मधुबनी: लॉकडाउन के कारण बाहर से आ रहे मजदूरों की परेशानी काफी बढ़ गई है. सरकार आम नागरिक से लगातार घरों में रहने की अपील कर रही है. लेकिन जो मजदूर बाहर से वापस घर लौटे हैं, उनकी स्थिति काफी खराब है. राजस्थान में काम करने वाले मजदूर वापस मधुबनी तो आ गए हैं. लेकिन इनके लिए न कोई समुचित व्यवस्था की गई है और उनके कोरोना जांच के लिए कोई पूछने वाला है.
जिले के कलुआही प्रखंड अंतर्गत किसी भी पंचायत में कोरोना वायरस जैसी महामारी से निपटने के लिए असफल साबित हो रही है. इन पंचायतों में कहीं भी सरकार की ओर से सैनिटाइजेशन का काम नहीं किया गया है. न ही मजदूरों को रखने की कहीं व्यवस्था की गई है. लिहाजा पंचायत के मुखिया ही मजदूरों के लिए पालनहार साबित हो रहे हैं. पुरसोलिया पंचायत के मुखिया दिगंबर पंडित ने अपने पंचायत के एक धार्मिक स्थल में इन मजदूरों को पनाह दी. साथ ही उनके हर सुविधाओं का ख्याल रख रहे हैं.
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पंचायत मुखिया ने दी जानकारी
बता दें कि मजदूर जोधपुर से पैदल चलकर यूपी बॉर्डर तक पैदल चलकर आए हैं. उन्होंने कहा कि लॉकडाउन में खाने के लाले पड़ गए. कोई पूछने तक नहीं आता था. अंत में हिम्मत बांधकर घर के लिए रवाना हो गए. वहीं पुरसोलिया पंचायत के मुखिया दिगंबर पंडित ने कहा कि हम अपनी तरफ से पूरी कोशिश कर रहे हैं. किसी भी मजदूर भाई को भूखा नहीं सोना पड़ेगा.