नालंदा: जिले के बिहार शरीफ के सदर अस्पताल में एंटी रेबीज सुई को लेकर विवाद खड़ा हो गया. यहां मरीज के परिजन और डॉक्टर के बीच जमकर झड़प हो गई. जिसके बाद परिजनों ने हंगामा करना शुरू कर दिया. काफी देर तक चले इस हंगामा के बाद डीएम ने मामला शांत कराया.
क्या है मामला?
दरअसल, शनिवार को सदर अस्पताल में कुत्ते के काटने की सुई नहीं होने का पोस्टर लगा दिया गया. जिसके बाद मरीजों को आश्वासन दिया गया कि सोमवार से सुई उपलब्ध हो जाएगी. लेकिन, सोमवार को मरीज के अस्पताल में पहुंचते ही मालूम चला कि एंटी रेबीज की सुई अबतक नहीं आई है. जिस कारण लोगों ने हंगामा करना शुरू कर दिया. इस बढ़ते विवाद को देख डीएम को इस मामले में हस्तक्षेप करना पड़ा. जिसके तुरंत बाद एंटी रेबीज की सुई कुछ मरीजों को दी गई.
परिजनों का क्या है कहना?
मामला यहीं शांत नहीं हुआ. मरीजों को एंटी रेबीज की सुई देने के बाद भी लोगों का हंगामा बरकरार रहा. परिजनों का आरोप है कि जब अस्पताल में सुई नहीं थी, तब डीएम के आदेश के बाद कहां से आ गई. लोगों ने अस्पताल पर आरोप लगाते हुए कहा कि एंटी रेबीज की सुई होने के बावजूद इसे छिपा कर रखा जाता है.
डीएम की मदद से मिली राहत
अस्पताल में हंगामा कर रहे मरीज के परिजन रोहित कुमार ने कहा कि उन्होंने शनिवार को ही एंटी रेबीज की सुई के लिए सदर अस्पताल में हाजिरी लगानी शुरू कर दी थी. उन्होंने बताया कि उन्हें सोमवार को सुई देने को कहा गया था. लेकिन, सोमवार को फिर से अस्पताल में सुई नहीं होने की बात कही गई. जिस बाबत उन्हें यहां प्रदर्शन करना पड़ा. जिसके बाद परिजनों की डीएम से गुहार लगाने पर एंटी रेबीज की सुई उपलब्ध कराई गई.
स्टॉक में होने के कारण दी गई सुई
उधर, अस्पताल के डॉक्टर अंजनी कुमार ने कहा कि यहां हजारों की संख्या में सुई आती है. लेकिन, उस वक्त अस्पताल में एंटी रेबीज की सुई उपलब्ध नहीं थी. इसके बावजूद 50 की संख्या में आए लोगों ने हंगामा करना शुरू कर दिया. मीडिया ने उनसे डीएम के आदेश के बाद सुई देने पर सवाल किया. इस संबंध में डॉक्टर ने सफाई देते हुए कहा कि कभी-कभी 10 से 20 सुई स्टॉक में रखा जाता है.