गोपालगंज: जिला मुख्यालय से करीब 30 किलोमीटर दूर कुचायकोट प्रखंड के बथनाकुटी गांव में स्थित राधाकृष्ण संस्कृत हाई स्कूल में शबनम और उसके संप्रदाय की कई युवतियां संस्कृत की पढ़ाई कर रही हैं. एक ओर जहां इंग्लिश मीडियम स्कूल का चलन बढ़ता जा रहा है वहीं यह स्कूल एक अनोखी तस्वीर पेश कर रहा है.
मुस्लिम संप्रदाय की युवतियां पढ़ रही संस्कृत
स्कूल में पढ़ने वाली शबनम बेहद शालीनता से संस्कृत के श्लोक का पाठ करती है. वो अकेली नहीं जो देववाणी में श्लोक और दूसरी विधाएं पढ़ रही है. उसके साथ गांव की कई और युवतियां भी शामिल है. इनका परिवार भी इस मामले में उनपर किसी तरह की कोई पाबंदी नहीं लगाता. गांव में मुस्लिम संप्रदाय की कई युवतियां संस्कृत पढ़ रही हैं.
धर्म-संप्रदाय से ऊपर उठकर बच्चे हो रहे शिक्षित
विद्यालय के शिक्षक का कहना है कि तमाम प्रतिकूल परिस्थितियों का सामना करते हुए स्कूल में 150 बच्चे पढ़ते हैं. विद्यालय और यहां के शिक्षक जात-पात, धर्म-संप्रदाय की बंदिशों से ऊपर उठकर बच्चों को सही मायनों में शिक्षित करते हैं. यहां सभी विषयों की पढ़ाई होती है.
संस्कृत के रूप में अपनी संस्कृति की डोर थामे है यह स्कूल
अपनी जड़ों को भूल कर कोई भी संस्कृति कभी फल-फूल नहीं सकती, इसीलिए तो संस्कृत के रुप में अपनी संस्कृति की डोर थामे रहकर यह स्कूल भी इसमें पढ़ने वाले बच्चों को अपना अस्तित्व बचाए रखने की प्रेरणा दे रहा है.