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नवादा: सरकारी उदासीनता से नाराज बाढ़ पीड़ित बोले- लगता नहीं कि हमारा गांव भारत के नक्शे में है - जीवन और मौत से जूझ रहे ग्रमीण

माननीयों का आश्वासन धरातल पर नहीं उतरा, कई दिनों से गांव डूबा हुआ है. पहले ग्रामीणों ने लगातार हो रही बारिश का दंश झेला और अब डैम टूटने से आई बाढ़ का दंश भी लोग झेल रहे हैं. लोगों को किसी प्रकार की सरकारी सहायता नहीं मिली.

नवादा में कोल महादेव डैम टूटा
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Published : Oct 6, 2019, 12:27 PM IST

Updated : Oct 6, 2019, 12:36 PM IST

नवादा: जिले में पिछले कुछ दिनों में हुई लगातार बारिश की वजह से सभी नदियों और डैम का जलस्तर काफी बढ़ा हुआ था. इस दौरान गोविंदपुर प्रखंड स्थित कोल महादेव डैम टूट गया. बांध टूटने से लोगों के घरों में पानी ने अचानक दस्तक दे दिया. जिस वजह से लोगों का जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया.

ग्रामीणों ने बताया कि बांध में पहले से ही रिसाव हो रहा था. बाद में यह नदी का दबाव नहीं झेल पाया और डैम टूट गया. स्थानीय मुखिया ने बताया कि इसकी सूचना जिला प्रशासन और सांसद को दी गई थी, लेकिन प्रशासन आश्वासन देकर चली गई. लोग अपने घरों को छोड़ ऊंचे स्थानों पर शरण लेने को मजबूर हैं.

लोगों के घरों में बाढ़ का घुसा पानी
लोगों के घरों में बाढ़ का घुसा पानी

सरकारी सहायता से वंचित हैं लोग
मुखिया का कहना है कि अचानक पानी आने से लोगों के घरों में रखा हुआ अनाज और अन्य खाद्य पदार्थ नष्ट हो गया. सैकड़ों ग्रामीण भूखे सो रहे हैं. प्रखंड के बीडीओ और सीओ को सूचना दी गई, लेकिन वो भी सिर्फ निरीक्षण करके चले गए. लोगों में त्राहिमाम की स्थिति बनी हुई है. ग्रामीणों को सरकारी सहायता की दरकार है. लोग अभी तक सरकारी सहायता से वंचित है.

डैम के पानी ने गांव में जमाया डेरा
डैम के पानी ने गांव में जमाया डेरा

जीवन और मौत से जूझ रहे ग्रमीण- भाजपा नेता
वहीं, इस मामले पर भाजपा के पूर्व प्रखंड अध्यक्ष रामाश्रय सिंह ने कहा कि ग्रामीण अनेकों समस्याओं से जूझ रहे हैं. लोगों के घरों में पानी आने से सांप और बिच्छू का भय बना हुआ है. किसानों के फसल नष्ट हो गए हैं. लोग भुखमरी की कगार पर हैं. बाढ़ से त्रस्त लोग किसी भी प्रकार की सरकारी सहायता से महरूम हैं. ग्रामीण अपने हाल पर जीवन-मौत से जूझ रहे हैं.

नवादा
लोगों के घरों में बाढ़ का पानी

कई दिनों से डूबा हुआ है गांव
मुखिया का कहना है कि नवादा सांसद चंदन कुमार और डीएम कौशल कुमार से भी बात की गई. उन्होंने आश्वासन दिया कि 2 घंटों के अंदर राहत सामग्री और अन्य सहायता ग्रामवासियों को दिया जाएगा. लेकिन माननीयों का आश्वासन धरातल पर नहीं उतरा, कई दिनों से गांव डूबा हुआ है. पहले ग्रामीणों ने लगातार हो रही बारिश का दंश झेला और अब डैम टूटने से आई बाढ़ का दंश भी लोग झेल रहे हैं. लोगों को किसी प्रकार की सरकारी सहायता नहीं मिली. उन्होंने दुखी होकर कहा कि अब तो ऐसा महसूस हो रहा है जैसे यह गांव भारत के नक्शे में है ही नही. लोग कुव्यवस्था के कारण बीमार हो रहे हैं.

नवादा में टूटा कोल महादेव डैम

लगातार बारिश से उफनाई थी नदियां
गौरतलब है कि जिले में विगत दिनों लगातार बारिश हो रही थी, जिस वजह से जिले की सभी नदियां उफान पर हैं. धनार्जय नदी में तेज बहाव के कारण नरहट प्रखंड के बभनौर से सेराजनगर की ओर जाने वाली सड़क पर बना पुल पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुका है. वहीं, बुद्ध की धरती को जोड़ने वाले प्रमुख मार्ग नवादा-गया और राजगीर-गया पथ पर बना तिलैया नदी डायवर्सन भी बह गया था. डायवर्सन बह जाने से नवादा, जमुई के अलावा राजगीर-बोधगया का संपर्क टूट गया है. इन सड़कों पर यातायात भंग हो गया है.

नवादा: जिले में पिछले कुछ दिनों में हुई लगातार बारिश की वजह से सभी नदियों और डैम का जलस्तर काफी बढ़ा हुआ था. इस दौरान गोविंदपुर प्रखंड स्थित कोल महादेव डैम टूट गया. बांध टूटने से लोगों के घरों में पानी ने अचानक दस्तक दे दिया. जिस वजह से लोगों का जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया.

ग्रामीणों ने बताया कि बांध में पहले से ही रिसाव हो रहा था. बाद में यह नदी का दबाव नहीं झेल पाया और डैम टूट गया. स्थानीय मुखिया ने बताया कि इसकी सूचना जिला प्रशासन और सांसद को दी गई थी, लेकिन प्रशासन आश्वासन देकर चली गई. लोग अपने घरों को छोड़ ऊंचे स्थानों पर शरण लेने को मजबूर हैं.

लोगों के घरों में बाढ़ का घुसा पानी
लोगों के घरों में बाढ़ का घुसा पानी

सरकारी सहायता से वंचित हैं लोग
मुखिया का कहना है कि अचानक पानी आने से लोगों के घरों में रखा हुआ अनाज और अन्य खाद्य पदार्थ नष्ट हो गया. सैकड़ों ग्रामीण भूखे सो रहे हैं. प्रखंड के बीडीओ और सीओ को सूचना दी गई, लेकिन वो भी सिर्फ निरीक्षण करके चले गए. लोगों में त्राहिमाम की स्थिति बनी हुई है. ग्रामीणों को सरकारी सहायता की दरकार है. लोग अभी तक सरकारी सहायता से वंचित है.

डैम के पानी ने गांव में जमाया डेरा
डैम के पानी ने गांव में जमाया डेरा

जीवन और मौत से जूझ रहे ग्रमीण- भाजपा नेता
वहीं, इस मामले पर भाजपा के पूर्व प्रखंड अध्यक्ष रामाश्रय सिंह ने कहा कि ग्रामीण अनेकों समस्याओं से जूझ रहे हैं. लोगों के घरों में पानी आने से सांप और बिच्छू का भय बना हुआ है. किसानों के फसल नष्ट हो गए हैं. लोग भुखमरी की कगार पर हैं. बाढ़ से त्रस्त लोग किसी भी प्रकार की सरकारी सहायता से महरूम हैं. ग्रामीण अपने हाल पर जीवन-मौत से जूझ रहे हैं.

नवादा
लोगों के घरों में बाढ़ का पानी

कई दिनों से डूबा हुआ है गांव
मुखिया का कहना है कि नवादा सांसद चंदन कुमार और डीएम कौशल कुमार से भी बात की गई. उन्होंने आश्वासन दिया कि 2 घंटों के अंदर राहत सामग्री और अन्य सहायता ग्रामवासियों को दिया जाएगा. लेकिन माननीयों का आश्वासन धरातल पर नहीं उतरा, कई दिनों से गांव डूबा हुआ है. पहले ग्रामीणों ने लगातार हो रही बारिश का दंश झेला और अब डैम टूटने से आई बाढ़ का दंश भी लोग झेल रहे हैं. लोगों को किसी प्रकार की सरकारी सहायता नहीं मिली. उन्होंने दुखी होकर कहा कि अब तो ऐसा महसूस हो रहा है जैसे यह गांव भारत के नक्शे में है ही नही. लोग कुव्यवस्था के कारण बीमार हो रहे हैं.

नवादा में टूटा कोल महादेव डैम

लगातार बारिश से उफनाई थी नदियां
गौरतलब है कि जिले में विगत दिनों लगातार बारिश हो रही थी, जिस वजह से जिले की सभी नदियां उफान पर हैं. धनार्जय नदी में तेज बहाव के कारण नरहट प्रखंड के बभनौर से सेराजनगर की ओर जाने वाली सड़क पर बना पुल पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुका है. वहीं, बुद्ध की धरती को जोड़ने वाले प्रमुख मार्ग नवादा-गया और राजगीर-गया पथ पर बना तिलैया नदी डायवर्सन भी बह गया था. डायवर्सन बह जाने से नवादा, जमुई के अलावा राजगीर-बोधगया का संपर्क टूट गया है. इन सड़कों पर यातायात भंग हो गया है.

Intro:

नवादा : जिले क़े गोविंदपुर प्रखंड अन्तर्गत बुधवारा ग्राम में ग्रामीणों का जीना दूभर हो गया है। लगातार बारिश से ग्रामीणों का जीवन अस्त -व्यस्त कर दिया है । दो दिन पूर्व बाढ़ की पानी क़ो लोग भुला भी नहीं पाए कि शनिवार क़ो लगातार बारिश क़े कारण कोल महादेव डैम टूट ग्या जिस कारण डैम का पानी घरों में आ घुसा है । हलांकि इस घटना में जानमाल का कोई खतरा नहीं हुआ है लेकिन सैकड़ों ग्रामीण भूखे मरने क़ो कगार पर है । Body:बता दें कि लगातार बारिश क़े कारण जलजमाव तो था ही अब डैम की पानी घरों में जा घुसा है । ग्रामीण अपने -अपने घरों क़ो छोड़ दूसरे क़े यहां शरण लेने क़ो मजबूर है । ग्रामीणों ने कहा घर में पानी अचानक आने से अनाज एवं अन्य खाद्य पदार्थ नष्ट हो गए हैं । बुधवारा पंचायत क़े मुखिया मधुसूदन साव ने कहा कि हमारे पंचायत क़े लोग सरकारी सहायता से वंचित है। प्रखंड क़े बीडीओ एवं सीओ क़ो सूचना दिया गया वे निरीक्षण करके गए हैं लेकिन क़ोई सुविधा ग्रामवासियों क़ो मुहैया नहीं कराए हैं । उन्होंने कहा हमारी बात नवादा सांसद चंदन कुमार से भी हुई उन्होंने कहा हम नवादा डीएम कौशल कुमार से बात करते हैं ।दो घंटे क़े अंडर राहत सामग्रियों एवं अन्य सहायता ग्राम वासियों क़ो दिया जाएगा । लेकिन अब तक ग्रामीण अपनी समस्याओं से जूझ रहे हैं । घरों में पानी आने से सांप एवं बिच्छू का भय बना हुआ है । जो भी कुछ कृषि कार्य कर फसल लगाए गए थे सभी नष्ट हो गए हैं । ग्रामीण भुखमरी क़े कगार पर है । भाजपा क़े पूर्व प्रखंड अध्यक्ष रामाश्रय सिंह ने कहा हम किसी प्रकार क़े राहत कार्य से महरूम हैं । ग्रामीण अपने हाल पर जीवन -मौत से जूझ रहे हैं । किसी प्रकार ककी सहायता प्रशासनिक स्तर से नहीं किया जा रहा है। घरों में रखे अनाज पानी क़े कारण नष्ट हो गए हैं । कई दिनों से ग्राम डूबा हुआ है । पहले तो लगातार बारिश क़े कारण अब डैम टूटने क़े कारण । बाढ़ आने से मुखिया एवं भाजपा के पूर्व प्रखंड अध्यक्ष का भी घरों में पानी भरा पड़ा है । मुखिया ने कहा हम तो ऐसा महसूस कर रहे हैं कि मानो यह गांव भारत के नक्शे में नहीं है । लोग कुव्यवस्था के कारण बीमार हो रहे हैं अगर समय रहते ध्यान नहीं दिया ग्या तो यहां महामारी का रूप ले सकता है ।Conclusion:
Last Updated : Oct 6, 2019, 12:36 PM IST
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