दरभंगा: भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार 25 जनवरी को 11वें राष्ट्रीय मतदाता दिवस का आयोजन दरभंगा समाहरणालय परिसर में किया गया. जिला स्तर पर आयोजित समारोह के मुख्य अतिथि जिला निर्वाचन पदाधिकारी-सह-जिला पदाधिकारी डॉ. त्यागराजन ने दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का विधिवत उद्घाटन किया. इस अवसर पर जिलाधिकारी ने कहा कि वर्ष 2020 में विधानसभा चुनाव हुआ, जिसमें दरभंगा जिला के 10 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र में चुनाव शांतिपूर्ण एवं व्यवस्थित ढंग से संपन्न हुआ. जिसमें जिला के सभी पदाधिकारियों का अहम भूमिका रही.
हर एक वोट मजबूत लोकतंत्र को बनाता
जिलाधिकारी ने कहा कि निर्वाचन का काम ऐसा है कि एक बार निर्वाचन हो जाने के बाद यह समाप्त नहीं होता, यह एक संवैधानिक कार्य है, जो लगातार चलता रहता है. निर्वाचन के दौरान जितनी गंभीरता के साथ हम निर्वाचन के कार्य में लगे रहते हैं, प्रायः देखा जाता है कि निर्वाचन के बाद उतनी गंभीरता नहीं रहती, इसे सुधारने की आवश्यकता है. इसमें सबसे पहले वैसे लोग, जो निर्वाचक सूची में नहीं जुड़े हैं, वैसी महिलाएं, महादलित परिवार, या ऐसे लोग जिन्हें इसकी जानकारी नहीं है, या जो 18 साल के हो चुके हैं, लेकिन हम पहल नहीं कर पा रहे हैं. उन्हें प्राथमिकता के साथ हमे निर्वाचक सूची में जोड़ने की आवश्यकता है.
पढ़ें: बेगूसराय में राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर समारोह का आयोजन, नए मतदाताओं को दिया गया पहचान पत्र
उन्होंने कहा कि सभी निर्वाचक निबंधन पदाधिकारी को एक अभियान के तौर पर ऐसे गांव, ऐसे बूथ का चयन करना चाहिए, जहां महिलाओं का अनुपात पुरुषों से कम हो. वहां अनुपात बढ़ाने के लिए कार्य करना चाहिए. इसके साथ ही 18 वर्ष वाले वोटरों को चिह्नित करना चाहिए. जहां भी वोटर टर्न आउट कम परिलक्षित हुआ है. उसे चिह्नित करके हमे वोटर टर्न आउट बढ़ाने का कार्य करना चाहिए. ये काम हमे लगातार करते रहना चाहिए.
पढ़ें: कैमूर: 11वां राष्ट्रीय मतदाता दिवस समारोह का हुआ आयोजन, निकाली गई मतदाता जागरूकता रैली
निर्वाचन लोकतांत्रिक व्यवस्था को बनाता है मजबूत
जिलाधिकारी डॉ. त्यागराजन ने कहा कि आज निर्वाचन आयोग के इतिहास को भी मनाने का दिन है. भारत निर्वाचन आयोग का गठन 25 जनवरी 1950 को हुआ. उसके बाद लगातार यह कार्यक्रम 25 जनवरी को मनाया जाता रहा है. इसके लिए जागरूकता और जानकारी भी लोगों की होनी चाहिए. इसके साथ ही हमारे निर्वाचक सूची शुद्धिकरण में कई सुधार की आवश्यकता है. निर्वाचक सूची ही निर्वाचन की लोकतांत्रिक व्यवस्था का एक मजबूत आधार बनाता है.