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नक्सली इलाके में मेडिकल कॉलेज बनाने पर पटना हाई कोर्ट ने लगाई रोक - patna high court

रुपेश कुमार सिंह ने कहा कि क्योंकि ये क्षेत्र नक्सली है और बच्चों के लिए यहां शिक्षा उपलब्ध करवाना मुश्किल का काम है. इस कारणवश इस मेडिकल कॉलेज के निर्माण कार्य में रोक लगा दिया गया.

पटना उच्च न्यायालय ने नक्सली इलाके में मेडिकल कॉलेज बनाने पर लगाई रोक
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Published : Oct 28, 2019, 11:31 AM IST

जमुई: जिले में नक्सल प्रभावित इलाके बेला गांव में केंद्र सरकार की ओर से मेडिकल कॉलेज और अस्पताल खोलने के प्लान पर उच्च न्यायलय ने रोक लगा दिया है. इसके लिए जमुई नागरिक मंच ने कोर्ट में याचिका दायर की थी. जिसके कई दिनों के बाद पटना उच्च न्यायालय के डबल बैंच ने टेंडर पास होने से रोक दिया.

जनहित याचिका की सुनवाई
दरअसल, जिले में केंद्र सरकार की ओर से मेडिकल कॉलेज और अस्पताल खोलने का आदेश दिया गया था. जिसके बाद इसको बनाने का प्लान बेला गांव में कर दिया गया. जमुई नागरिक मंच के अध्यक्ष रुपेश कुमार सिंह ने बताया कि इस मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के रोक के लिए उच्च न्यायालय में उन्होंने जनहित याचिका दायर किया. जिसके बाद पटना उच्च न्यायालय के 'डबल बैंच' के माननीय न्यायमूर्ति श्शिवाजी पांडे और श्पार्थ सारथी ने बेला में मेडिकल कॉलेज निर्माण की प्रक्रिया और टेंडर पर रोक लगाने का आदेश जारी कर दिया.

पटना उच्च न्यायालय ने मेडिकल कॉलेज बनाने पर लगाई रोक

नक्सल प्रभावित इलाके में नहीं बनेगा कॉलेज- कोर्ट
रुपेश कुमार सिंह ने कहा कि क्योंकि ये क्षेत्र नक्सली है और बच्चों के लिए यहां शिक्षा उपलब्ध करवाना मुश्किल का काम है. इस कारणवश इस मेडिकल कॉलेज के निर्माण कार्य में रोक लगा दिया गया. उन्होंने कहा कि कार्ट ने इस प्रोजेक्ट को लेकर आपति जताई और तत्काल ही इस प्रोजेक्ट को फिर से विचार काआदेश जारी कर दिया.

जमुई: जिले में नक्सल प्रभावित इलाके बेला गांव में केंद्र सरकार की ओर से मेडिकल कॉलेज और अस्पताल खोलने के प्लान पर उच्च न्यायलय ने रोक लगा दिया है. इसके लिए जमुई नागरिक मंच ने कोर्ट में याचिका दायर की थी. जिसके कई दिनों के बाद पटना उच्च न्यायालय के डबल बैंच ने टेंडर पास होने से रोक दिया.

जनहित याचिका की सुनवाई
दरअसल, जिले में केंद्र सरकार की ओर से मेडिकल कॉलेज और अस्पताल खोलने का आदेश दिया गया था. जिसके बाद इसको बनाने का प्लान बेला गांव में कर दिया गया. जमुई नागरिक मंच के अध्यक्ष रुपेश कुमार सिंह ने बताया कि इस मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के रोक के लिए उच्च न्यायालय में उन्होंने जनहित याचिका दायर किया. जिसके बाद पटना उच्च न्यायालय के 'डबल बैंच' के माननीय न्यायमूर्ति श्शिवाजी पांडे और श्पार्थ सारथी ने बेला में मेडिकल कॉलेज निर्माण की प्रक्रिया और टेंडर पर रोक लगाने का आदेश जारी कर दिया.

पटना उच्च न्यायालय ने मेडिकल कॉलेज बनाने पर लगाई रोक

नक्सल प्रभावित इलाके में नहीं बनेगा कॉलेज- कोर्ट
रुपेश कुमार सिंह ने कहा कि क्योंकि ये क्षेत्र नक्सली है और बच्चों के लिए यहां शिक्षा उपलब्ध करवाना मुश्किल का काम है. इस कारणवश इस मेडिकल कॉलेज के निर्माण कार्य में रोक लगा दिया गया. उन्होंने कहा कि कार्ट ने इस प्रोजेक्ट को लेकर आपति जताई और तत्काल ही इस प्रोजेक्ट को फिर से विचार काआदेश जारी कर दिया.

Intro:जमुई " केंद्र सरकार द्वारा मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल खोलने के आदेश को जमुई के स्थानीय नेता को लाभ पहुंचाने के नीयत से नक्सल प्रभावित इलाका आम लोगों के पहुंच से दुर ' बेला गांव ' में खोले जाने का विरोध कर रहे जमुई की जनता के मंच जमुई नागरिक मंच को जब स्थानीय सांसद नेतागण से निराशा हाथ लगी तो पटना उच्च न्यायालय का सहारा मिला "


Body:जमुई " केंद्र सरकार द्वारा मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल खोलने के आदेश को जमुई के स्थानीय नेता को लाभ पहुंचाने के नीयत से नक्सल प्रभावित इलाका आम लोगों के पहुंच से दुर ' बेला गांव ' में खोले जाने का विरोध कर रहे जमुई की जनता के मंच जमुई नागरिक मंच को जब स्थानीय सांसद नेतागण से निराशा हाथ लगी तो पटना उच्च न्यायालय का सहारा मिला "

जमुई नागरिक मंच के अध्यक्ष रूपेश कुमार सिंह द्वारा दायर जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए माननीय पटना उच्च न्यायालय के ' डबल बैंच ' के माननीय न्यायमूर्ति श्री शिवाजी पांडे और श्री पार्थ सारथी ने बेला में मेडिकल कॉलेज निर्माण की प्रक्रिया और टेंडर पर रोक लगाने का आदेश जारी करते हुए बेला में स्थल चयन करने वाले व्यक्ति का नाम भी पूछा है डबल बैंच ने आवेदन पर सुनवाई और दस्तावेज को देखने के बाद सख्त नाराजगी व्यक्त करते हुए ' केंद्र और राज्य सरकार को कड़ी फटकार लगाई ' उनहोंने इसे अत्यंत गंभीर मसला कहा कि जब बेला के उक्त ' प्रस्तावित स्थल पर मेडिकल कॉलेज बनाने पर जब प्रोजेक्ट के डिप्टी मनेजर ने आपत्ति जताई तब भी वहां बेला में मेडिकल कॉलेज बनाने का प्रयास किया गया '

माननीय न्यायमूर्ति ने इस जगह पर बेला में सामान्य आदमी इलाज के लिए नहीं जा सकता है साथ ही यह भी स्पस्ट है बेला का यह इलाका ' नक्सल प्रभावित ' है और जिला मुख्यालय से काफी दुर है ऐसी परिस्थितियों में एक सामान्य आदमी अपने कॉमनसेंस से इस बेला के स्थल को मेडिकल कॉलेज के लिए कैसे चयनित कर सकता है

माननीय पटना हाई कोर्ट ने केंद्र और राज्य सरकार इस मामले में काउंटर शपथ पत्र मांगा है साथ ही बेला में मेडिकल कॉलेज बनाने एवं निकाले गए टेंडर पर स्थगन लगा दिया

जमुई नागरिक मंच जमुई ने स्थानीय सांसद नेतागण से मिलकर ज्ञापन देकर जनहित के इस मुद्दे पर मेडिकल कॉलेज जमुई मुख्यालय के आसपास बनाने के लिए ज्ञापन दिया महाधरणा किया गया जनसंपर्क किया गया परंतु मंच के सारे प्रयास की उपेक्षा की गई ऐसे में जमुई मीडिया के सहयोग और जमुई की जनता के ताकत से ' यह सत्य की असत्य पर जीत ' है और दिपावली पर जमुई वासियों को न्यायपालिका द्वारा प्रदत्त उपहार है इसका सारा श्रेय जमुई की जनता को जाता है

वाइट -- जमुई नागरिक मंच के अध्यक्ष

राजेश जमुई


Conclusion:जमुई " केंद्र सरकार द्वारा मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल खोलने के आदेश को जमुई के स्थानीय नेता को लाभ पहुंचाने के नीयत से नक्सल प्रभावित इलाका आम लोगों के पहुंच से दुर ' बेला गांव ' में खोले जाने का विरोध कर रहे जमुई की जनता के मंच जमुई नागरिक मंच को जब स्थानीय सांसद नेतागण से निराशा हाथ लगी तो पटना उच्च न्यायालय का सहारा मिला "
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