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बढ़ते नदी के जलस्तर के साथ बढ़ी दियरावासियों की मुश्किलें, बिरहा गाकर सुना रहे अपना दुखड़ा

गोपालगंज में बढ़ते नदी के जलस्तर (Rising River Water Level In Gopalganj) के साथ ही दियरावासियों की मुश्किलें भी बढ़ती जा रही है. सड़कों पर तीन फीट पानी बहने लगा है. लोगों को आने-जाने में भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. जिसे दियरावासी बिरहा गा-गा कर अपना दुखड़ा प्रशासन को सुना रहे हैं, लेकिन उनका दुख सुनने वाला प्रशासन का कोई अधिाकारी उनके पास मौजूद नहीं है. पढ़ें पूरी खबर...

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Published : Aug 3, 2022, 4:10 PM IST

गोपालगंज: बिहार के गोपालगंज में बाढ़ की स्थिति (Flood Situation In Gopalganj) हो गई है. बाल्मीकि नगर बराज से लगातार छोड़े गए भारी पानी ने दियरावासियों की मुश्किलें बढ़ा दी है. लोग पानी के बीच (Flood In Gopalganj) चलने को विवश हैं. लेकिन प्रशासन अब तक किसी तरह की कोई सुविधा उपलब्ध नहीं करा रहा है. ऐसे में एक बार फिर दियरावासी बाढ़ की विभीषिका से सहमे हुए हैं. लगातार जलस्तर में हो रही वृद्धि को देखते हुए दियरा के लोग बिरहा गीत गा कर अपना दुखड़ा सुनाते हुए नजर आ रहे हैं.

ये भी पढ़ें- बिहार की कई नदियां उफान पर, कोसी-बागमती और कमला बलान कई स्थानों पर खतरे के निशान से ऊपर

बाढ़ के बीच रहने को मजूबर दियरावासी : दअरसल गोपालगंज जिला बाढ़ प्रभावित जिला माना जाता है. बाढ़ की विभीषिका का दंश प्रतिवर्ष यहां के लोगों को झेलना नियति बन गया है और एक बार फिर गंडक नदी का जलस्तर में वृद्धि के बाद दियरा इलाके में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है. जिससे लोगों को भारी परेशानी हो रहा है. सदर प्रखण्ड के रामनगर खाप मकशुद्पुर जगिरी टोला में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है. रामनगर के पास सड़क पर तीन फीट पानी बहने के कारण लोग पानी में ही आवागमन करने को बाध्य हैं.

बाढ़ के पानी के बीच लोगों का आवागमन : छोटे-छोटे बच्चे हो या वृद्ध स्कूल जाने वाले छात्र हो या फिर मवेशियों के लिए चारा की व्यवस्था करना हो लोगों को पानी में ही घुस कर पानी को पार करना पड़ रहा है. ऐसे में लोग अपनी व्यथा सुना कर अपने-अपने भाग्य को कोसते हैं. बता दें कि नेपाल के तराई इलाकों में लागतार हो रही बारिश के कारण बाल्मीकि नगर बराज से मंगलवार को लगातार पानी छोड़ा गया है जो अब धीरे-धीरे दियरा इलाके में फैलने लगा है. बाढ़ के पानी पार कर अपने घर जा रहे एक व्यक्ति ने बिरहा गा कर बाढ़ की परेशानियों को सुनाते हुए कहा की जब भी बाढ़ आता है, हम लोगो के लिए मुसीबत में पड़ जाते हैं लेकिन कोई देखने वाला नहीं होती है.

'जगिरी टोला से रामनगर तक पानी हेल कर आते हैं. यहां पानी जांघ भर है, आने-जाने में दिक्कत है. गाड़ी-घोड़ा नहीं चल रहा है, सड़क पर पानी बह रहा है. लगभग एक किलोमीटर तक बाढ़ का पानी फैला है. प्रशासन का कोई आदमी देखने के लिए हमलोगों को नहीं आया.' - दूध नाथ सिंह, बाढ़ पीड़ित

नदियां खतरे के निशान से ऊपर : गौरतलब है कि बिहार में फिर से नदियां डराने लगी हैं. लोगों के मन में फिर से बाढ़ का डर सताने लगा है. बिहार में नदियों का जलस्तर (water level of rivers in bihar) बढ़ रहा है. नेपाल के जल ग्रहण क्षेत्र में लगातार हुई बारिश के कारण कोसी, बागमती, कमला बलान सहित कई नदियों के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रही है. वहीं अन्य नदियों के जलस्तर में भी बढ़ोतरी देखी जा रही है. केंद्रीय जल आयोग के अनुसार बागमती, कमला बलान, कोसी और महानंदा समेत कई नदियों का जलस्तर कई स्थानों पर खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है.

गोपालगंज: बिहार के गोपालगंज में बाढ़ की स्थिति (Flood Situation In Gopalganj) हो गई है. बाल्मीकि नगर बराज से लगातार छोड़े गए भारी पानी ने दियरावासियों की मुश्किलें बढ़ा दी है. लोग पानी के बीच (Flood In Gopalganj) चलने को विवश हैं. लेकिन प्रशासन अब तक किसी तरह की कोई सुविधा उपलब्ध नहीं करा रहा है. ऐसे में एक बार फिर दियरावासी बाढ़ की विभीषिका से सहमे हुए हैं. लगातार जलस्तर में हो रही वृद्धि को देखते हुए दियरा के लोग बिरहा गीत गा कर अपना दुखड़ा सुनाते हुए नजर आ रहे हैं.

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बाढ़ के बीच रहने को मजूबर दियरावासी : दअरसल गोपालगंज जिला बाढ़ प्रभावित जिला माना जाता है. बाढ़ की विभीषिका का दंश प्रतिवर्ष यहां के लोगों को झेलना नियति बन गया है और एक बार फिर गंडक नदी का जलस्तर में वृद्धि के बाद दियरा इलाके में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है. जिससे लोगों को भारी परेशानी हो रहा है. सदर प्रखण्ड के रामनगर खाप मकशुद्पुर जगिरी टोला में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है. रामनगर के पास सड़क पर तीन फीट पानी बहने के कारण लोग पानी में ही आवागमन करने को बाध्य हैं.

बाढ़ के पानी के बीच लोगों का आवागमन : छोटे-छोटे बच्चे हो या वृद्ध स्कूल जाने वाले छात्र हो या फिर मवेशियों के लिए चारा की व्यवस्था करना हो लोगों को पानी में ही घुस कर पानी को पार करना पड़ रहा है. ऐसे में लोग अपनी व्यथा सुना कर अपने-अपने भाग्य को कोसते हैं. बता दें कि नेपाल के तराई इलाकों में लागतार हो रही बारिश के कारण बाल्मीकि नगर बराज से मंगलवार को लगातार पानी छोड़ा गया है जो अब धीरे-धीरे दियरा इलाके में फैलने लगा है. बाढ़ के पानी पार कर अपने घर जा रहे एक व्यक्ति ने बिरहा गा कर बाढ़ की परेशानियों को सुनाते हुए कहा की जब भी बाढ़ आता है, हम लोगो के लिए मुसीबत में पड़ जाते हैं लेकिन कोई देखने वाला नहीं होती है.

'जगिरी टोला से रामनगर तक पानी हेल कर आते हैं. यहां पानी जांघ भर है, आने-जाने में दिक्कत है. गाड़ी-घोड़ा नहीं चल रहा है, सड़क पर पानी बह रहा है. लगभग एक किलोमीटर तक बाढ़ का पानी फैला है. प्रशासन का कोई आदमी देखने के लिए हमलोगों को नहीं आया.' - दूध नाथ सिंह, बाढ़ पीड़ित

नदियां खतरे के निशान से ऊपर : गौरतलब है कि बिहार में फिर से नदियां डराने लगी हैं. लोगों के मन में फिर से बाढ़ का डर सताने लगा है. बिहार में नदियों का जलस्तर (water level of rivers in bihar) बढ़ रहा है. नेपाल के जल ग्रहण क्षेत्र में लगातार हुई बारिश के कारण कोसी, बागमती, कमला बलान सहित कई नदियों के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रही है. वहीं अन्य नदियों के जलस्तर में भी बढ़ोतरी देखी जा रही है. केंद्रीय जल आयोग के अनुसार बागमती, कमला बलान, कोसी और महानंदा समेत कई नदियों का जलस्तर कई स्थानों पर खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है.

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