बक्सरः वरीय अधिवक्ता गणपति मंडल के पौत्र आशुतोष कुमार ने बिहार न्यायिक सेवा की 31 वीं परीक्षा में 166 वां रैंक प्राप्त की. उनके न्यायिक पदाधिकारी बनने से इलाके में खुशी का माहौल है. गणपति मंडल ने वर्ष 1986 में विधि शिक्षा काे सुलभ कराने के उद्देश्य से बक्सर में कर्पूरी ठाकुर विधि महाविद्यालय की स्थापना की थी. आशुतोष के पिता डॉ कृष्ण अली अलबर्ट कर्पूरी ठाकुर लॉ कॉलेज के प्राचार्य हैं. मां का नाम डॉ पुष्पा सिंह है.
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इलाके में खुशी का माहौलः आशुतोष की सफलता पर माता-पिता के अलावा दादा गणपति मंडल, चाचा प्रो राजेश कुमार सिंह के साथ ही कॉलेज के सचिव डॉ बिनोद कुमार और कॉलेज के अन्य कर्मियों ने खुशी जाहिर की है. बक्सर के मठिया मोहल्ला निवासी आशुतोष कुमार ने कहा कि यह सफलता उनके दादाजी की प्रेरणा से मिली है. उसकी प्रारंभिक शिक्षा सिविल लाइंस स्थित टिनी टॉट स्कूल से हुई. इंटरमीडिएट चैतन्य स्कूल, हैदराबाद से किया. जिसके बाद दिल्ली विश्वविद्यालय से कम्प्यूटर साइंस, विधि की शिक्षा ग्रहण करने के उपरांत नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी दिल्ली से एलएलएम की पढ़ाई की.
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सेल्फ स्टडी से मिली सफलताः आशुतोष कुमार ने सफलता के पीछे की मेहनत के बारे में चर्चा करते हुए कहा कि सेल्फ स्टडी पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. उन्होंने बताया कि उनकी दो बहनें हैं. बड़ी बहन सोनल कुमारी व बहनोई वाराणसी में अधिवक्ता हैं. जबकि, छोटी बहन दामिनी विधि की अंतिम वर्ष की छात्रा हैं. अपने पुत्र की सफलता से गदगद कृष्ण अली अल्बर्ट ने मोहल्ले में मिठाई बांटी. युवा राजद के प्रदेश महासचिव बबलू यादव बताते हैं कि एक छोटे शहर से निकलकर इतनी बड़ी सफलता प्राप्त कर लेना बड़ी उपलब्धि है.
"मेरे दादाजी से मुझे इसकी प्रेरणा मिली थी. घर में भी लॉ का माहौल रहा है. उनकी दो बहनें हैं. बड़ी बहन सोनल कुमारी व बहनोई वाराणसी में अधिवक्ता हैं. छोटी बहन दामिनी विधि की अंतिम वर्ष की छात्रा हैं. सफलता के लिए सेल्फ स्टडी बहुत जरूरी है"- आशुतोष कुमार, न्यायिक सेवा के लिए चयनित प्रतिभागी