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साइबर ठगी के 2 और नए मामले, चेक और ATM क्लोन कर 6 लाख 56 हजार की निकासी - पटना की खबर

बिहार में इन दिनों साइबर क्राइम के मामले बढ़ गए हैं. जालसाज फर्जी चेक लेकर बैंक पहुंच रहे हैं. क्लोन चेक और ATM से 6 लाख 56 हजार की अवैध निकासी हो गई है.

cyber fraud
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Published : Jan 8, 2021, 7:17 PM IST

Updated : Jan 8, 2021, 7:23 PM IST

पटना: एक तरफ जहां पटना पुलिस मुख्यालय लगातार प्रदेश में बढ़ रही साइबर फ्रॉड की घटनाओं की लगातार समीक्षा कर रहा है. तो वहीं दूसरी ओर साइबर फ्रॉड लगातार पुलिस को चुनौती देने से पीछे नहीं हट रहे हैं. ताजा मामला पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र का है. जहां दो लोगों के खाते से साइबर फ्रॉड ने लाखों रुपए की अवैध निकासी कर ली है.

देखें पूरी रिपोर्ट

फर्जी चेक से 5 लाख रुपये की निकासी
दरअसल, पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र के बीएम दास लेन की रहने वाली चंपा देवी अकाउंट से 5 लाख रुपये फर्जी चेक के माध्यम से किसी रणवीर नाम के व्यक्ति ने निकाल लिए है. चंपा देवी ने पटना के पीरबहोर थाने में लिखित शिकायत देकर जानकारी दी है. उनके अकाउंट नंबर पर जो चेक इशू किया गया था वह सभी चेक उनके पास मौजूद है बावजूद इसके किसी रणवीर नाम के व्यक्ति ने फर्जी चेक के माध्यम से उनके अकाउंट से पैसे निकाल कर दूसरे अकाउंट में आरटीजीएस के माध्यम से जमा करवा दिए है.

चेक क्लोनिंग से बचने के उपाय
चेक क्लोनिंग से बचने के उपाय

एटीएम क्लोन कर निकासी
वहीं, दूसरा मामला पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र का ही है जहां एक बुजुर्ग व्यक्ति के एटीएम को क्लोन कर 1 लाख 56 हजार रुपये की फर्जी निकासी साइबर फ्रॉड ने कर ली है. हालांकि इन मामलों में अभी पुलिस और आर्थिक अपराध इकाई कुछ भी कहने से बचती दिख रही है. हालांकि बैंक और आर्थिक अपराध इकाई की तरफ से लगातार आम लोगों को विभिन्न माध्यमों से सतर्क किया जा रहा है. इसके बावजूद भी ऐसे मामलों में कमी नहीं हो रही है.

एटीम क्लोनिंग से बचने के उपाय
एटीम क्लोनिंग से बचने के उपाय

दावों की पोल खोलते साइबर फ्रॉड
हालांकी, इन दोनों साइबर फ्रॉड के मामले को दर्ज कर पीरबहोर थाना प्रभारी कहते हैं कि जल्द ही इस मामले में शामिल साइबर फ्रॉड को गिरफ्तार किया जाएगा. लेकिन यह सबसे बड़ा सवाल खड़ा होता है कि लगातार एक और पटना पुलिस मुख्यालय साइबर फ्रॉड को लेकर संबंधित अधिकारियों को प्रशिक्षण दे रहा है तो दूसरी ओर साइबर फ्रॉड पुलिस अधिकारियों के प्रशिक्षण और उनके दावों की पोल खोलते लगातार नजर आ रहे.

ऐसे होता है चेक क्लोन
चेक क्लोन करनेवाले जालसाज आपके चेक को हासिल करने की फिराक में रहते हैं. वे डाकिए या बैंक के किसी अधिकारी से मिलकर चेकबुक हासिल करते हैं. चेक पर ही खाताधारक की जानकारी लिखी होती है. किस खाते में ज्यादा रकम है, यह जानकारी बैंक के कर्मियों से मिलकर जुटा लेते हैं. कई बार बैंक से खाताधारक का मोबाइल नंबर भी बैंक से हटवा दी जाती है. उसके बाद लैपटॉप में स्कैन करने के बाद नए नंबर को डालकर चेक पर खाता नंबर, नाम और चेक नंबर प्रिंट किया जाता है. उसके बाद बैंकों में भुगतान के लिए जाया जाता है. जिन खातों में मोबाइल नंबर दर्ज होता था, उनके चेक 50 हजार से नीचे के होते थे. ताकि असली खातेदार के मोबाइल पर वेरिफिकेशन मैसेज ना जाए.

ठगी का शिकार हों तो उठाएं ये कदम
ठगी का शिकार हों तो उठाएं ये कदम

ये भी पढ़ें - कोरोना वैक्सीन पर सियासत, नित्यानंद ने कहा- विपक्ष के नेता दे रहे बचकाना बयान

साइबर क्राइम से बचने के लिए अहम जानकारी
बिहार में लॉकडाउन के बाद से लगातार साइबर क्राइम के मामले सामने आ रहे हैं. साइबर क्राइम को लेकर हम लगातार लोगों को जागरूक कर रहे हैं. इस बारे में ईटीवी भारत से बात करते हुए आर्थिक अपराध इकाई के एसपी प्राणतोष दास ने अहम जानकारी देते हुए बताया था कि सोशल मीडिया या साइट्स पर हुए साइबर क्राइम के लिए हेल्प लाइन नंबर जारी किया है.

  • साइबर क्राइम हेल्प लाइन नंबर- 155260
  • बच्चों के साथ हुए साइबर क्राइम हेल्प लाइन नंबर-1098
  • @cyberdost ट्विटर हैंडल पर ट्वीट कर आप अपनी कंप्लेन दर्ज करा सकते हैं.

पटना: एक तरफ जहां पटना पुलिस मुख्यालय लगातार प्रदेश में बढ़ रही साइबर फ्रॉड की घटनाओं की लगातार समीक्षा कर रहा है. तो वहीं दूसरी ओर साइबर फ्रॉड लगातार पुलिस को चुनौती देने से पीछे नहीं हट रहे हैं. ताजा मामला पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र का है. जहां दो लोगों के खाते से साइबर फ्रॉड ने लाखों रुपए की अवैध निकासी कर ली है.

देखें पूरी रिपोर्ट

फर्जी चेक से 5 लाख रुपये की निकासी
दरअसल, पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र के बीएम दास लेन की रहने वाली चंपा देवी अकाउंट से 5 लाख रुपये फर्जी चेक के माध्यम से किसी रणवीर नाम के व्यक्ति ने निकाल लिए है. चंपा देवी ने पटना के पीरबहोर थाने में लिखित शिकायत देकर जानकारी दी है. उनके अकाउंट नंबर पर जो चेक इशू किया गया था वह सभी चेक उनके पास मौजूद है बावजूद इसके किसी रणवीर नाम के व्यक्ति ने फर्जी चेक के माध्यम से उनके अकाउंट से पैसे निकाल कर दूसरे अकाउंट में आरटीजीएस के माध्यम से जमा करवा दिए है.

चेक क्लोनिंग से बचने के उपाय
चेक क्लोनिंग से बचने के उपाय

एटीएम क्लोन कर निकासी
वहीं, दूसरा मामला पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र का ही है जहां एक बुजुर्ग व्यक्ति के एटीएम को क्लोन कर 1 लाख 56 हजार रुपये की फर्जी निकासी साइबर फ्रॉड ने कर ली है. हालांकि इन मामलों में अभी पुलिस और आर्थिक अपराध इकाई कुछ भी कहने से बचती दिख रही है. हालांकि बैंक और आर्थिक अपराध इकाई की तरफ से लगातार आम लोगों को विभिन्न माध्यमों से सतर्क किया जा रहा है. इसके बावजूद भी ऐसे मामलों में कमी नहीं हो रही है.

एटीम क्लोनिंग से बचने के उपाय
एटीम क्लोनिंग से बचने के उपाय

दावों की पोल खोलते साइबर फ्रॉड
हालांकी, इन दोनों साइबर फ्रॉड के मामले को दर्ज कर पीरबहोर थाना प्रभारी कहते हैं कि जल्द ही इस मामले में शामिल साइबर फ्रॉड को गिरफ्तार किया जाएगा. लेकिन यह सबसे बड़ा सवाल खड़ा होता है कि लगातार एक और पटना पुलिस मुख्यालय साइबर फ्रॉड को लेकर संबंधित अधिकारियों को प्रशिक्षण दे रहा है तो दूसरी ओर साइबर फ्रॉड पुलिस अधिकारियों के प्रशिक्षण और उनके दावों की पोल खोलते लगातार नजर आ रहे.

ऐसे होता है चेक क्लोन
चेक क्लोन करनेवाले जालसाज आपके चेक को हासिल करने की फिराक में रहते हैं. वे डाकिए या बैंक के किसी अधिकारी से मिलकर चेकबुक हासिल करते हैं. चेक पर ही खाताधारक की जानकारी लिखी होती है. किस खाते में ज्यादा रकम है, यह जानकारी बैंक के कर्मियों से मिलकर जुटा लेते हैं. कई बार बैंक से खाताधारक का मोबाइल नंबर भी बैंक से हटवा दी जाती है. उसके बाद लैपटॉप में स्कैन करने के बाद नए नंबर को डालकर चेक पर खाता नंबर, नाम और चेक नंबर प्रिंट किया जाता है. उसके बाद बैंकों में भुगतान के लिए जाया जाता है. जिन खातों में मोबाइल नंबर दर्ज होता था, उनके चेक 50 हजार से नीचे के होते थे. ताकि असली खातेदार के मोबाइल पर वेरिफिकेशन मैसेज ना जाए.

ठगी का शिकार हों तो उठाएं ये कदम
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साइबर क्राइम से बचने के लिए अहम जानकारी
बिहार में लॉकडाउन के बाद से लगातार साइबर क्राइम के मामले सामने आ रहे हैं. साइबर क्राइम को लेकर हम लगातार लोगों को जागरूक कर रहे हैं. इस बारे में ईटीवी भारत से बात करते हुए आर्थिक अपराध इकाई के एसपी प्राणतोष दास ने अहम जानकारी देते हुए बताया था कि सोशल मीडिया या साइट्स पर हुए साइबर क्राइम के लिए हेल्प लाइन नंबर जारी किया है.

  • साइबर क्राइम हेल्प लाइन नंबर- 155260
  • बच्चों के साथ हुए साइबर क्राइम हेल्प लाइन नंबर-1098
  • @cyberdost ट्विटर हैंडल पर ट्वीट कर आप अपनी कंप्लेन दर्ज करा सकते हैं.
Last Updated : Jan 8, 2021, 7:23 PM IST
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