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जमुई: पीडीएस डीलर की मनमानी का विरोध करने पर ग्रामीणों पर प्राथमिकी दर्ज, SP से न्याय की गुहार

सोनो प्रखंड के नेयाडीह पंचायत के दर्जनों ग्रामीणों ने संयुक्त रूप एसपी इनामुल हक मेंगनु को एक आवेदन देकर जन वितरण प्रणाली के डीलर की ओर से झूठे केस में फंसाए जाने को लेकर जांच की मांग की है.

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Published : Jun 5, 2020, 10:55 PM IST

Updated : Jun 6, 2020, 11:05 PM IST

जमुई: जन वितरण प्रणाली के डीलर की मनमानी का विरोध करने पर डीलर द्वारा युवकों पर झूठी प्राथमिकी दर्ज कराने का मामला सामने आया है. इसके विरोध में दर्जनों ग्रामीणों ने शुक्रवार को पुलिस अधीक्षक के कार्यालय पहुंचकर न्याय की गुहार लगाई.

शुक्रवार को सोनो प्रखंड के नेयाडीह पंचायत के दर्जनों ग्रामीणों ने संयुक्त रूप एसपी इनामुल हक मेंगनु को एक आवेदन देकर उच्च स्तरीय जांच कराने की मांग की है. बता दें कि नेयाडीह निवासी कई ग्रामीण विगत लंबे समय से जन वितरण प्रणाली डीलर के खिलाफ संबंधित पदाधिकारियों से शिकायत करते रहे हैं. ग्रामीणों का आरोप है कि राशन वितरण में धांधली की जाती है.

पेश है रिपोर्ट

उच्चस्तरीय जांच की मांग
ग्रामीणों की इस मांग को देखते हुए चरका पत्थर थानाध्यक्ष को इसकी जांच की जिम्मेवारी सौंपी गई थी. लेकिन ग्रामीणों के अनुसार थानाध्यक्ष ने एमओ के प्रभाव में आकर लाभुकों से गलत बयान दर्ज करवाया. साथ ही भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने वाले युवकों के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज करवा दिया. इसी को लेकर शुक्रवार को ग्रामीणों ने एसपी को आवेदन देते हुए पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है.

जमुई: जन वितरण प्रणाली के डीलर की मनमानी का विरोध करने पर डीलर द्वारा युवकों पर झूठी प्राथमिकी दर्ज कराने का मामला सामने आया है. इसके विरोध में दर्जनों ग्रामीणों ने शुक्रवार को पुलिस अधीक्षक के कार्यालय पहुंचकर न्याय की गुहार लगाई.

शुक्रवार को सोनो प्रखंड के नेयाडीह पंचायत के दर्जनों ग्रामीणों ने संयुक्त रूप एसपी इनामुल हक मेंगनु को एक आवेदन देकर उच्च स्तरीय जांच कराने की मांग की है. बता दें कि नेयाडीह निवासी कई ग्रामीण विगत लंबे समय से जन वितरण प्रणाली डीलर के खिलाफ संबंधित पदाधिकारियों से शिकायत करते रहे हैं. ग्रामीणों का आरोप है कि राशन वितरण में धांधली की जाती है.

पेश है रिपोर्ट

उच्चस्तरीय जांच की मांग
ग्रामीणों की इस मांग को देखते हुए चरका पत्थर थानाध्यक्ष को इसकी जांच की जिम्मेवारी सौंपी गई थी. लेकिन ग्रामीणों के अनुसार थानाध्यक्ष ने एमओ के प्रभाव में आकर लाभुकों से गलत बयान दर्ज करवाया. साथ ही भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने वाले युवकों के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज करवा दिया. इसी को लेकर शुक्रवार को ग्रामीणों ने एसपी को आवेदन देते हुए पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है.

Last Updated : Jun 6, 2020, 11:05 PM IST
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