ETV Bharat / state

गया में सरकारी स्कूलों में नामांकन जारी, 12 हजार 234 प्रवासियों के बच्चों का हुआ नामांकन

सरकारी स्कूलों में नामांकन बढ़ाए जाने के लिए सरकार की ओर से पूरा जोर दिया जा रहा है. जिसको लेकर लॉकडाउन की अवधि में भी सरकारी स्कूलों में नामांकन चालू रखा गया है.

gaya
गया
author img

By

Published : Sep 25, 2020, 2:08 PM IST

गया: देशभर में कोरोना वायरस से बचाव के लिए लागू लॉकडाउन में प्रवासी मजदूर अपने-अपने घर लौट चुके हैं. सरकार ने इनके आने से लेकर 14 दिन क्वॉरंटाइन सेंटर में रहने तक का इंतजाम किया था. इसके बाद प्रवासी मजदूरों के बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो इसके लिए सरकार ने सभी सरकारी स्कूलों में लॉकडाउन के दौरान नामांकन प्रक्रिया शुरू की. गया में लॉकडाउन के दौरान 29 हजार 854 छात्रों का नामांकन हुआ. जिसमें 12 हजार 234 प्रवासी मजदूरों के बच्चे शामिल हैं.

सरकारी स्कूलों में नामांकन जारी
साल 2020 कोरोना वायरस के महामारी के लिए जाना जाएगा. अब तक इस महामारी से हजारों लोगों की जान जा चुकी है. सरकार इस वायरस से बचाव को लेकर तरह-तरह के उपाय कर रही है. लॉकडाउन लागू होने के कुछ दिन बाद प्रवासी मजदूर अपने घर को लौटने लगे हैं. जिला शिक्षा अधिकारी मुस्तफा हुसैन अंसारी ने बताया सरकार की ओर से आदेश दिया गया था कि सभी सरकारी स्कूलों में सभी कक्षाओं के लिए नामंकन के लिए प्रवासी मजदूरों के बच्चों से टीसी नहीं लिया जाएगा. जिला शिक्षा विभाग ने ऐसे सभी छात्रों के लिए नामंकन के वक्त घोषणा पत्र भरवाकर उनके इच्छा अनुसार वर्ग में नामंकन दे दिया. सरकार के आदेश के पालन के मद्देनजर लॉकडाउन में सभी विद्यालय नामंकन के लिए खुले थे. सरकारी विद्यालयों के प्रिंसिपल और शिक्षक को निर्देश दिया गया था कि प्रवासी मजदूरों के बच्चों को प्राथमिकता देना है.

प्रवासी मजदूरों के बच्चों को दी जा रही छूट
जिला प्रशासन की ओर से स्कूलों में नामांकन के लिए गांव में प्रचार-प्रसार भी किया गया. प्रवासी मजदूरों को बताया गया कि आप बिना टीसी भी अपने बच्चों का नामांकन करवा सकते हैं. लॉकडाउन के दौरान पूरे जिले के विद्यालयों में हर साल की अपेक्षा इस साल इस महीने में अधिक संख्या में नामांकन हुआ है. लॉकडाउन के दौरान 29 हजार 854 छात्रों का नामांकन हुआ. जिसमें 12 हजार 234 प्रवासी मजदूरों के बच्चे शामिल हैं. ये आंकड़ा अभी स्थायी नहीं है अभी 30 सितंबर तक नामांकन किया जाएगा जिससे इस आंकड़े में बढ़ोतरी हो सकती है. ज्यादातर ग्रामीण क्षेत्रो के सरकारी स्कूलों में प्रवासी मजदूरों के बच्चों ने नामांकन लिया है.

गया: देशभर में कोरोना वायरस से बचाव के लिए लागू लॉकडाउन में प्रवासी मजदूर अपने-अपने घर लौट चुके हैं. सरकार ने इनके आने से लेकर 14 दिन क्वॉरंटाइन सेंटर में रहने तक का इंतजाम किया था. इसके बाद प्रवासी मजदूरों के बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो इसके लिए सरकार ने सभी सरकारी स्कूलों में लॉकडाउन के दौरान नामांकन प्रक्रिया शुरू की. गया में लॉकडाउन के दौरान 29 हजार 854 छात्रों का नामांकन हुआ. जिसमें 12 हजार 234 प्रवासी मजदूरों के बच्चे शामिल हैं.

सरकारी स्कूलों में नामांकन जारी
साल 2020 कोरोना वायरस के महामारी के लिए जाना जाएगा. अब तक इस महामारी से हजारों लोगों की जान जा चुकी है. सरकार इस वायरस से बचाव को लेकर तरह-तरह के उपाय कर रही है. लॉकडाउन लागू होने के कुछ दिन बाद प्रवासी मजदूर अपने घर को लौटने लगे हैं. जिला शिक्षा अधिकारी मुस्तफा हुसैन अंसारी ने बताया सरकार की ओर से आदेश दिया गया था कि सभी सरकारी स्कूलों में सभी कक्षाओं के लिए नामंकन के लिए प्रवासी मजदूरों के बच्चों से टीसी नहीं लिया जाएगा. जिला शिक्षा विभाग ने ऐसे सभी छात्रों के लिए नामंकन के वक्त घोषणा पत्र भरवाकर उनके इच्छा अनुसार वर्ग में नामंकन दे दिया. सरकार के आदेश के पालन के मद्देनजर लॉकडाउन में सभी विद्यालय नामंकन के लिए खुले थे. सरकारी विद्यालयों के प्रिंसिपल और शिक्षक को निर्देश दिया गया था कि प्रवासी मजदूरों के बच्चों को प्राथमिकता देना है.

प्रवासी मजदूरों के बच्चों को दी जा रही छूट
जिला प्रशासन की ओर से स्कूलों में नामांकन के लिए गांव में प्रचार-प्रसार भी किया गया. प्रवासी मजदूरों को बताया गया कि आप बिना टीसी भी अपने बच्चों का नामांकन करवा सकते हैं. लॉकडाउन के दौरान पूरे जिले के विद्यालयों में हर साल की अपेक्षा इस साल इस महीने में अधिक संख्या में नामांकन हुआ है. लॉकडाउन के दौरान 29 हजार 854 छात्रों का नामांकन हुआ. जिसमें 12 हजार 234 प्रवासी मजदूरों के बच्चे शामिल हैं. ये आंकड़ा अभी स्थायी नहीं है अभी 30 सितंबर तक नामांकन किया जाएगा जिससे इस आंकड़े में बढ़ोतरी हो सकती है. ज्यादातर ग्रामीण क्षेत्रो के सरकारी स्कूलों में प्रवासी मजदूरों के बच्चों ने नामांकन लिया है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.