औरंगाबाद: निर्भया कांड के मुख्य अभियुक्त अक्षय ठाकुर का शनिवार को उसके गांव में अंतिम संस्कार कर दिया गया. 20 मार्च को फांसी के बाद उसका शव दिल्ली से उसके पैतृक गांव लाया गया. जहां दोपहर में उसका अंतिम संस्कार कर दिया गया.
20 मार्च को दी गई थी फांसी
दिल्ली के भयावह निर्भया गैंगरेप का मुख्य अभियुक्त अक्षय ठाकुर को 20 मार्च को फांसी होने के बाद उसके शव को पैतृक गांव भेज दिया गया. तीन बार फांसी की सजा टलने के बाद निर्भया कांड के सभी आरोपियों को 20 मार्च को फांसी दी गई. जिसके बाद उसके शव को पैतृक गांव लाया गया. जहां उसका अंतिम संस्कार किया गया.
बेटे ने दी मुखाग्नि
अक्षय ठाकुर को मुखाग्नि उसके पुत्र ने दी. गांव में उसके शव को देखने के लिए भारी भीड़ पहुंची थी, लेकिन दबी जुबान में सभी उसके कृत्य की आलोचना कर रहे थे. जिले में भी कोर्ट के फैसले की सराहना हो रही है.
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बता दें 2012 के निर्भया दुष्कर्म कांड के चारों दोषियों मुकेश, विनय, पवन और अक्षय को शुक्रवार को अहले सुबह 5 बजकर 30 मिनट पर फांसी दे दी गई. जिसके बाद निर्भया की मां आशा देवी ने इस दिन को निर्भया दिवस के रूप में मनाने की बात कही. उन्होंने कहा कि भले ही देर से न्याय मिला हो, लेकिन अब इस बात की खुशी है कि आखिर चारों दोषियों को सजा-ए-मौत हुई है.