीं दी गई है.

बता दें कि मुख्यमंत्री सात निश्चय के नली गली योजना में एक वार्ड में 13 लाख से ज्यादा खर्च करने का प्रावधान नहीं है. अगर किसी के जरिए ऐसा किया जाता है तो वह पंचायती राज विभाग के वितीय नियमावली के खिलाफ है. लेकिन चक चेचौल पंचायत में कई वार्ड में ऐसा किया गया है.

आरोप पत्र
मुखिया के खिलाफ आरोप पत्र

मुखिया अपने चहेतों का रखते हैं खास ख्याल
वैसे नौबतपुर प्रखंड के अधिकांश पंचायतों का यही हाल है. अगर निष्पक्षता से जांच हो तो कई मुखिया द्वारा वित्तीय अनियमितता की बात सामने आएगी. यहां तक कि कई मुखिया अपने चहेतों के वार्डों में 13 लाख से ऊपर की राशि हस्तांतरित करते हैं. जबकि जो वार्ड सदस्य उनके चहेते नहीं हैं या करीबी नहीं हैं, उनके वार्ड में अभी तक राशि भी नहीं दी गई है.

शिकायत की जांच की जाएगी- बीडीओ
वहीं, इस संबंध में पूछे जाने पर बीडीओ नीरज आनंद ने बताया कि शिकायत की जांच की जाएगी. उन्होंने कहा कि अगर वार्ड का चयन नहीं हुआ होगा तो राशि नहीं गई होगी. फिलहाल नली गली योजना के क्रियान्वयन पर रोक है. जबकि हर घर नल जल योजना चल रही है. बीडीओ ने कहा कि जांच में बात सही निकली तो कार्रवाई की जाएगी.

पटनाः जिले के नौबतपुर प्रखण्ड के चक चेचौल पंचायत के उपमुखिया ने मुखिया पर सात निश्चय योजना में पक्षपात और लूट खसोट का आरोप लगाया है. शिकायत मिलने के बाद बीडीओ ने जांच के आदेश दे दिये हैं.

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की महत्वाकांक्षी सात निश्चय योजना में लूट खसोट अथवा घोटाले का लगातार सामने आ रहा है. एक बार फिर पटना जिले के नौबतपुर प्रखंड से सात निश्चिय योजना में लूट का मामला सामने आया है. अभी अजवां पंचायत का मामला ठंडा भी नहीं पड़ा था कि एक और नया मामला सामने आ गया.

मुखिया राजकुमार यादव पर आरोप
दरअसल, नौबतपुर प्रखण्ड के चक चेचौल पंचायत में भी सात निश्चय योजना में सरकार के तय किये गये मानक के विपरीत खर्च करने की बात बतायी जा रही है. पंचायत के उपमुखिया अंजू देवी ने मुखिया राजकुमार यादव पर योजनाओं की राशि निर्गत करने को लेकर पक्षपात करने का आरोप लगाया है.

उप मुखिया अंजू देवी
उप मुखिया अंजू देवी

कई वार्डों में नहीं मिली योजना की राशि
उपमुखिया ने इस संबंध में बीडीओ को पत्र भी लिखा है. जिसमें इस बात का उल्लेख किया गया है कि चक चेचौल में कुल 13 वार्ड हैं. जिसमें कई वार्डों में नली गली पक्कीकरण योजना में वार्ड क्रियान्वयन सह प्रबंधन समिति के खाता में 20 लाख से ज्यादा की राशि हस्तांतरित की गई है. जबकि वार्ड संख्या 2 में कोई भी राशि नली गली योजना में नहीं दी गई है.

बता दें कि मुख्यमंत्री सात निश्चय के नली गली योजना में एक वार्ड में 13 लाख से ज्यादा खर्च करने का प्रावधान नहीं है. अगर किसी के जरिए ऐसा किया जाता है तो वह पंचायती राज विभाग के वितीय नियमावली के खिलाफ है. लेकिन चक चेचौल पंचायत में कई वार्ड में ऐसा किया गया है.

आरोप पत्र
मुखिया के खिलाफ आरोप पत्र

मुखिया अपने चहेतों का रखते हैं खास ख्याल
वैसे नौबतपुर प्रखंड के अधिकांश पंचायतों का यही हाल है. अगर निष्पक्षता से जांच हो तो कई मुखिया द्वारा वित्तीय अनियमितता की बात सामने आएगी. यहां तक कि कई मुखिया अपने चहेतों के वार्डों में 13 लाख से ऊपर की राशि हस्तांतरित करते हैं. जबकि जो वार्ड सदस्य उनके चहेते नहीं हैं या करीबी नहीं हैं, उनके वार्ड में अभी तक राशि भी नहीं दी गई है.

शिकायत की जांच की जाएगी- बीडीओ
वहीं, इस संबंध में पूछे जाने पर बीडीओ नीरज आनंद ने बताया कि शिकायत की जांच की जाएगी. उन्होंने कहा कि अगर वार्ड का चयन नहीं हुआ होगा तो राशि नहीं गई होगी. फिलहाल नली गली योजना के क्रियान्वयन पर रोक है. जबकि हर घर नल जल योजना चल रही है. बीडीओ ने कहा कि जांच में बात सही निकली तो कार्रवाई की जाएगी.

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