कैमूर (भभुआ): बिहार के कैमूर में सोहनी करने गयी महिलाएं आकाशीय बिजली की चपेट में आ गयी. जिससे तीन महिलाएं झुलस गयी (Three Women Burnt due to Lightning). जिन्हें स्थानीय लोगों की मदद से आनन-फानन में इलाज के लिए सदर अस्पताल भभुआ (Sadar Hospital Bhabua) लाया गया. जहां चिकित्सकों ने एक को मृत घोषित कर दिया. सूचना मिलने पर पहुंची पुलिस शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया.
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जानकारी के मुताबिक अधौरा थाना क्षेत्र के दीघार पंचायत के अमराहा गांव के रहने वाले अमरीका सिंह कि पत्नी शिशवंती देवी खेत मे सोहनी करने गई थी. इस दौरान तेज बारिश के साथ मेघ गर्जना शुरू हो गयी. जिसको देखकर वह घर लौटने लगी तभी उनके ऊपर आकाशीय बिजली गिर गयी. जिससे उनकी मौत हो गयी.
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वहीं, बगल के खेत में काम कर रही राम आशीष सिंह की पत्नी इमारती देवी (30) और पिन्टू सिंह की पत्नी रीता देवी ठनका की चपेट में आ गयी. जिससे इमारती देवी गंभीर रूप से झुलस गयी. हालांकि रीता देवी कम झुलसी थी. जिससे वह किसी तरह गांव में आकर लोगों को जानकारी दी. घटना की जानकारी मिलने पर गांव तत्काल खेत की ओर भागे और फौरन इलाज के लिए भभुआ सदर अस्पताल लाये. जहां दोनों घायलों का इलाज जारी है. वहीं शिशवंती देवी के परिजनों ने जिला प्रशासन से मुआवजे की मांग की है.
जानें... क्यों गिरती है बिजली?
जब बादल में मौजूद हल्के कण ऊपर चले जाते हैं और पॉजिटिव चार्ज हो जाते हैं. भारी कण नीचे जमा होते हैं और निगेटिव चार्ज हो जाते हैं. जब पॉजिटिव और निगेटिव चार्ज अधिक हो जाता है, तब उस क्षेत्र में इलेक्ट्रिक डिस्चार्ज होता है. अधिकतर बिजली बादल में बनती है और वहीं खत्म हो जाती है, लेकिन कई बार यह धरती पर भी गिरती है. आकाशीय बिजली इलेक्ट्रिकल डिस्चार्ज होती है. आकाशीय बिजली में लाखों-अरबों वोल्ट की ऊर्जा होती है. बिजली में अत्यधिक गर्मी के चलते तेज गरज होती है. बिजली आसमान से धरती पर 3 लाख किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से गिरती है.
वज्रपात के दौरान बरतें सावधानी:
- आसमान में अंधेरा छा जाये और तेज हवा हो तो सतर्क हो जायें
- यदि आप गड़गड़ाहट सुनते हैं तो समझ लें कि वज्रपात होने वाला है.
- जब तक बिल्कुल आवश्यक न हो बाहर न निकलें.
- यदि संभव हो तो यात्रा से बचें.
- साइकिल, मोटर साइकिल, ट्रैक्टर आदि वाहनों से नीचे उतर जाएं, यह बिजली को आकर्षिक कर सकते हैं .
- अपने घर के खिड़कियों और दरवाजों को बंद कर दें.
- बच्चों का रखें खास ध्यान
- बिजली के उपकरण को बंद कर दें.
- वज्रपात होने पर धातु के औजार जैसे कुदाल, कुल्हाड़ी, छाता, धातु का झूला, धातु की कुर्सी, छाते, कैंची, चाकू आदि जैसी धातु की वस्तुओं से निकटता से बचे.
- वज्रपात होने पर दोनों पैरों और घुटनों को मोड़कर फर्श पर बैठ जाए.
- कान दोनों हाथों से बंद कर लें, इससे सुरक्षित रहेंगे.