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भागलपुर: पुलिस कस्टडी में युवक की मौत, पीड़ित परिजनों ने लगाई इंसाफ की गुहार - परिवार ने की इंसाफ की मांग

भागलपुर पुलिस की हिरासत में युवक की मौत गई. बताया जा रहा है कि हाजत में पुलिस ने युवक की जमकर पिटाई की थी. जिसके चलते उसकी मौत हो गई. मृतक के परिजन ने इंसाफ की मांग को लेकर नवगछिया सड़क पर हंगामा किया.

इंसाफ की मांग
इंसाफ की मांग
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Published : Apr 29, 2021, 6:56 AM IST

भागलपुर: पुलिस की पिटाई से एक युवक की मौत का मामला सामने आया है. मौत से गुस्साए लोगों ने शव को सड़क पर रखकर पुलिस प्रशासन के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया. इसकी सूचना मिलते ही नवगछिया हेड क्वार्टर डीएसपी, नवगछिया एसडीएम अखिलेश कुमार के साथ कई थाने की पुलिस पीड़ित परिजन को समझाने पहुंच गई.

मृतक के मां की मांग- 302 का मुकदमा दर्ज किया जाए
मृतक की मां का कहना है कि बेटे की कमाई से परिवार का खर्च चलता था. इसका कोई आपराधिक इतिहास नहीं था. बिना FIR के 23 तारीख को पुलिस उठा ले जाती है और 24 घंटे से ऊपर हो जाने के बाद भी न्यायालय में पेश नहीं किया जाता है. आरोप है कि हाजत में उसे इतना पीटा गया कि उसकी मौत थाने परिसर में हो गई. मां ने कहा कि मेरे बेटे की मौत के पीछे जिन लोगों का हाथ है. उसके ऊपर 302 का मुकदमा दर्ज कराया जाए. आवेदन देकर वरीय पदाधिकारी से कार्रवाई की मांग की.

इंसाफ की मांग
इंसाफ की मांग

दिया जाएगा आर्थिक मुआवजा
नवगछिया एसडीएम अखिलेश कुमार ने कहा कि पीड़ित परिजन का आवेदन पत्र प्राप्त हो गया है. सरकारी कानून के तहत मुआवजा की राशि उसे दिया जाएगा.

थानाध्यक्ष और सिपाही सस्पेंड
वहीं, नवगछिया एसपी सुशांत कुमार सरोज ने कहा कि तत्कालीन थानाध्यक्ष और एक सिपाही को सस्पेंड कर दिया गया. बाकी पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई किया जाएगा.

पुलिस के खिलाफ कार्रवाई की जाए
वहीं, युवा राजद के प्रदेश महासचिव आनंद आजाद ने कहा कि पुलिस हिरासत में बर्बरता पूर्ण पिटाई से मौत हुई है. जिम्मेवार सभी पुलिसकर्मियों पर हत्या का मुकदमा चले. उसकी गिरफ्तारी हो और सेवा से बर्खास्त किया जाए. मृतक के परिजन को 25,00,000 रुपए मुआवजा एवं सरकारी नौकरी दिया जाए.

भागलपुर: पुलिस की पिटाई से एक युवक की मौत का मामला सामने आया है. मौत से गुस्साए लोगों ने शव को सड़क पर रखकर पुलिस प्रशासन के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया. इसकी सूचना मिलते ही नवगछिया हेड क्वार्टर डीएसपी, नवगछिया एसडीएम अखिलेश कुमार के साथ कई थाने की पुलिस पीड़ित परिजन को समझाने पहुंच गई.

मृतक के मां की मांग- 302 का मुकदमा दर्ज किया जाए
मृतक की मां का कहना है कि बेटे की कमाई से परिवार का खर्च चलता था. इसका कोई आपराधिक इतिहास नहीं था. बिना FIR के 23 तारीख को पुलिस उठा ले जाती है और 24 घंटे से ऊपर हो जाने के बाद भी न्यायालय में पेश नहीं किया जाता है. आरोप है कि हाजत में उसे इतना पीटा गया कि उसकी मौत थाने परिसर में हो गई. मां ने कहा कि मेरे बेटे की मौत के पीछे जिन लोगों का हाथ है. उसके ऊपर 302 का मुकदमा दर्ज कराया जाए. आवेदन देकर वरीय पदाधिकारी से कार्रवाई की मांग की.

इंसाफ की मांग
इंसाफ की मांग

दिया जाएगा आर्थिक मुआवजा
नवगछिया एसडीएम अखिलेश कुमार ने कहा कि पीड़ित परिजन का आवेदन पत्र प्राप्त हो गया है. सरकारी कानून के तहत मुआवजा की राशि उसे दिया जाएगा.

थानाध्यक्ष और सिपाही सस्पेंड
वहीं, नवगछिया एसपी सुशांत कुमार सरोज ने कहा कि तत्कालीन थानाध्यक्ष और एक सिपाही को सस्पेंड कर दिया गया. बाकी पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई किया जाएगा.

पुलिस के खिलाफ कार्रवाई की जाए
वहीं, युवा राजद के प्रदेश महासचिव आनंद आजाद ने कहा कि पुलिस हिरासत में बर्बरता पूर्ण पिटाई से मौत हुई है. जिम्मेवार सभी पुलिसकर्मियों पर हत्या का मुकदमा चले. उसकी गिरफ्तारी हो और सेवा से बर्खास्त किया जाए. मृतक के परिजन को 25,00,000 रुपए मुआवजा एवं सरकारी नौकरी दिया जाए.

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