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RJD विधायक अजय यादव की बढ़ी मुश्किल, आर्म्स एक्ट के 9 साल पुराने मामले में इंस्पेक्टर ने दी गवाही

RJD MLA Ajay Yadav के आर्म्स एक्ट के 9 साल पुराने एक मामले में इंस्पेक्टर ने गवाही दी है. जिसके बाद विधायक की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम सह विशेष न्यायालय गायत्री कुमारी की अदालत में पुलिस इंस्पेक्टर विनोद कुमार ने उनके घर से मिले हथियार का जिक्र किया है.

अजय यादव, विधायक
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Published : Aug 18, 2022, 10:21 AM IST

गया: बिहार के गया जिले के अतरी विधानसभा से राजद विधायक अजय यादव उर्फ रंजीत यादव की मुश्किलें बढ़ने वाली हैं. उनके खिलाफ आर्म्स एक्ट (Arms Act case) और अन्य धाराओं के तहत कोर्ट में मामला ट्रायल में चल रहा है. इस कांड में अदालत में गवाहों का परीक्षण कराया जा रहा है. 9 साल पुराने इस मामले में इंस्पेक्टर ने गवाही (Inspector Evidence In Gaya court) दी है. अपराध अन्वेषण ब्यूरो के इंस्पेक्टर ने कहा कि तब मैं गया के बुनियादगंज थाना में पोस्टेड था. मामला वर्ष 2013 का है, तब रंजीत यादव विधायक नहीं थे. इस कांड में राजद विधायक रंजीत यादव के घर से देसी पिस्तौल, जिंदा गोली, खून लगा लाठी और लोहे का रॉड बरामद हुआ था.

ये भी पढें- बिहार में RJD विधायक अनंत सिंह दोषी करार, घर से AK47 बरामदगी का मामला

पुलिस इंस्पेक्टर की गया कोर्ट में गवाहीः कोर्ट सोर्स से मिली जानकारी के अनुसार अवैध शस्त्र बरामदगी के मामले में बुधवार को नीमचक बथानी थाना कांड संख्या 22/ 2013 में अपराध अन्वेषण ब्यूरो के पुलिस इंस्पेक्टर की गया कोर्ट में गवाही हुई. अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम सह विशेष न्यायालय गायत्री कुमारी की अदालत में पुलिस इंस्पेक्टर विनोद कुमार (Police Inspector Vinod Kumar) की गवाही हुई. उन्होंने अपनी गवाही में कहा कि घटना के समय 27 जनवरी 2013 को मैं बुनियादगंज थाना में थानाध्यक्ष के पद पर पदस्थापित था.

गठित टीम द्वारा की गई थी संयुक्त छापेमारीः इंस्पेक्टर ने गवाही में बताया कि अपर पुलिस अधीक्षक गया के नेतृत्व में नीमचक बथानी, खिजरसराय, बुनियादगंज व सरबहदा की पुलिस के साथ संयुक्त छापामारी के क्रम में तलाशी के दौरान अजय यादव उर्फ रंजीत यादव के घर से एक देसी पिस्तौल, जिंदा गोली, खून लगा हुआ लाठी व लोहे की रॉड बरामद किया गया था. अभियोजन पक्ष की ओर से इस मामले में जिला अभियोजन पदाधिकारी आलोक कुमार हिमांशु ने गवाह का परीक्षण कराया. बचाव पक्ष के अधिवक्ता शकील अहमद ने प्रति परीक्षण कराया.

इन धाराओं के तहत दर्ज है केसः गौरतलब है कि इस मामले में बीते 27 जुलाई को धारा 25 1(b) ए 26 व 35 शस्त्र अधिनियम के तहत आरोप गठन किया गया था. करीब 9 साल पुराने इस मामले में अब अदालत में सुनवाई हो रही है. और गवाहों का परीक्षण कराया जा रहा है.

ये भी पढ़ेंः बेऊर जेल में बंद अनंत सिंह के पास से मोबाइल बरामद, वार्डन सस्पेंड.. जेल अधीक्षक को कारण बताओ नोटिस

गया: बिहार के गया जिले के अतरी विधानसभा से राजद विधायक अजय यादव उर्फ रंजीत यादव की मुश्किलें बढ़ने वाली हैं. उनके खिलाफ आर्म्स एक्ट (Arms Act case) और अन्य धाराओं के तहत कोर्ट में मामला ट्रायल में चल रहा है. इस कांड में अदालत में गवाहों का परीक्षण कराया जा रहा है. 9 साल पुराने इस मामले में इंस्पेक्टर ने गवाही (Inspector Evidence In Gaya court) दी है. अपराध अन्वेषण ब्यूरो के इंस्पेक्टर ने कहा कि तब मैं गया के बुनियादगंज थाना में पोस्टेड था. मामला वर्ष 2013 का है, तब रंजीत यादव विधायक नहीं थे. इस कांड में राजद विधायक रंजीत यादव के घर से देसी पिस्तौल, जिंदा गोली, खून लगा लाठी और लोहे का रॉड बरामद हुआ था.

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पुलिस इंस्पेक्टर की गया कोर्ट में गवाहीः कोर्ट सोर्स से मिली जानकारी के अनुसार अवैध शस्त्र बरामदगी के मामले में बुधवार को नीमचक बथानी थाना कांड संख्या 22/ 2013 में अपराध अन्वेषण ब्यूरो के पुलिस इंस्पेक्टर की गया कोर्ट में गवाही हुई. अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम सह विशेष न्यायालय गायत्री कुमारी की अदालत में पुलिस इंस्पेक्टर विनोद कुमार (Police Inspector Vinod Kumar) की गवाही हुई. उन्होंने अपनी गवाही में कहा कि घटना के समय 27 जनवरी 2013 को मैं बुनियादगंज थाना में थानाध्यक्ष के पद पर पदस्थापित था.

गठित टीम द्वारा की गई थी संयुक्त छापेमारीः इंस्पेक्टर ने गवाही में बताया कि अपर पुलिस अधीक्षक गया के नेतृत्व में नीमचक बथानी, खिजरसराय, बुनियादगंज व सरबहदा की पुलिस के साथ संयुक्त छापामारी के क्रम में तलाशी के दौरान अजय यादव उर्फ रंजीत यादव के घर से एक देसी पिस्तौल, जिंदा गोली, खून लगा हुआ लाठी व लोहे की रॉड बरामद किया गया था. अभियोजन पक्ष की ओर से इस मामले में जिला अभियोजन पदाधिकारी आलोक कुमार हिमांशु ने गवाह का परीक्षण कराया. बचाव पक्ष के अधिवक्ता शकील अहमद ने प्रति परीक्षण कराया.

इन धाराओं के तहत दर्ज है केसः गौरतलब है कि इस मामले में बीते 27 जुलाई को धारा 25 1(b) ए 26 व 35 शस्त्र अधिनियम के तहत आरोप गठन किया गया था. करीब 9 साल पुराने इस मामले में अब अदालत में सुनवाई हो रही है. और गवाहों का परीक्षण कराया जा रहा है.

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