जमुईः सात निश्चय योजना के तहत 'हर घर नल का जल' उपलब्ध कराने की योजना सूबे के मुखिया नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजेक्ट है. लेकिन सरकार की दूसरी योजनाओं की तरह मुख्यमंत्री के इस ड्रीम प्रोजेक्ट को भी अधिकारियों की बुरी नजर लग गई है. जिले के लक्ष्मीपुर प्रखंड में हर घर नल का जल योजना भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गई है. कुछ गांव को छोड़कर लगभग पूरे प्रखंड में ये योजना शोभा की वस्तु बनकर रह गई है.
फटी है पाइप
पीएचईडी के हर घर तक नल का जल पहुंचाने के लिए किए गए कामों में गुणवत्ता का घोर अभाव है. लिहाजा लोगों को पानी नहीं मिल रहा है. प्रखंड के मटिया मुस्लिम टोला और हरला पंचायत के पनोठ महादलित टोले में 32 लाख की लागत से पेयजल हेतु प्लांट बनाया गया. निर्माण के 1 साल बीत गए, लेकिन लोगों को नल का जल नसीब नहीं हो पाया. 1 सप्ताह पहले प्लांट की शुरुआत की गई तो जगह-जगह पर सप्लाई पाइप फटी हुई पाई गई.
लोगों को नहीं मिल रहा पानी
स्थानीय लोगों ने बताया कि लाखों रुपये की लागत से सरकार ने वाटर प्लांट तो लगा दिया गया. लेकिन इसका लाभ लोगों को नहीं मिल रहा है. कभी-कभी ये प्लांट चलाए भी जाते हैं तो कुछ लोगों के घर में पानी पहुंचता है. उन्होंने बताया कि पाइप फटी होने के कारण पानी बर्बाद हो रहा है. ग्रामीणों ने बताया कि इसकी शिकायत कई वरीय पदाधिकारी से भी की गई है. लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है.