खगड़िया: बिहार के विद्यालयों की बदहाल स्थिति का प्रमुख कारण शिक्षकों का अभाव भी है. कुछ ऐसा ही आलम जिले के चौथम प्रखंड के रूपचन्द्र मध्य विद्यालय छोटी तेलौंछ का है, जहां कई अनियमितताओं के अलावा शिक्षकों की घोर कमी है. विद्यालय में तकरीबन 600 विद्यार्थी हैं, लेकिन शिक्षक मात्र 11 हैं.
![roop chandra middle school](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/4352643_khagaria_img.jpg)
इस स्कूल में कक्षा 1 से 8वीं तक की पढ़ाई होती है. सभी वर्गों के लिए अलग-अलग कक्षाएं भी हैं. लेकिन आधे से अधिक वर्गों में सिर्फ बच्चे ही दिखे, जो शिक्षकों के आने के इंतजार में बैठे थे.
![raj kishor kumar](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/4352643_khagaria.jpg)
शिक्षकों की कमी बड़ी समस्या
जब स्कूल के प्रधानाध्यापक से इस बारे में पूछा गया कि बच्चे इंतजार कर रहे हैं, यहां नियुक्त सभी शिक्षक कहां हैं, तो उन्होंने शिक्षकों की कमी की समस्या से अवगत कराते हुए बताया कि 2 शिक्षक छुट्टी पर हैं, तो वहीं 2 शिक्षक विद्यालय के काम से बाहर हैं और बाकी शिक्षक क्लास ले रहे हैं. हालांकि प्रधानाध्यापक ने ये बात कैमरे पर बोलने से मना कर दिया और छुट्टी पर जाने वाले शिक्षकों का कोई आवेदन पत्र भी नहीं दिखा पाए.
'नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी'
वहीं, इसको लेकर जिला शिक्षा पदाधिकारी राज किशोर कुमार ने कहा कि शिक्षक को अनुशासित होना चाहिए, अगर कोई भी शिक्षक बिना अनुमति के स्कूल से गायब रहते हैं तो उनपर कार्रवाई की जाएगी. मैं जांच के लिए अधिकारी भेजूंगा, अगर शिक्षक के खिलाफ सबूत पाए जाते हैं तो नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी.