जमुईः बिहार में सरकारी दफ्तरों में कार्यशैली अजीब है. इसमें एक नया कारनामा फिर से जुड़ गया है. बिहार के जमुई में फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने का मामला सामने आया है. इसका खुलासा तब हुआ जब एक 67 साल की बुजुर्ग महिला लखपति देवी बीडीओ ऑफिस पहुंची. महिला ने अधिकारी से कहा कि, हुजूर मैं तो अभी जिंदा हूं, पर मुझें क्यों मार दिया गया?
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जमुई में जीवित महिला का बनाया मृत्यु प्रमाण पत्र : 67 साल की बुजुर्ग महिला भगवती देवी जब जमुई प्रखंड कार्यालय पहुंची तो उसकी बात सुन वहां सभी हैरान रह गए. बीडीओ ने बुजुर्ग महिला को अपने पास बुलाया. इसके बाद महिला ने जमुई बीडीओ को आवेदन के साथ अपने जिंदा होने का सबूत दिया. महिला ने अधिकारी से गुहार लगाई कि 'हुजूर मैं अभी जिंदा हूं, लेकिन मेरे नाम का मृत्यु प्रमाण पत्र बनाया गया है, उसे निरस्त किया जाए.'
''मैं सचमुच जिंदा हूं तो कागज पर क्यों मार दिया गया? मेरे नाम का जो मृत्यु प्रमाण पत्र निर्गत किया गया है, उसे निरस्त किया जाए. मेरे सोतले बेटे ने जमीन हड़पने के लिए हमें कागज में मार दिया है." - लखपति देवी, पीड़ित महिला
जिंदा होने का सबूत देने बीडीओ ऑफिस पहुंची महिला : प्रखंड कार्यालय में दिए गए आवेदन के अनुसार महिला लखपति देवी जमुई के माधोपुर पंचायत के बुधवाडीह गांव वार्ड 11 की रहने वाली है. उसने बीडीओ को आवेदन देते हुए मृत्यु प्रमाण पत्र रद्द (fake death certificate in jamui) करने की मांग की है. उसने कहा कि उसके सौतेले बेटे ने जमीन हड़पने के लिए उसका फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनाया है.
सरकारी विभाग पर उठ रहे सवालः वहीं, बुजुर्ग महिला लखपति देवी के हाथों में उसके खुद का मृत्यु प्रमाण पत्र देखकर हर कोई हैरान था. मामला सामने आने के बाद लोगों में इसकी चर्चा तेज हो गई है. ऐसे में बिहार के सरकारी कार्यालय के कार्यशैली पर एक बार फिर से सवाल उठ गए है कि, क्या सरकारी कार्यालय में बिना जांच के ही मत्यु प्रमाण पत्र बना दिया जाता है? ऐसे में तो कोई भी किसी को मृत घोषित कर देगा.